Gurugram Crime: मालिक बन अकाउंटेंट को किया वाट्सएप...मीटिंग में हूं, कॉल मत करना; ट्रांसफर कराए 7 करोड़ रुपये
Gurugram Cyber Fraud गुरुग्राम में एक बिल्डर्स कंपनी से साइबर ठगी हुई जिसमें ठगों ने मालिक बनकर अकाउंटेंट को वाट्सएप पर मैसेज किए और सात करोड़ रुपये ट्रांसफर करा लिए। पुलिस ने दो खाता धारकों समेत चार आरोपियों को दिल्ली से गिरफ्तार किया है। आरोपियों ने खातों का खरीद-फरोख्त किया था।

जागरण संवाददाता, गुरुग्राम। शहर की एक बड़ी बिल्डर्स कंपनी से सात करोड़ रुपये की ठगी की गई है। साइबर ठगों ने कंपनी का मालिक बनकर अकाउंटेंट को वाट्सएप मैसेज किए। मालिक का नाम लिखा और कहा कि वह मीटिंग में है। कॉल मत करना।
वाट्सएप पर ही कुछ खातों की डिटेल भेजी और सात करोड़ ट्रांसफर करा लिए। धोखाधड़ी की जानकारी मिलने पर अकाउंटेंट ने साइबर थाने में केस दर्ज कराया। साइबर पुलिस ने मामले में शनिवार को दो खाता धारक समेत चार लोगों को गिरफ्तार किया है।
साइबर पुलिस ने की पांच हजार रुपये की बरामदगी
27 मई को बिल्डर्स कंपनी के अकाउंटेंट ने साइबर थाना दक्षिण में शिकायत दी कि उसके पास 19 मई को अंजान नंबर से वाट्सएप मैसेज आया। मैसेज करने वाले ने अपने आप को कंपनी का मालिक बताया। आगे लिखा कि वह एक जरूरी मीटिंग में हैं। कॉल करने से मना किया।
कहा कि उन्हें एक प्रोजेक्ट के लिए कुछ लोगों को पैसे भेजने हैं। इसके बाद ठगों ने वाट्सएप पर कुछ खातों की डिटेल भेजी और इन खातों में कई बार में सात करोड़ रुपये भेजने के लिए कहा। अकाउंटेंट ने बिना मैसेज को वेरिफाई किए 19 से 27 मई के बीच दिए गए खातों पर सात करोड़ रुपये कंपनी के अकाउंट से भेज दिए। 27 मई को जब कंपनी अधिकारियों ने इस बारे में मालिक से जानकारी ली तब धोखाधड़ी का पता चला।
दिल्ली से चबोचे गए चार आरोपी
एसीपी साइबर क्राइम प्रियांशु दीवान ने बताया कि साइबर थाना दक्षिण में केस दर्ज होने के बाद पुलिस टीम ने कार्रवाई करते हुए चार आरोपितों को शनिवार को दिल्ली से गिरफ्तार कर लिया। इनकी पहचान दिल्ली के कैंट के रहने वाले गौरव, दक्षिणी दिल्ली के सिद्धार्थ एन्क्लेव के जतिन, बदरपुर के शिवम और बदरपुर हरिनगर एक्सटेंशन के अंकित के रूप में की गई।
शिवम ने अंकित को 10 हजार रुपये में बेचा था बैंक खाता
पुलिस जांच में पता चला कि ठगी गई राशि में से 29 लाख 60 हजार रुपये गौरव के बैंक खाते में ट्रांसफर किए गए थे। गौरव ने दो प्रतिशत कमीशन पर अपना बैंक खाता जतिन को बेचा था। जतिन ने चार प्रतिशत कमीशन पर इस खाते को एक अन्य आरोपित के मध्यम से साइबर ठगों को पहुंचाया। गौरव को पांच हजार और जतिन को अब तक 25 हजार रुपये मिल चुके थे।
जतिन ने पूछताछ में बताया कि इसने अब तक पांच बैंक खाते साइबर ठगों को बेचे हैं। वहीं इसी ठगी में ही 32 लाख 50 हजार रुपये शिवम के बैंक खाते में गए थे। शिवम ने बैंक खाता अंकित को 10 हजार रुपये में बेचा था।
अंकित ने इसके खाते को किसी अन्य आरोपित के माध्यम से 20 हजार रुपये में साइबर ठगों को बेच दिया था। आरोपितों के कब्जे से तीन मोबाइल फोन और पांच हजार रुपये की नकदी बरामद की गई है। गौरव और शिवम को कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया गया। वहीं आगामी पूछताछ के लिए जतिन और अंकित को तीन दिन के रिमांड पर लिया गया है।
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