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Haryana News: फसलों में नुकसान की भरपाई को लेकर हरियाणा सरकार चला रही ये खास योजना, इतनी कम राशि में हो जाएगा बीमा

हरियाणा सरकार किसानों के हितों में एक नई योजना चला रही है इस योजना के तहत अब किसान फसलों में होने वाले नुकसान की भरपाई कर सकेंगे। मुख्यमंत्री भावांतर भरपाई योजना (Bhavantar Bharpaii Yojana) और बागवानी बीमा योजना (baghbani fasal yaojana) के तहत किसान अपनी फसलों का बीमा करवाकर एक निर्धारित राशि का भुगतान करके फसलों में मुआवजा पा सकते हैं।

By Surender Kumar Edited By: Deepak Saxena Published: Sat, 09 Mar 2024 04:52 PM (IST)Updated: Sat, 09 Mar 2024 04:52 PM (IST)
फसलों में नुकसान की भरपाई को लेकर हरियाणा सरकार चला रही ये खास योजना।

जागरण संवाददाता, कैथल। किसानों की आय में वृद्धि करने और फसल विविधीकरण के लिए बागवानी फसलों में होने वाले नुकसान से राहत देने के लिए हरियाणा सरकार एक योजना चला रही है। मुख्यमंत्री भावांतर भरपाई योजना और बागवानी बीमा योजना के तहत किसान फसल की खेती के दौरान और उसके उत्पादन के बाद होने वाले नुकसान में राहत मिलती है।

डीसी प्रशांत पंवार ने कहा कि किसानों की आय में वृद्धि करने और फसल विविधीकरण के तहत लगाई गई बागवानी फसलों में होने वाले नुकसान की भरपाई के लिए प्रदेश सरकार द्वारा मुख्यमंत्री भावांतर भरपाई योजना व बागवानी बीमा योजना का लाभ दिया जा रहा है। इस योजना के माध्यम से जिला के बागवानी खेती करने वाले किसान फसल की खेती के दौरान व उसके उत्पादन के बाद होने वाले जोखिमों को कम कर सकते है।

इन फसलों को किया गया सूचीबद्ध

उन्होंने बताया कि किसानों के हितों को ध्यान में रखते हुए मुख्यमंत्री मनोहर लाल द्वारा शुरू की गई भावांतर भरपाई योजना व बागवानी बीमा योजना बागवानी किसानों के लिए एक अभूतपूर्व योजना है। इस योजना के आलू, फूल गोभी, गाजर, मटर, टमाटर, प्याज, शिमला मिर्च, बैंगन, भिंडी, मिर्च, करेला, बंद गोभी, मूली, किन्नू, अमरूद, चीकू, आडू, आलूबुखारा, आम, नाशपाती, लीची, आंवला, बेर, लहसुन व हल्दी आदि को सूचीबद्ध किया गया है। इन सभी फसलों के संरक्षित मूल्य सरकार द्वारा पहले से निर्धारित किए गए है।

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इतनी धनराशि देकर करवा सकते हैं बीमा

डीसी ने बताया कि इस योजना के तहत सब्जियों व मसालों पर 30 हजार रुपये प्रति एकड़ का बीमा किया जाएगा, जिसके लिए किसान को 750 रुपये प्रति एकड़ भुगतान करना होगा। वहीं फलों की खेती पर 1000 प्रति एकड़ का प्रीमियम देकर किसान 40 हजार रुपये प्रति एकड़ का बीमा करवा सकता है। योजना का लाभ लेने के लिए उत्पादक का मेरी फसल मेरा ब्यौरा पर रजिस्ट्रेशन होने अनिवार्य है।

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