Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    युवा शक्ति स्वैच्छिक रक्तदान के माध्यम से जरूरतमंदों के लिए समाज के प्रति अपना दायित्व निभाए: राकेश शर्मा

    By JagranEdited By:
    Updated: Mon, 13 Jun 2022 07:50 PM (IST)

    देश विदेश में अपनी आध्यात्मिक यात्रा करते-करते करीब 150 गोशालाओं का संचालन व 200 से ज्यादा मानसिक विक्षिप्त लोगों के लिए अपना घर में आश्रय के माध्यम से सेवा का पर्याय बन चुके स्वामी सदानंद महाराज अब रक्तदान क्षेत्र में भी स्वामी सदानंद प्रणामी चैरिटेबल ट्रस्ट द्वारा पूरे देशभर में रक्तदान क्रांति का आगाज किया हुआ है।

    Hero Image
    युवा शक्ति स्वैच्छिक रक्तदान के माध्यम से जरूरतमंदों के लिए समाज के प्रति अपना दायित्व निभाए: राकेश शर्मा

    संवाद सहयोगी, मंडी आदमपुर : देश विदेश में अपनी आध्यात्मिक यात्रा करते-करते करीब 150 गोशालाओं का संचालन व 200 से ज्यादा मानसिक विक्षिप्त लोगों के लिए अपना घर में आश्रय के माध्यम से सेवा का पर्याय बन चुके स्वामी सदानंद महाराज अब रक्तदान क्षेत्र में भी स्वामी सदानंद प्रणामी चैरिटेबल ट्रस्ट द्वारा पूरे देशभर में रक्तदान क्रांति का आगाज किया हुआ है। प्रणामी मिशन के प्रमुख संत स्वामी सदानंद का कहना है कि हमारा उद्देश्य है कि रक्त की कमी से कोई भी जरूरतमंद अपनी जान न गंवाए चाहे वो देश के किसी भी कोने में क्यों ना हो। उनके सानिध्य में स्वैच्छिक रक्तदान अभियान के राष्ट्रीय संयोजक प्राध्यापक राकेश शर्मा इस अभियान को देश के कोने-कोने में लेकर गए ताकि शत प्रतिशत स्वैच्छिक रक्तदान के माध्यम से बिना रिप्लेसमेंट के रक्त उपलब्ध हो सके। हरियाणा के मंडी आदमपुर से शुरू होकर राजस्थान, गुजरात, महाराष्ट्र, कर्नाटक, तमिलनाडु, आंध्रप्रदेश, प. बंगाल, आसाम तक रक्तदान शिविरों के माध्यम से क्रांति का आगाज किया है और अभी तक 130 शिविरों के माध्यम से 30 हजार से ज्यादा यूनिट्स एकत्रित की जा चुकी है। सभी जगह रेडक्रास सोसाइटी की मदद से सरकारी अस्पतालों में यह रक्त उपलब्ध करवाया जाता है।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    प्राध्यापक राकेश शर्मा जो स्वयं अभी तक 72 बार रक्तदान कर चुके है वो देश के विभिन्न हिस्सों में जाकर रक्तदान शिविर, सेमिनार व विभिन्न प्रतियोगिताओं के माध्यम से लाखों युवाओं को रक्तदान के प्रति प्रेरणा दे चुके है। उनके अतिरिक्त आनंद कुमार 60 बार, कृष्ण कुमार 58 बार, परमजीत जाखड़ 56 बार, अमरदीप खालसा 60 रक्तदान कर चुके है। राकेश शर्मा रक्तदान को हर युवा के लिए कर्तव्य मानते है कि ये मानवता की सेवा भी राष्ट्र सेवा है। हर युवा का कर्तव्य बनता है कि वह जरूरतमंद की जान बचाने के लिए रक्तदान करे क्योंकि रक्त का कोई विकल्प नहीं है।