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    खेल छात्रावास में अंबाला एसडीम आफिस शिफ्ट होने के पहले दिन ही कंप्यूटर ठप

    By JagranEdited By:
    Updated: Tue, 06 Jul 2021 06:50 AM (IST)

    कैंट तहसील और एसडीएम कार्यालय अब नवनिर्मित खेल छात्रावास में अस्थाई रूप से संचालित होगा। इसके लिए पुराने तहसील भवन से सभी कंप्यूटर से लेकर फर्नीचर को खेल छात्रावास में शिफ्ट कर दिया गया लेकिन यहां पहले ही दिन सोमवार को जमाबंदी और रजिस्ट्री को छोड़ बाकी के कार्य शुरू नहीं हो सके।

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    खेल छात्रावास में अंबाला एसडीम आफिस शिफ्ट होने के पहले दिन ही कंप्यूटर ठप

    जागरण संवाददाता, अंबाला : कैंट तहसील और एसडीएम कार्यालय अब नवनिर्मित खेल छात्रावास में अस्थाई रूप से संचालित होगा। इसके लिए पुराने तहसील भवन से सभी कंप्यूटर से लेकर फर्नीचर को खेल छात्रावास में शिफ्ट कर दिया गया, लेकिन यहां पहले ही दिन सोमवार को जमाबंदी और रजिस्ट्री को छोड़ बाकी के कार्य शुरू नहीं हो सके। एसडीएम कार्यालय में (ड्राइविग लाइसेंस) और रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट (आरसी) नहीं बन सके। ऐसे में लोगों को मायूस लौटना पड़ा। क्योंकि 15 से अधिक कंप्यूटर को चलाने के लिए इंटरनेट और बिजली का कनेक्शन ही नहीं हो सका था। इसी तरह तहसील की कई शाखाओं में कामकाज पटरी पर नहीं आ सका।

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    ---------- सरल केंद्र के कंप्यूटर का नहीं हुआ कनेक्शन

    नए भवन में कैंट तहसील का काम काज पहले दिन शुरू हुआ, लेकिन अंत्योदय सरल केंद्र पर वाहन पंजीकरण, ट्रांसफर, पता परिवर्तन और ड्राइविग लाइसेंस का काम नहीं हो सका। क्योंकि अंत्योदय सरल केंद्र के आधा दर्जन कंप्यूटर तो लगा दिए गए पर उसमें कनेक्शन नहीं हो सका था। ऐसे में वाहन पंजीकरण और ड्राइविग लाइसेंस बनवाने के लिए पहुंचे लोगों को अब अगले दिन आने को कहा गया है।

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    आधार कार्ड के लिए लगी रही भीड़

    तहसील परिसर में आधार कार्ड के लिए आए लोगों का आवेदन जमा करके बारी आने पर फोटो और फिगर के लिए बुलाया गया। काउंटर पर ड्यूटी कर रहे कर्मी ने बताया कि कोरोना को ध्यान में रखते हुए यहां आवेदन के लिए आने वालों को शारीरिक दूरी के नियम का पालन करके ही नंबर आने पर बुलाया जाता है।

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    शुक्रवार को पुराने तहसील कार्यालय में गया था, उस दिन काम नहीं हो सका था, आज दोबारा नए बिल्डिग में सुबह 10 बजे तक आ गया हूं, करीब दो घंटे हो चुके हैं अभी नंबर नहीं आया।

    - अनूप, निवासी बोह।

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    तहसील में एक बार आने पर कोई काम आज तक नहीं हुआ है। छोटे छोटे काम के लिए यहां पर कई दिनों तक दौड़ लगानी पड़ती है। तहसील के अधिकारी से लेकर कर्मचारी जनता की परेशानी समझने को तैयार नहीं होते हैं।

    - हेमा, निवासी सुंदरनगर।