Entertainment News: महाराज फिल्म में दिखाई देंगे जयदीप अहलावत, बोले- मैंने भीड़ में खड़े होने के लिए दो साल अभिनय की पढ़ाई नहीं की थी
एक साक्षात्कार में जयदीप ने बताया कि मैं रोहतक से मुंबई आया तो मुझे एक बेडरूम लिविंग रूम और किचन के घर में रहना पड़ा था। जब मैं पहली बार घर के अंदर गया तो मैंने यही सोचा कि इतना छोटा घर कैसे हो सकता है। बेडरूम में तो केवल एक सिंगल बेड रखने की जगह थी जो हम छह लोगों के कपड़ों से ही भर जाता था।
एंटरटेनमेंट डेस्क, नई दिल्ली। हर कलाकार का अपना सफर होता है। कई बार दूसरे शहर से मुंबई आकर फिल्मों में शुरुआत करने की कहानी भी बड़ी फिल्मी होती है। पाताल लोक वेब सीरीज अभिनेता जयदीप अहलावत के लिए भी मुंबई का सफर कठिन जरूर रहा, लेकिन आज जब वह उसे याद करते हैं, तो उनके चेहरे पर मुस्कान आ जाती है।
एक साक्षात्कार में जयदीप ने बताया कि मैं रोहतक से मुंबई आया, तो मुझे एक बेडरूम, लिविंग रूम और किचन के घर में रहना पड़ा था। जब मैं पहली बार घर के अंदर गया, तो मैंने यही सोचा कि इतना छोटा घर कैसे हो सकता है। बेडरूम में तो केवल एक सिंगल बेड रखने की जगह थी, जो हम छह लोगों के कपड़ों से ही भर जाता था।
फिर एक दिन मेरा दोस्त मुझे ऑडिशन देने ले गया था
आगे बोले कि हमें लिविंग रूम में रहना पड़ता था। पहले हम दो लोगों ने रूम लिया था, फिर एक-एक करते हुए चार लोग और आ गए थे। हम यही सोचते थे कि साथ रहेंगे, तो एकदूसरे के किराए के पैसे बच जाएंगे। फिर एक दिन मेरा दोस्त मुझे ऑडिशन देने ले गया था। मैं 15-20 मिनट तक खड़ा रहा, फिर एक आदमी ने आकर बोला कि नॉट फिट यानी मैं उस रोल के लिए फिट नहीं हूं।
अभिनय की पढ़ाई मैंने भीड़ में खड़े होने के लिए नहीं की थी
साथ ही ही कहा कि मुझे बहुत बुरा लगा। मैंने सोचा कौन है ये आदमी जो मुझे नॉट फिट कह रहा है। उसकी भी गलती नहीं थी। विज्ञापन के लिए आडिशन था, उन्हें एक तरह के ही लुक वाला चेहरा चाहिए था। अब दो साल तक अभिनय की पढ़ाई मैंने भीड़ में खड़े होने के लिए नहीं की थी। न ही यह चाहता था कि कोई मेरी शक्ल देखकर कह दे कि तुम फिट नहीं हो। उस दिन के बाद मैं किसी भी आडिशन पर बिना बुलाए नहीं गया।
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