Rohtak akhada murder case: पुलिस की बड़ी चूक, कब्जे में नहीं लिया सीसीटीवी का डीवीआर
रोहतक जाट कॉलेज अखाड़े में छह लोगों की हत्या हुई थी। आरोप कोच सुखवेंद्र पर है। एसीजेएम कोर्ट में सुनवाई हुई। पीड़ित पक्ष के अधिवक्ता ने पुलिस की जांच पर सवाल खड़े किए। अधिवक्ता की मांग पर जांच अधिकारी को नोटिस जारी किया गया है।

जागरण संवाददाता, रोहतक। जाट कालेज के अखाड़े में हुए खूनी प्रकरण की मंगलवार को एसीजेएम ईशा खत्री की कोर्ट में सुनवाई हुई। सुनवाई के दौरान सुनारिया जेल प्रशासन आरोपित को कोर्ट में पेश नहीं कर पाया। इस पर कोर्ट ने अगली तारीख 28 जुलाई को पेश करने के लिए निर्देश दिया गया।
अखाड़ा में हुई खूनी प्रकरण की सुनवाई के दौरान पीड़ित पक्ष के अधिवक्ता जय हुड्डा ने पुलिस की जांच पर सवाल खड़े कर दिए। सुनवाई के दौरान अधिवक्ता ने कोर्ट में बताया कि पुलिस ने घटनास्थल की सीसीटीवी फुटेज की पेन ड्राइव तो केस फाइल में लगा दी है लेकिन इसका मूल स्रोत डीवीआर को अपने कब्जे में लेकर केस प्रॉपर्टी नहीं बनाया।
पेन ड्राइव के वजूद पर खड़े हो जाएंगे सवाल
पीड़ित पक्ष के अधिवक्ता ने कहा कि अगर किसी भी वजह से डीवीआर के साथ छेड़छाड़ हो जाती है और मूल फाइल उसमें नहीं मिलती है तो आरोपित पक्ष पेन ड्राइव के वजूद पर ही सवाल खड़े कर देगा। इसका फायदा आरोपित को मिल सकता है। इतने बड़े हत्याकांड में पुलिस को इस तरह की चूक नहीं करनी चाहिए। अधिवक्ता ने कोर्ट में दरखास्त लगाई की पुलिस को निर्देशत किया जाए कि डीवीआर को कब्जे में लेकर मैमो केस फाइल में लगाया जाए। जिस पर कोर्ट ने जांच अधिकारी को इस मामले में नोटिस देकर जवाब मांगा है।
वीसी से आरोपित को पेश करे जेल प्रशासन
कोर्ट की ओर से जेल प्रशासन को निर्देश दिए गए हैं कि आरोपित को जेल प्रशासन अगली सुनवाई के दिन 28 जुलाई को वीसी से पेश किया जाए। वहीं इससे पहले आरोपित को चालान की कापी उपलब्ध करवाई जाए तथा उसका बयान दर्ज कर कोर्ट में पेश किया जाए।
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