Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    फतेहाबाद में 10 साल पुराने मिड डे मील घोटाले की जांच करेगी CBI, अभिभावकों से हुई पूछताछ; खंगाले जा रहे रिकॉर्ड

    Updated: Thu, 25 Sep 2025 10:31 AM (IST)

    फतेहाबाद में सीबीआई ने 10 साल पहले मिड डे मील घोटाले की जांच शुरू की। भिरडाना गांव के स्कूलों में टीम ने रिकॉर्ड की जांच की और बच्चों व अभिभावकों से पूछताछ की। जांच में पाया गया कि 2014-15 में 1400 से अधिक बच्चों का नाम कटने के बावजूद मिड डे मील बनता रहा। टीम 30 सितंबर तक जिले में रहेगी और अन्य स्कूलों की जांच करेगी।

    Hero Image
    फतेहाबाद में मिड डे मील घोटाले की जांच करेगी CBI

    जागरण संवाददाता, फतेहाबाद। करीब 10 साल पहले जिले के 13 स्कूलों में बच्चों की संख्या कम दिखा दी गई और मिड डे मील पूरा बन गया। इस तरह शिक्षा विभाग में गड़बड़झाला सामने आने के मामले की जांच को लेकर बुधवार को केंद्रीय जांच एजेंसी सीबीआई फतेहाबाद के गांव भिरडाना के स्कूल में पहुंची।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    इस दौरान पूरे रिकॉर्ड की जांच की तो बच्चों व अभिभावकों को भी बुलाया गया। यह टीम 30 सितंबर तक जिले में रहेगी और स्कूलों के रिकॉर्ड की जांच करेगी। बुधवार को दो सदस्यों की टीम गांव भिरडाना के सीनियर सेकेंडरी स्कूल व राजकीय प्राथमिक पाठशाला में पहुंची।

    सीनियर सेकेंडरी स्कूल में करीब तीन घंटे तक जांच चली। दरअसल वर्ष 30 सितंबर 2014 से 30 सितंबर 2015 के दौरान जिले से 1,400 से अधिक बच्चों का नाम कट गया, लेकिन मिड डे मील उतना ही बनता रहा। इसी मामले को लेकर पूरे प्रदेश में कई स्कूलों की जांच चल रही है। पहले इन स्कूलों से रिकार्ड मांगा गया था जिसके बाद स्कूल मुखिया रिकॉर्ड लेकर चंडीगढ़ गए थे।

    फतेहाबाद के भिरडाना का राजकीय सीनियर सेकेंडरी स्कूल व प्राथमिक स्कूल शामिल हैं। भट्टूकलां के राजकीय प्राथमिक पाठशाला, जांडलवाला बागड़ का राजकीय हाई स्कूल व राजकीय सीनियर सेकेंडरी स्कूल शामिल हैं। इन दोनों स्कूलों की जांच हो चुकी है। वीरवार यानी 25 सितंबर को रतिया के राजकीय सीनियर सेकेंडरी स्कूल व कन्या स्कूल में जांच करने के लिए पहुंचेगी।

    स्कूल में पहुंची टीम ने बच्चों व अभिभावकों के बयान लिए। पुराने रिकॉर्ड के अनुसार अध्यापकों ने बच्चों व अभिभावकों को फोन किया। जिस समय का यह रिकॉर्ड है उस समय के अध्यापक भी अब दूसरे स्कूलों में चले गए हैं। अभिभावकों के पास एकाएक फोन जाने के बाद वो भी परेशान हैं। बच्चों से एक ही बात पूछी जा रही है कि आप स्कूल में थे या नहीं, मिड डे मील मिलता था या नहीं। अब टीम पूरा रिकार्ड लेकर जाएगी और उसके बाद ही फैसला होगा।