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    Raksha Bandhan: सांवले रंग की वजह से अक्षय कुमार की 'बहन' को नहीं मिलता था काम, लोग देते थे ऐसे ताने

    By Ruchi VajpayeeEdited By:
    Updated: Sun, 14 Aug 2022 09:43 AM (IST)

    Raksha Bandhan फिल्म रक्षाबंधन में अक्षय कुमार की बहन लक्ष्मी का किरदार निभाने वाली स्मृति श्रीकांत ने बताया कि उन्हें अपने सांवले रंग के चलते लोगों से कई बार ताने सुनने को मिले हैं। उन्होंने बताया कि रंग के चलते उन्हें एक प्रोजेक्ट में कम पैसे दिए गए थे।

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    Akshay Kumar onscreen sister smrithi srikant did not get work because of dark complexion

    नई दिल्ली, जेएनएन। अक्षय कुमार की फिल्म रक्षाबंधन की कहानी एक भाई और उसकी चार बहनों के बीच की बॉन्डिंग पर बेस्ड है। फिल्म से स्मृति श्रीकांत ने डेब्यू किया, जिन्होंने अक्षय की बहन लक्ष्मी का किरदार निभाया है। लक्ष्मी के अलावा फिल्म में सादिया खतीब, दीपिका खन्ना और सहजमीन कौर ने भी लीड रोल प्ले किया। हाल ही में दिए एक इंटरव्यू में लक्ष्मी ने बताया कि कैसे सांवला रंग होने के चलते वो भेदभाव का शिकार हुई थीं।

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    हिंदुस्तान टाइम्स से बातचीत के दौरान स्मृति ने बताया कि वो एक ट्रेन्ड डांसर हैं और उन्होंने अपारशक्ति खुराना के साथ कुड़िये नी गाने की किया है। उन्हें आनंद एल राय-निर्देशन के साथ अपना बड़ा बॉलीवुड ब्रेक मिला। फिल्म में भी उन्हें सांवले रंग के किरदार ही मिला। रक्षाबंधन में उनके लिए 'अमावस की रात' जैसी लाइनें भी थीं। फिल्म में लक्ष्मी एक सांवली लड़की है, जिसके रंग के कारण उसे शादी के लिए लड़का नहीं मिल रहा है।

    स्मृति से जब पूछा गया कि क्या उन्हें यह सब दकियानूसी नहीं लगता, तो उन्होंने कहा- मैं सांवली ही हूं पर फिल्म में मेरा और दो टोन डाउन मेकअप किया गया। अपनी लाइफ का उदाहरण लेते हुए स्मृति ने कहा- 'यहां तक कि मुझे भी बचपन से ही अपने रंग की वजह से बहुत कुछ सुनना पड़ा है। लोग इसका मजाक उड़ाते थे। स्मृति से जब पूछा गया कि फिल्म के लिए उन्हें कैसे ऑडिशन दिया क्योंकि इसके डायलॉग रंगभेद को बढ़ावा देते हैं।

    इसके जवाब में उन्होंने कहा, 'जब मैं इस रोल के लिए ऑडिशन दे रही थी, तो मैंने लाइनों को पढ़ा और महसूस किया कि ऐसा ही होता है। ऐसे लोग हैं जो 'धूप में मत जा काली पर जाएगी' जैसी बातें करते हैं। उनकी यह मानसिकता है। लेकिन, एक व्यक्ति के रूप में, मैं अपने बारे में जो महसूस करती हूं, वह दूसरों के विचार से कहीं अधिक जरूरी है।'

    ये पूछने पर कि क्या फिल्म इंडस्ट्री में भी रंगभेद है? तो स्मृति ने कहा “कई बार ऑडिशन में, वे आपको आपकी त्वचा के रंग के आधार पर कैटिगराइज करते हैं। कुछ जगहों पर, आपको ऑडिशन के दौरान ही बता दिया जाता है कि 'हम केवल गोरा रंग चाहते हैं'। लेकिन फिर मैं यह भी समझता हूं कि यह किरदार की मांग होनी चाहिए।"

    “लेकिन मुझे याद है कि एक बार मुझे एक मॉडलिंग प्रोजेक्ट पर काम करते हुए बहुत बुरा लगा था। एक ब्रांड के लिए कुछ कार्यक्रम थे। मैंने इसके लिए ऑडिशन दिया और मेरा सलेक्शन हो गया। प्रोजेक्ट के दो हिस्से थे और मुझे दोनों के लिए लिया गया था। मेरे विपरीत, बाकी लड़कियों को केवल एक प्रोजेक्ट के लिए शॉर्टलिस्ट किया गया था। इसलिए, मैंने उनसे अपनी फीस बढ़ाने के लिए कहा। लेकिन, मुझे उनसे जो जवाब मिला वह दिल तोड़ने वाला था। उन्होंने मुझे साफ कहा कि हम सांवली लड़कियों को नहीं रखते पर आपको रखा है। तो अगर आप इस प्रोजेक्ट का हिस्सा बनना चाहती हैं इतने ही पैसों में काम करना पड़ेगा।