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    यात्रीगण कृपया ध्यान दें! देश की पहली हाइड्रोजन ट्रेन दौड़ने को तैयार, इस रूट पर चलेगी यह रेलगाड़ी

    Updated: Mon, 06 Oct 2025 09:17 AM (IST)

    जींद में भारत का पहला हाइड्रोजन फ्यूल प्लांट जल्द शुरू होने वाला है जिससे जींद-गोहाना-सोनीपत मार्ग पर हाइड्रोजन से चलने वाली ट्रेन चलेगी। इस प्लांट से प्रतिदिन 430 किलोग्राम हाइड्रोजन का उत्पादन होगा। यह ट्रेन पर्यावरण के अनुकूल होगी क्योंकि यह धुएं की बजाय पानी और भाप छोड़ेगी जिससे प्रदूषण नहीं होगा। एक बार में 2638 यात्री इसमें सफर कर सकेंगे।

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    भारत का पहला प्लांट तैयार, तीन विभागों की एनओसी बाकी।

    जागरण संवाददाता, जींद। देश में हाइड्रोजन फ्यूल का नया अध्याय शुरू होने जा रहा है। भारत के पहले हाइड्रोजन प्लांट का कार्य लगभग पूरा होने को है। आगामी 10-15 दिनों में सभी कार्य पूर्ण हो जाएंगे। पेट्रोलियम मंत्रालय समेत दो-तीन विभागों से एनओसी बाकी हैं, जो जल्द मिल जाएंगी।

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    जांच के दौरान फायर फाइटिंग सिस्टम में कुछ कमियां मिली थी, जो दूर की जा रही हैं। प्लांट में गैस बननी शुरू हो गई है, फिलहाल इसकी टेस्टिंग चल रही है। यह प्लांट प्रतिदिन 430 किलोग्राम हाइड्रोजन का उत्पादन करेगा। इस पर 70 करोड़ रुपये खर्च हुए हैं।

    इस पायलट परियोजना में एक डीजल इलेक्ट्रिक मल्टीपल यूनिट रैक को हाइड्रोजन ईंधन में अपग्रेड किया जाएगा। सबसे पहले जींद-गोहाना-सोनीपत मार्ग पर हाइड्रोजन से ट्रेन चलेगी। एक बार में 2638 यात्री कर सकेंगे सफर ट्रैक के लिए हाइड्रोजन की आपूर्ति इसी प्लांट से की जाएगी। जींद में ईंधन भरने वाले स्टेशन में तीन हजार किलो हाइड्रोजन भंडारण, कंप्रेसर और तेज ईंधन भरने के लिए प्री-कूलर इंटीग्रेशन वाले दो डिस्पेंसर भी लगाए गए हैं।

    जींद-गोहाना-सोनीपत रेल ट्रैक करीब 89 किलोमीटर लंबा है। हाइड्रोजन ट्रेन की गति 110 से 140 किलोमीटर प्रतिघंटे की होगी। ट्रेन में एक बार में 2638 यात्री सफर कर सकेंगे। धुएं की बजाय पानी व भाप छोड़ेगा ईंजन आठ कोच वाली ट्रेन एक ऐसी रेलगाड़ी है, जो हाइड्रोजन फ्यूल सेल तकनीक पर आधारित है।

    यह ट्रेन पारंपरिक डीजल ट्रेनों का एक पर्यावरण एवं अनुकूल विकल्प होगी। हाइड्रोजन ट्रेन में हाइड्रोजन गैस को ईंधन के रूप में प्रयोग किया जाएगा। यह ट्रेन शून्य कार्बन उत्सर्जन करेगी। इसका ईंजन धुएं की बजाय पानी व भाप छोड़ेगा, जिससे प्रदूषण नहीं होगा।

    अभी तक मेरे पास प्लांट के उद्घाटन से संबंधित कोई पत्र नहीं आया है। प्लांट का कार्य लगभग पूरा हो चुका है। कुछ छोटी-मोटी कमियां टेस्टिंग के दौरान सामने आई हैं, उनको दूर किया जा रहा है। उम्मीद है इसी माह हाइड्रोजन से चलने वाली ट्रेन दौड़ेगी। -हिमांशु शेखर, चीफ पीआरओ, रेलवे।