बॉलीवुड सेलेब्रिटीज़ की ज़िंदगी का ये 'सच' बहुत दर्दनाक है... जज़्बे को करेंगे सलाम!
इलियाना ने एक इंटरव्यू में स्वीकार किया था कि वो बॉडी डिसमॉर्फिक डिसऑर्डर (बीडीडी), तनाव और अवसाद का शिकार रही हैं। ये काफ़ी कष्टदायी था।
मुंबई। पर्दे पर तमाम मुश्किलों से लड़कर जीतने वाले होरी को कई बार असल ज़िंदगी में भी एक जंग लड़नी पड़ती है। बाहर से देखने में बेशक़ उनकी ज़िंदगी आसान और ऐशो-आराम से भरी महसूस हो, मगर कुछ एक्टर्स ऐसे हैं, जिन्होंने जीवन के किसी ना किसी मोड़ पर परिस्थितियों का सामना करना पड़ा है। निजी ज़िंदगी में उनके जज़्बे को आप भी सलाम करेंगे।
रानी मुखर्जी
21 मार्च को अपना 40वां जन्मदिन मना रही हैं। उनकी फ़िल्म हिचकी 23 मार्च को रिलीज़ हो रही है। इस फ़िल्म में रानी का किरदार टुरेट सिंड्रोम से पीड़ित दिखाया गया है। इस बीमारी से पीड़ित व्यक्ति कुछ विशेष परिस्थितियों में हकलाता है। इसी फ़िल्म के प्रमोशंस के दौरान रानी ने ये राज़ खोला कि असल ज़िंदगी में भी वो ख़ास हालात में स्टैमर करती थीं और फ़िल्मों में एक्टिंग करने के लिए उन्हें इस पर काबू करना पड़ा। रानी कहती हैं कि मैंने अपने हकलाने वाली समस्या पर अब काबू पा लिया है।
यही वजह है कि किसी को भी इस बारे में जानकारी नहीं है कि मुझे पिछले 22 सालों से यह परेशानी रही है। यहां तक कि मेरी टीम को इस बारे में कई सालों तक जानकारी नहीं थी। वजह यह रही कि मैंने इस पर काम किया और सामने वाले व्यक्ति मुझे पकड़ नहीं सकते कि मैं इस परेशानी में हूं। रानी कहती हैं कि उन्हें लगता है कि यह उनकी अब कोई कमजोरी नहीं है। वह इन सबसे डील करना अच्छी तरह से जानती हैं।
रितिक रोशन
ग्रीक गॉड कहे जाने वाले रितिक रोशन ना जाने कितने युवाओं के लिए प्रेरणा की तरह हैं। वैसे रितिक के लुक्स और शानदार फिज़ीक ही नहीं, उनकी ज़िंदगी भी ऐसे लोगों के लिए इंस्पिरेशन है, जो शारीरिक परेशानी से जूझ रहे है। छह साल की उम्र तक रितिक बहुत अधिक हकलाते थे और कई दर्दनाक स्पीच थेरेपी से उन्हें गुज़रना पड़ा। अपनी मेहनत और समर्पण से रितिक ने इस कमी पर जीत हासिल की और बॉलीवुड के सुपर स्टार्स की केटेगरी में आये।
अभिषेक बच्चन
कम ही लोग जानते होंगे कि अभिषेक बच्चन को बचपन में डिस्लेक्सिया था। इस बीमारी के बारे में अधिकांश लोगों को तब पता चला, जब तारे ज़मीं पर आयी, जिसमें फ़िल्म के हीरो चाइल्ड आर्टिस्ट दर्शील सफ़ारी को डिस्लेक्सिया होता है। अभिषेक अनुराग कश्यप निर्देशित फ़िल्म मनमर्ज़ियां में नज़र आने वाले हैं।
राणा दग्गूबटी
बाहुबली2- द कंक्लूज़न के प्रमोशंस के दौरान राणा दग्गूबटी ने अपने बारे में एक हैरान करने वाला राज़ खोला कि एक आंख से उन्हें दिखायी नहीं देता। बचपन में एक बीमारी के चलते राणा की एक आंख की रौशनी चली गयी, लेकिन इस कमी को उन्होंने अपने रास्ते की बाधा नहीं बनने दिया और अपनी मेहनत के दम से एंटरटेनमेंट की दुनिया में नाम कमाया।
इलियाना डिक्रूज़
अजय देवगन के साथ रेड में नज़र आ रहीं इलियाना डिक्रूज़ के गुड लुक्स और फिगर पर ना जाने कितने दिल धड़कते होंगे। इलियाना ने एक इंटरव्यू में स्वीकार किया था कि वो बॉडी डिसमॉर्फिक डिसऑर्डर (बीडीडी), तनाव और अवसाद का शिकार रही हैं। ये काफ़ी कष्टदायी था। इस मानसिक अवस्था के शिकार लोग दिन में कई घंटे यही सोचने में निकाल देते हैं कि उनके शरीर में कोई कमी है। दूसरे उन्हें यक़ीन भी दिलाना चाहें तो वो मानने को तैयार नहीं होते। भावनात्मक रूप से वो इतने नकारात्मक हो जाते हैं कि एकांत में चले जाते हैं, कहीं कोई उनकी कमी ना ढूंढ ले।
दीपिका पादुकोण
दीपिका पादुकोण इस वक़्त सफलता के सर्वोच्च शिखर पर हैं। उनकी पिछली रिलीज़ पद्मावत 300 करोड़ से अधिक की रकम जमा कर चुकी है, मगर ज़्यादा वक़्त नहीं गुज़रा जब दीपिका डिप्रेशन यानि अवसाद का शिकार थीं। आम तौर पर सितारे ऐसी बातों को छिपाते हैं, मगर दीपिका ने इसके बारे में खुलकर बात की। उन्होंने कहा था- मुझे लगा कि ये तनाव है, इसलिए मैंने ख़ुद को काम पर फोकस करके इससे दूर होने की कोशिश की और ऐसे लोगों से ख़ुद को घेर लिया, जो मदद कर सकते थे। लेकिन वो परेशान करने वाली फीलिंग गयी नहीं। मेरी एकाग्रता जाने लगी थी और अक्सर में टूट जाती थी। दीपिका ने सार्वजनिक तौर पर अवसाद को स्वीकार किया, जिसकी वजह से दूसरों को भी समझने में मदद मिली कि ये होता क्या है।
अनुष्का शर्मा
अनुष्का शर्मा एंज़ाइटी या तनाव का शिकार रही हैं। उन्होंने इसका ज़िक्र ट्विटर पर किया था। उन्होंने स्वीकार किया था कि उनकी दवा चल रही है। अनुष्का ने इस पोस्ट में पूछा, वो ये सब क्यों बता रही हैं, क्योंकि ये पूरी तरह सामान्य बात है। ये एक बायलॉजिकल समस्या है। मेरे परिवार में अवसाद के मामले हुए हैं। अधिक से अधिक लोगों को इसके बारे में बात करनी चाहिए। इसमें ऐसा कुछ नहीं कि इसे छिपाया जाए। अगर आपके पेट में दर्द होता है तो आप डॉक्टर के पास जाते हो। ये उसी तरह है।