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    Gurugram Waterlogging: बारिश में इन हॉट स्पॉट पर नहीं होगा जलभराव, निगम का एक्शन प्लान तैयार; सड़कों पर उतरेंगे अफसर

    Updated: Thu, 15 May 2025 12:32 PM (IST)

    Gurugram Waterlogging गुरुग्राम नगर निगम शहर में जलभराव वाले क्षेत्रों की पहचान कर रिपोर्ट तैयार करेगा। अतिरिक्त निगमायुक्त 21 मई से निरीक्षण करेंगे। सभी संयुक्त आयुक्तों को 20 मई तक जांच करने के निर्देश दिए गए हैं। जीएमडीए मानसून में जलभराव की शिकायतों के लिए कंट्रोल रूम बनाएगा। जल निकासी व्यवस्था को दुरुस्त करने पर ध्यान दिया जा रहा है।

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    मेफील्ड गार्डन रोड में जलभराव की फाइल फोटो। सौजन्य- जागरण आर्काइव

    जागरण संवाददाता, गुरुग्राम। नगर निगम शहर में जलभराव के संभावित स्थानाें की रिपोर्ट तैयार करेगा। इसको लेकर अतिरिक्त निगमायुक्त यश जालुका 21 मई से शहर के सभी संभावित जलभराव वाले स्थानों का निरीक्षण करेंगे। इस निरीक्षण के बाद एक विस्तृत कार्रवाई रिपोर्ट निगमायुक्त के समक्ष प्रस्तुत की जाएगी।

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    इस संबंध में निगमायुक्त प्रदीप दहिया ने आदेश जारी कर कहा है कि सभी संयुक्त आयुक्त अपने-अपने जोन में संभावित जलभराव स्थलों की 20 मई तक व्यक्तिगत रूप से जांच कर लें।

    साथ ही, यह सुनिश्चित करें कि इन क्षेत्रों में ड्रेनों, सीवरेज और अन्य संबंधित ढांचों की सफाई हो, ताकि मानसून के दौरान किसी भी प्रकार का जलभराव न हो। निगमायुक्त ने सभी संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि वे इस कार्य में अतिरिक्त निगमायुक्त को पूर्ण सहयोग प्रदान करें, जिससे जल निकासी व्यवस्था को दुरुस्त किया जा सके।

    शिकायतों के लिए तैयार होगा कंट्रोल रूम

    गुरुग्राम मेट्रोपालिटन डेवलपमेंट अथारिटी (जीएमडीए) द्वारा मानसून सीजन के दौरान जलभराव की शिकायतों के निपटारे के लिए सेक्टर 44 स्थित इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर में एक अलग से कंट्रोल रूम तैयार किया जाएगा। इसके लिए जीएमडीए ने टेंडर प्रक्रिया शुरू कर दी है।

    जीएमडीए के एक्सईएन विक्रम सिंह ने बताया कि शिकायतें दर्ज करने के लिए नागरिकों के लिए एक हेल्पलाइन नंबर जारी किया जाएगा। कंट्रोल रूम के अलावा जलभराव की दृष्टि से संवेदनशील स्थानों से पानी की निकासी के लिए मैनपावर और मशीनरी के टेंडर की प्रक्रिया अलग से शुरू की गई है। पंप सैट, जेनरेटर, ट्रैक्ट माउंटेड पंप आदि की व्यवस्था मानसून से पहले की जाएगी।

    ये हैं जलभराव के मुख्य हॉट स्पॉट

    • मेदांता अस्पताल रोड, सेक्टर 38
    • मेफील्ड गार्डन रोड
    • दिल्ली-जयपुर हाईवे और सर्विस लेन नरसिंहपुर
    • आर्टिमिस रोड
    • सुशांत लोक दो और तीन
    • पटौदी रोड
    • सेक्टर नौ
    • सेक्टर दस
    • पुराना दिल्ली रोड

    महत्वपूर्ण तथ्य

    • 79 स्थानों पर वर्ष 2020 में जलभराव होता था।
    • 39 स्थान वर्ष 2021 में हो गए।
    • 34 स्थान 2022 में जलभराव की दृष्टि से संवेदनशील चिह्नित किए गए।
    • 31 जगहों पर 2023 में ज्यादा जलभराव हुआ।
    • 112 स्थानों पर वर्ष 2024 में पानी की निकासी नहीं हुई।

    मानसून में इन क्षेत्रों में आता है सैलाब

    शहर में बसई रोड, पटौदी रोड तेज वर्षा में पूरी तरह डूब जाते हैं। इन सड़कों पर जलनिकासी के उचित प्रबंध नहीं हैं। इसके अलावा शीतला माता रोड, डीएलएफ, गोल्फ कोर्स रोड एक्सटेंशन, उद्योग विहार, पुराना दिल्ली रोड, सेक्टर दस ए,न्यू कॉलोनी, कृष्णा कॉलोनी, मदनपुरी, सेक्टर चार-सात, प्रताप नगर, पटेल नगर, चार आठ मरला, अर्जुन नगर, लक्ष्मण विहार, राजेंद्रा पार्क, सेक्टर 14, 36, 37,46, 82, 83, 84 और सेक्टर 85 की सड़कों पर जलभराव होता है।

    यहां का ड्रेनेज सिस्टम मुख्य लाइनों से कनेक्ट नहीं है। सेक्टर 15 पार्ट टू, व्यापार केंद्र रोड, सुभाष चौक, एसपीआर, राजीव चौक, वाटिका चौक सहित इनके अंडरपास में भी जलभराव होने से वाहनों की आवाजाही प्रभावित होती है।