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Raveena Tandon ने फिल्म इंडस्ट्री में किए 30 साल पूरे, नेपोटिज्म को लेकर कही ये बात

रवीना टंडन की गिनती बॉलीवुड की दिग्गज और खूबसूरत अभिनेत्री के तौर पर होती है। उन्होंने लंबे समय तक अपने अभिनय से दर्शकों के दिलों को जीता है और फिल्मी पर्दे पर अपनी अमिट छाप छोड़ी है। रवीना टंडन को बॉलीवुड में 30 साल पूरे हो चुके हैं।

By Anand KashyapEdited By: Published: Thu, 25 Feb 2021 03:35 PM (IST)Updated: Thu, 25 Feb 2021 03:35 PM (IST)
Raveena Tandon ने फिल्म इंडस्ट्री में किए 30 साल पूरे, नेपोटिज्म को लेकर कही ये बात
बॉलीवुड अभिनेत्री रवीना टंडन, Instagram : officialraveenatandon

नई दिल्ली, जेएनएन। रवीना टंडन की गिनती बॉलीवुड की दिग्गज और खूबसूरत अभिनेत्री के तौर पर होती है। उन्होंने लंबे समय तक अपने अभिनय से दर्शकों के दिलों को जीता है और फिल्मी पर्दे पर अपनी अमिट छाप छोड़ी है। रवीना टंडन को बॉलीवुड में 30 साल पूरे हो चुके हैं। ऐसे में अभिनेत्री ने अपने फिल्मी करियर को लेकर बड़ी बातें बोली हैं। उन्होंने बताया है कि वह कभी अभिनेत्री नहीं बनना चाहती थीं।

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अंग्रेजी वेबसाइट हिंदुस्तान टाइम्स की खबर के अनुसार रवीना टंडन ने फिल्म इंडस्ट्री में बिताए अपने 30 सालों को याद किया है। ऐसे में अभिनेत्री ने कहा कि उन्हें लगता ही नहीं कि इंडस्ट्री में उन्हें इतना ज्यादा वक्त हो चुका है। जब भी वह नई फिल्म, नया सीन या नया शो करती हैं तो उनके पेट में आज भी तितलियां उड़ने लगती हैं। रवीना टंडन मानती हैं कि वह आज भी बहुत कुछ सीख रही हैं। उन्होंने कहा, 'मैं इस इंडस्ट्री का हिस्सा गलती से बन गई। मैं कभी कलाकार बनना ही नहीं चाहती थी। मैं काफी रिजर्व किस्म की लड़की थी जो दांतों से नाखून काटती थी, उन लोगों से डरती थी जो मुझे देख रहे होते थे। क्लास में भी ऐसी ही थी, आखिरी बेंच पर बैठती थी'।

रवीना टंडन ने आगे कहा, 'स्कूल में होने वाले प्ले और एनुअल फंक्शन में मुझे लीड रोल मिलते थे। नर्वस होने के बावजूद मैं इन रोल्स को बखूबी निभाया करती थी। मैं निर्देशक बनना चाहती थी, लेकिन किस्मत में कुछ और ही होना लिखा था। मैं ऐड गुरु प्रहलाद कक्कड़ से मिली थी। वह मुझे हमेशा स्क्रीन पर आने के लिए कहते थे, लेकिन मैं मना कर देती थी। मुझे ऑफर्स भी आते थे, फिर भी इनकार कर देती थी। मैं पहले अपनी पढ़ाई पूरी करना चाहती थी। मेरे डेब्यू फिल्म पत्थर के फूल से पहले मुझे सात-आठ ऑफर्स मिले थे। उनमें फिल्म हीर रांझा और जंगल का भी नाम शामिल है।

रवीना टंडन ने कहा, 'ऐसा नहीं है कि यह फिल्में अच्छी नहीं थीं, मेरे बस दिमाग में अभिनय की दुनिया में कदम रखने की प्लानिंग नहीं थी। किस्मत ने साथ दिया और कॉलेज के पहले साल में ही कुछ लोगों की नजर मुझ पर पड़ी। ऐसा बिल्कुल नहीं है कि मेरे पापा ने किसी को बोला हो या ऑफर्स के लिए फोर्स किया हो। आज जो नेपोटिज्म पर चर्चा होती रहती है, मुझे वह फर्जी लगती है। मेरे लिए चीजें खुद होती चली गईं। अगर मेरे पास कलाकार बनने के लिए चेहरा न होता तो मैं नहीं पहचानी जाती या मुझे ऑफर्स भी नहीं मिलते।' आपको बता दें कि रवीना टंडन ने फिल्म पत्थर के फूल ने बॉलीवुड में कदम रखा था। उनकी यह फिल्म 1991 में आई थी। इस फिल्म में रवीना टंडन के साथ अभिनेता सलमान खान मुख्य भूमिका में थे।  


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