Chandigarh News: विधानसभा सत्र में फिर पेश होगा हरकोका विधेयक, लव जिहाद के विरुद्ध कानून में संशोधन संभव
हरियाणा में संगठित अपराध और जबरन मतांतरण रोकने के लिए सरकार ने तैयारी कर ली है। मतांतरण रोकने के लिए कानून बनाया जा चुका है और कैबिनेट में इसके नियम भ ...और पढ़ें

चंडीगढ़/अंबाला, जागरण संवाददाता : हरियाणा में संगठित अपराध और जबरन मतांतरण रोकने के लिए सरकार ने तैयारी कर ली है। मतांतरण रोकने के लिए कानून बनाया जा चुका है और कैबिनेट में इसके नियम भी तय हो चुके हैं। 26 दिसंबर से शुरू हो रह शीतकालीन सत्र में कानून में संशोधन किया जाएगा और इसके बाद इसे राज्य में लागू कर दिया जाएगा। हरियाणा संगठित अपराध नियंत्रण अधिनियम (हरकोका) पर राष्ट्रपति की आपत्ति के चलते अमल नहीं हो पाया था। इस कानून में भी सरकार बदलाव की तैयारी में है।
लव जिहाद पर विधेयक पास होने की पुष्टि
सरकार ने पिछले सत्र के दौरान हरकोका को वापस ले लिया था। इस सत्र में नये सिरे से यह बिल पेश हो सकता है। गृह मंत्री अनिल विज ने इन दोनों विधेयकों के इसी सत्र में पेश किए जाने की पुष्टि की है। उनका कहना है कि लव जिहाद पर कानून बन चुका है और इसके नियम भी तय हो चुके हैं। इस बार के सत्र में इसे पेश किया जाएगा। हरकोका पर राष्ट्रपति द्वारा लगाए गए सवालों का जवाब सही करके अब इस विधेयक को नये सिरे से सदन में लाया जाएगा। राज्य सरकार ने विधानसभा में संशोधन विधेयक पारित कर भिजवाया था, लेकिन उस पर भी राष्ट्रपति ने आपत्ति जताई थी। अब इसे संशोधित कर दोबारा राज्यपाल के माध्यम से राष्ट्रपति को भेजा जाएगा। संशोधन की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। बताते हैं कि एनडीपीएस एक्ट के तहत कुछ संशोधन किए गए हैं।
राष्ट्रपति को मंजूरी के लिए भेजा जाएगा विधेयक
संशोधन विधेयक पारित होने के बाद ही उसे नये प्रारूप में राज्यपाल के जरिये राष्ट्रपति को मंजूरी के लिए भेजा जाएगा। नवंबर 2020 में पहले पारित हो चुके हरियाणा संगठित अपराध नियंत्रण विधेयक (हरकोका)-2019 को विधानसभा में वापस ले लिया था। विधेयक में कुछ धाराओं को हटाकर नई धाराएं जोड़नी थीं केंद्रीय गृह मंत्रालय ने भी कानून में कुछ संशोधन सुझाए थे। मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने भाजपा सरकार के सत्ता में आने के बाद मकोका की तर्ज पर हरियाणा में कानून बनाने की घोषणा की थी।
नवंबर 2020 में विस में संविधान के अनुच्छेद 200 और 201 में दिए उपबंधों के तहत हरियाणा संगठित अपराध नियंत्रण विधेयक-2019 को वापस लेने का प्रस्ताव रखा था, जिसे पारित कर दिया गया। सरकार का कहना था कि हरियाणा संगठित अपराध नियंत्रण विधेयक, 2019 संगठित अपराध सिंडिकेट या गैंग द्वारा आपराधिक गतिविधियों को रोकने व नियंत्रण करने व उनसे निपटने को बनाया था। राज्यपाल ने भारत के संविधान के अनुच्छेद 201 के तहत इस विधेयक को राष्ट्रपति के विचार के लिए भेजा।
किसानों की मांग पर सरकार कर रही विचार
अनिल विज सिंघु बार्डर पर किसानों के प्रदर्शन को लेकर विज ने कहा कि अपनी आवाज उठाने व आंदोलन करने का सभी को हक है। किसान सरकार के सामने अपनी बात रख रहे है और सरकार भी गंभीरता से विचार-विमर्श कर रही है। किसान पर दर्ज केसों में ज्यादातर केस सरकार ने वापस ले लिए। राहुल गांधी की सुरक्षा के होंगे इंतजाम कांग्रेस नेता राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा के हरियाणा में प्रवेश पर कहा कि भारत जोड़ो यात्रा में सुरक्षा की दृष्टि से जो करना है वह सभी इंतजाम किए जाएगें और उनका हमारे प्रदेश में स्वागत है।
ट्वीट कर किया पलटवार
विज ने राहुल गांधी के युवाओं की बेरोजगारी को लेकर किए गए ट्वीट पर पलटवार करते हुए राहुल गांधी पर ही सवाल खड़े किए और कहा कि पूर्व में 50-60 साल देश पर जिन्होंने राज किया है वह सरकार दोषी है और उन्होंने भावी-पीढ़ियों के बारे क्यों नहीं सोचा? क्यों देश को मुफ्तखोरियों की योजनाओं में डाला। पहले उन्हें यह सोचना चाहिए फिर कुछ कहना चाहिए।

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