आज देशभर में रक्षाबंधन की धूम, भाइयों की कलाई पर बंधेगा बहन के प्यार बंधन
रक्षाबंधन के त्योहार को लेकर फरीदाबाद के बाजारों में खूब रौनक रही। बहनों ने भाइयों के लिए राखियां और भाइयों ने बहनों के लिए उपहार खरीदे। विवाहित बहनों ने भाइयों के घर जाकर राखी बांधने की तैयारी की और मेहंदी लगवाई। बाजारों में रंग-बिरंगी राखियां और मिठाइयां खूब बिकीं। लोगों ने देवी-देवताओं को बांधने के लिए भी धागे खरीदे।

जागरण संवाददाता, फरीदाबाद। बहना ने भाई की कलाई पे प्यार बांधा है। प्यार के दो तार से संसार बांधा है। इसी भाव के साथ शनिवार को भाई-बहन के पवित्र रिश्ते से जुड़ा रक्षाबंधन पर्व परंपरागत तरीके से मनाया जाएगा। बहनें अपने भाइयों की कलाई पर राखी व धागा बांधेंगी और उनकी लंबी उम्र की कामना करेंगी।
ऐसे ही भाई रक्षाबंधन पर अपनी बहनों को उपहार व नकदी देकर प्यार बांटेंगे। कई परिवारों में बहनें अपनी भाभियों की कलाई पर लुंबा बांधेगी। बहुत से लोग अपने घरों में स्थापित मंदिर में देवी-देवता को रखी बांध कर सुख-समृद्धि की प्रार्थना करते हैं।
इसके लिए आवश्यक खरीदारी भी जरूरी है। इसलिए शुक्रवार को बहनें निकल पड़ी बाजार में रक्षा सूत्र और मिठाई खरीदने, वहीं बहनों को उपहार में देने के लिए भाईयों ने उपहार खरीदे। इसलिए बाजारों में खूब रौनक नजर आई।
शहर के परंपरागत व कदीमी बाजारों में ओल्ड फरीदाबाद, बल्लभगढ़, एक नंबर व पांच नंबर के बाजार में खूब रौनक रही।सेक्टर-15, 21, सेक्टर-सात व दस की मार्केट में भी जाम की सी स्थिति रही।
रक्षाबंधन पर विवाहित बहनें अपने भाइयों के घर जाकर राखी बांधती हैं, अब जिस हाथ से राखी बांधी जानी है, तो वह मेहंदी से रचा भी होना चाहिए। इसी तैयारी के चलते बहुत सी बहनों ने मोर्केट में मेहंदी लगवाई।
रंग-बिरंगी राखियों की हुई खरीद
मार्केट में रंग-बिरंगे धागों के साथ बहुत ही आकर्षक डिजाइन वाली राखियां भी उपलब्ध हैं। राखी के थोक विक्रेता अजय खरबंदा तथा सिमर ने बताया कि लोग मंदिर में जाकर देवी-देवताओं को बांधने के लिए धागा खरीदना पसंद करते हैं। इसलिए धागों की मांग अधिक रहती है।
बहुत से लोग अब ऐसा राखी पैक खरीद रहे हैं, जिनमें उपहार भी है। परफ्यूम वाली रखी भी पसंद की जा रही है। पांच नंबर मार्केट में राखी की खरीदारी कर रही सरिता ने बताया कि उन्होंने अपने भाई के लिए परफ्यूम वाली रखी खरीदी है और भतीजे के लिए कार्टून करेक्टर वाली राखी खरीदी है। बाजारों के राखियों के साथ ही मिष्ठान तथा ड्राई प्रूट की भी खूब खरीदारी की गई।

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