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दिवंगत पूर्व विधायक रेलू राम पूनिया के फार्म हाउस के पास दिखे पांच संदिग्ध, परिवार ने बताया जान का खतरा, सुरक्षा में पुलिस तैनात

जागरण टीम, उकलाना (हिसार) : दिवंगत पूर्व विधायक रेलू राम पूनिया सहित परिवार के आ

By JagranEdited By: Published: Wed, 13 Jun 2018 07:05 AM (IST)Updated: Wed, 13 Jun 2018 07:05 AM (IST)
दिवंगत पूर्व विधायक रेलू राम पूनिया के फार्म हाउस के पास दिखे पांच संदिग्ध, परिवार ने बताया जान का खतरा, सुरक्षा में पुलिस तैनात
दिवंगत पूर्व विधायक रेलू राम पूनिया के फार्म हाउस के पास दिखे पांच संदिग्ध, परिवार ने बताया जान का खतरा, सुरक्षा में पुलिस तैनात

जागरण टीम, उकलाना (हिसार) : दिवंगत पूर्व विधायक रेलू राम पूनिया सहित परिवार के आठ लोगों की हत्या करने वाले संजीव कुमार पैरोल पर आकर फरार होने पर पूनिया का परिवार दहशत में आ गया है। परिजनों ने संजीव के आतंकवादियों से संबंध बताए हैं। साथ ही उकलाना थाने में पत्र देते हुए सोमवार रात को लितानी मोड़ स्थित पूनिया फार्म हाउस के बाहर पांच संदिग्धों के होने की शिकायत दी है। पुलिस ने पत्र आने के बाद फार्म हाउस पर परिवार की सुरक्षा के लिए दो सशस्त्र पुलिस कर्मचारियों को तैनात कर दिया है।

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रेलूराम पूनिया के भतीजे जितेंद्र पूनिया व भतीजी रोजी ने बताया कि हत्यारा संजीव फरार है और 12 दिन बीत जाने के बाद भी पुलिस उसे गिरफ्तार नहीं कर सकी है। संजीव जब अंबाला जेल में बंद था तब उसने पाकिस्तान व बांग्लादेश के आतंकवादियों ¨पटो व हैदर अली के साथ मिलकर जेल से फरार होने के लिए सुरंग बनाई थी। उसने पुलिस पूछताछ में आतंकवादियों से संबंध होने की बात भी कबूल की थी। इस केस में संजीव को अदालत से सजा भी हो चुकी है। ऐसे में अब उन्हें व उनके पूरे परिवार को संजीव व आतंकवादियों से जान का खतरा बना हुआ है। उन्हें न तो पुलिस सुरक्षा मिल पाई है और न ही उनके असले के लाइसेंस बन पाए हैं। पुलिस सुरक्षा की मांग को लेकर पुलिस प्रशासन से गुहार लगाई गई है। जितेंद्र पूनिया ने बताया कि उनके पिता की मौत के बाद जान का खतरा बताते हुए उन्होंने प्रशासन से हथियार का लाइसेंस बनाने की गुहार लगाई थी, लेकिन अभी तक उन्हें लाइसेंस नहीं मिल पाया। सोमवार को कोठी के पास देखे गए संदिग्ध

रोजी ने बताया कि सोमवार रात्रि को उनकी कोठी के आसपास 4-5 संदिग्ध लोग देखे गए। संदिग्ध लोगों को देखते जब उनके कुत्ते भौंकने लगे तो वह नींद से उठ गए थे। उसके बाद उन्होंने बाहर जाकर देखा कि संदिग्ध लोग सड़क पर घूम रहे हैं, जिसके बाद उन्होंने जोर-जोर से आवाज लगाई तो वह लोग गाड़ी में बैठक कर भाग गए। उन्हें अब लग रहा है कि वे हमारे साथ किसी घटना को अंजाम देने के लिए यहां आए हुए थे। 2001 में की थी परिवार के ही 8 सदस्यों की हत्या जितेंद्र पूनिया ने बताया कि 23 अगस्त 2001 को रेलू राम पूनिया की सहारनुपर में विवाहिता बेटी सोनिया पति संजीव के साथ लितानी मोड़ स्थित कोठी पर पहुंची थी। उस दिन वह अपनी छोटी बहन प्रियंका को भी हिसार के स्कूल से साथ लेकर गई थी। उसकी बहन 10वीं कक्षा की पढ़ाई कर रही थी। उस रात सोनिया व संजीव ने मिलकर अपने पिता विधायक रेलूराम पूनिया, मां कृष्णा पूनिया, भाई सुनील, भाभी शकुंतला, बहन प्रियंका, भतीजे लोकेश, भतीजी शिवानी, प्रीति सहित सभी 8 लोगों की बारी-बारी से लोहे की राड मारकर हत्या कर दी थी। अपने ही परिवार के 8 लोगों को जमीन-जायदाद हथियाने के लालच में मारने के आरोप में सोनिया व उसके पति संजीव को हिसार की अदालत ने 31 मई 2004 को फांसी की सजा सुनाई थी। उसके बाद मामला हाईकोर्ट पहुंचा जहां पर सोनिया व संजीव को कुछ राहत मिली और 12 अप्रैल 2005 को फांसी को उम्रकैद में बदल दिया गया था। इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने 15 फरवरी 2007 में दोनों को दोषी ठहराया और उन्हें दोबारा से फांसी देने की सजा सुनाई थी। हत्यारे दंपति ने राष्ट्रपति के पास दया याचिका लगाई थी, जिसको खारिज कर दिया था। उसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में सुनवाई करते हुए फांसी की सजा को बदलते हुए दोनों को मरने तक जेल में ही रखने के आदेश दिए थे। पैरोल के बाद फरार हुआ हत्यारा संजीव

रेलू राम पूनिया के परिवार का हत्यारा संजीव कुरुक्षेत्र की जेल में बंद था। उसने मई में 14 दिनों के लिए पैरोल ली थी और 31 मई को वापस जेल जाना था। लेकिन वह फरार हो गया, जिसके बाद पुलिस उसे तलाश कर रही है। पुलिस को सुरक्षा के लिए बोला गया है। पुलिस ने सुरक्षा की ²ष्टि से गश्त बढ़ाने व अन्य हर प्रकार से मदद करने का आश्वासन दिया है।

- लाल बहादुर खोवाल, वरिष्ठ अधिवक्ता दिवंगत पूर्व विधायक रेलूराम पूनिया के भतीजे जितेंद्र पूनिया ने पुलिस को लिखित में शिकायत देकर कहा था कि उनके परिवार को जान का खतरा है। इसलिए पुलिस सुरक्षा दिलवाई जाए। जिसके बाद उन्हें पुलिस सुरक्षा दे दी गई है।

- कृष्ण कुमार, एसएचओ, उकलाना


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