Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक विकास से हासिल होती है पूर्णता : उर्मिला

    By JagranEdited By:
    Updated: Tue, 22 Feb 2022 07:04 PM (IST)

    जागरण संवाददाता चरखी दादरी मनुष्य का शारीरिक मानसिक और आध्यात्मिक तीनों रूप से विकि ...और पढ़ें

    Hero Image
    शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक विकास से हासिल होती है पूर्णता : उर्मिला

    जागरण संवाददाता, चरखी दादरी : मनुष्य का शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक तीनों रूप से विकसित होना जरूरी है। हमने बुद्धि और शरीर के स्तर पर बहुत उन्नति की है। लेकिन हम अपने आध्यात्मिक पक्ष को पूरी तरह भूल चुके हैं। प्राचीन संस्कृतियों में नैतिक गुणों का विकास हमारी शिक्षा व्यवस्था का आवश्यक हिस्सा था। विद्यार्थियों के शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक विकास की पूरी व्यवस्था थी। जिसमें नैतिक शिक्षा भी शामिल थी। यह बात कस्बा झोझू कलां स्थित महिला महाविद्यालय परिसर में इन दिनों राष्ट्रीय सेवा योजना द्वारा आयोजित वार्षिक साप्ताहिक शिविर में बतौर मुख्य वक्ता ब्रह्माकुमारी उर्मिला ने मंगलवार को कही। उन्होंने कहा कि पिछली सदी में दुनिया की शिक्षण संस्थाओं में नैतिक गुणों की शिक्षा में कमी आई है क्योंकि केवल शैक्षिक उन्नति पर ही पूरा जोर दिया गया। इसका परिणाम यह हुआ कि आज हमारे सामने एक ऐसी पीढ़ी है जिसमें नैतिक मूल्यों का नितांत अभाव है। आयोजन में शिरकत कर रही प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय कादमा झोझू क्षेत्र प्रभारी ब्रह्माकुमारी वसुधा ने कहा कि व्यक्तिगत और विश्व स्तर पर शांति लाने के लिए यह जरूरी है कि हम बच्चों को कम उम्र से ही सही शिक्षा देना शुरू करें। यदि हम उन्हें सही और गलत का अर्थ समझाएं तो वे ऐसे इंसान बन पाएंगे जिनके अंदर सदाचारी गुणों का समावेश होगा। कार्यक्रम अधिकारी डा. मंजू लांबा व डा. मंजीत ने स्वयं सेविकाओं को ब्रह्माकुमारी संस्थान की ओर से चलाई जा रही मुहिम से जुड़ने का आह्वान किया। इस अवसर पर रोशनी सांगवान डीपीई, प्रोफेसर रितू, पूनम, सुदेश, शर्मिला सहित स्टाफ के सभी सदस्य उपस्थित रहे।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें