Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    गुरुग्राम में साइबर ठगों ने बिजली बोर्ड कर्मी का फोन किया हैक, खाते से निकाले 4.39 लाख रुपये

    Updated: Wed, 01 Oct 2025 11:51 AM (IST)

    गुरुग्राम में साइबर ठगी की दो घटनाएं सामने आई हैं। पहली घटना में एक बिजली बोर्ड कर्मी का फोन हैक करके उसके खाते से 4.39 लाख रुपये निकाल लिए गए। दूसरी घटना में एक व्यक्ति को पड़ोसी बनकर 51 हजार रुपये की ठगी का शिकार बनाया गया। पुलिस ने मामले दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। बिजली बोर्ड इस मामले में सतर्कता बरत रहा है।

    Hero Image
    पीड़ित ने इस बारे में साइबर थाना मानेसर में केस दर्ज कराया है।

    जागरण संवाददाता, गुरुग्राम। साइबर ठगों ने गुरुग्राम में काम करने वाले एक व्यक्ति का फोन हैक कर उसके खाते से कई बार में 4 लाख 39 हजार रुपये निकाल लिए। पीड़ित ने इस बारे में साइबर थाना मानेसर में केस दर्ज कराया है।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    मूल रूप से मेवात के पुन्हाना में रहने वाले माजिद हुसैन ने साइबर पुलिस को दी शिकायत में कहा कि वह पटौदी के बिजली बोर्ड में नौकरी करते हैं।

    बीते दिनों जब वह काम पर थे, इस दौरान उनका फोन चलते-चलते हैंग हो गया और उनके फोन कॉल किसी और को फारवर्ड होने लगे। कुछ देर बाद उनका फोन जब रिस्टोर हुआ तब उन्हें पता चला कि उनके खाते से 4,39,000 रुपये किसी ने निकाल लिए। यह रुपये कई बार में निकाले गए।

    पड़ोसी बनकर ट्रांसफर कराए 51 हजार

    जासं, गुरुग्राम: साइबर ठगों ने गुरुग्राम में रहने वाले एक व्यक्ति से फोन कर अपने आप को उसका पड़ोसी बताया और उससे दो बार में 51 हजार रुपये ट्रांसफर करवा लिए। मानेसर गांव में रहने वाले श्रीभगवान ने मानेसर साइबर पुलिस को दी शिकायत में कहा कि वह इंडियन आयल कंपनी में काम करते हैं।

    उनके पास अनजान नंबर से फोन आया। फोन करने वाले ने कहा कि वह उनका पड़ोसी शर्मा बोल रहा है। कहा कि उसे किसी व्यक्ति से रुपये लेने हैं, लेकिन उसका यूपीआई नहीं चल रहा है। उसे अस्पताल में इमरजेंसी है और रुपये देने हैं। इसलिए वह उनके मोबाइल में यूपीआई से कुछ रुपये ट्रांसफर करवा रहा है।

    इसके बाद उनके पास 51000 रुपये बैंक खाते में भेजे जाने के टेक्स्ट मैसेज आए। उन्होंने भरोसा करने के बाद ठगों द्वारा दी गई यूपीआई आइडी पर रुपये भेज दिए। जब उन्होंने खाते का बैलेंस चेक किया तो उन्हें धोखाधड़ी का अहसास हुआ।