विद्या बालन को है इस तरह के रोल्स का इंतजार
कम ही अभिनेत्रियां करियर में रिस्क उठाना पसंद करती हैं। विद्या बालन उस फेहरिस्त से ताल्लुक रखती हैं, जो अच्छे किरदार के लिए फिल्में करती हैं। इन दिनों वह सिल्वर स्क्रीन पर कम नजर आ रही हैं। बकौल विद्या, ‘मैं फिल्मों को साइन करने को लेकर जल्दबाजी में नहीं हूं।
मुंबई। कम ही अभिनेत्रियां करियर में रिस्क उठाना पसंद करती हैं। विद्या बालन उस फेहरिस्त से ताल्लुक रखती हैं, जो अच्छे किरदार के लिए फिल्में करती हैं। इन दिनों वह सिल्वर स्क्रीन पर कम नजर आ रही हैं। बकौल विद्या, ‘मैं फिल्मों को साइन करने को लेकर जल्दबाजी में नहीं हूं। मेरे लिए चैलेंजिंग और एक्साइटिंग रोल होना चाहिए।’
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सिल्वर स्क्रीन से दूरी की वजह बताती हैं विद्या बालन। वो कहती हैं, ‘स्क्रीन से दूरी कुछ निजी कारणों से हो रही है। पिछले साल स्वास्थ्य संबंधी काफी दिक्कतें हुईं। उसके बाद अहसास हुआ कि ये लगातार काम करने का नतीजा है। इसके चलते मुझे सुजॉय घोष की फिल्म छोड़नी पड़ी। फिर ‘हमारी अधूरी कहानी’ रिलीज हुई। मैं कुछ प्रोजेक्ट को साइन करने वाली थी लेकिन किन्हीं कारणों से बात नहीं बनी। भगवान दादा की बायोपिक ‘एक अलबेला’ में कैमियो कर रही हूं। उसमें मेरा काम छह दिनों में शूट हो गया। दरअसल, अब मैं करियर के उस मुकाम पर हूं, जहां अपनी पसंद का काम चुन सकती हूं। यहां पर बात चूजी होने की नहीं है। बात दमदार रोल की है। रोल मेरे लिए चैलेंजिंग और एक्साइटिंग होना चाहिए। मुझे ताउम्र इस इंडस्ट्री में रहना है।’
विद्या बालन हर फिल्म के साथ मैच्योर हुई हैं। वो लुत्फ लेकर काम करने में यकीन करती हैं। वो बताती हैं, ‘मैंने ‘डर्टी पिक्चर’ की सफलता के बाद ब्रेक लिया था, जबकि बाकियों ने धड़ाधड़ फिल्में साइन की थीं। मैं अपने काम का हर क्षण लुत्फ उठाना पसंद करती हूं। मैंने किसी तय एजेंडे के अनुरूप कभी काम नहीं किया। मैंने कभी किसी निर्देशक से अपनी फिल्म में लेने का आग्रह नहीं किया। जो काम आया, उसमें से ही चुना। ये प्रक्रिया अब भी जारी है।’