Haryana News: जींद में धान के अवशेष जलाने पर किसान के खिलाफ केस दर्ज, लगाया गया 10000 का जुर्माना
जींद के खेड़ा खेमावती गांव में किसान रामकरण पर धान के अवशेष जलाने के कारण मामला दर्ज किया गया है। कृषि विभाग ने किसान पर दस हजार रुपये का जुर्माना लगाया है। पटवारी संदीप की शिकायत पर पुलिस ने रामकरण के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है। प्रशासन किसानों को जागरूक कर रहा है कि फसल अवशेष जलाने से भूमि की उर्वरा शक्ति नष्ट होती है और पर्यावरण प्रदूषित होता है।

जागरण संवाददाता, जींद। गांव खेड़ा खेमावती में एक किसान के खिलाफ धान के अवशेष जलाने पर मामला दर्ज किया गया है। कृषि विभाग ने किसान पर दस हजार रुपये जुर्माना भी लगाया है।
पुलिस को दी शिकायत में पटवारी संदीप ने कहा कि 25 सितंबर को गांव खेड़ा खेमावती में उनको धान के अवशेष जलने की सूचना मिली। मौके पर कृषि विभाग के अधिकारी पहुंचे तो वहां पर धान के अवशेष जले मिले। जब पता किया तो यह खेत गांव खेड़ा खेमावती निवासी किसान रामकरण का मिला। रामकरण ने 18 कनाल 11 मरले में खड़े धान के अवशेष जलाए थे।
सदर थाना सफीदों ने रामकरण के खिलाफ मामला भी दर्ज किया है। पटवारी संदीप ने कहा कि किसानों को जागरूक करने के लिए प्रशासन द्वारा अभियान चलाए जा रहे हैं, लेकिन उसके बावजूद किसान फसल अवशेष जलाने से बाज नहीं आ रहे हैं। फसल अवशेष जलाने से किसानों को ही नुकसान होता है। इसके अलावा उनकी भूमि की उर्वरा शक्ति नष्ट होती है तथा पर्यावरण प्रदूषित होता है। संदीप ने कहा कि किसानों को फसल अवशेष नहीं जलाने चाहिएं।
इस बार अभी तक धान के अवशेष जलाने का पहला मामला सामने आया है। इसमें जुर्माने के साथ-साथ पुलिस में भी एफआईआर दर्ज हुई है। इस बार प्रशासन काफी सख्त हुआ है। इसके अलावा किसानों को भी जागरूक किया जा रहा है। कृषि विभाग के अधिकारी फसल अवशेष जलाने से होने वाले नुकसान के बारे में भी बता रहे हैं।
डीसी मोहम्मद इमरान रजा ने किसानों से अपील की है कि वह फसल अवशेष नहीं जलाएं। ऐसा करने से वातावरण तो प्रदूषित होता ही है, साथ ही भूमि को भी नुकसान होता है।
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