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    प्रगतिशील सोच

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    Updated: Wed, 14 Dec 2011 01:11 AM (IST)

    परंपराओं का संरक्षण करने वाले जब वक्त की नजाकत को स्वयं महसूस करने लगते हैं, अप्रासंगिक हो चुकी रीतियों को ढोने का विरोध करते हैं तथा जीवनधारा के नैसर्गिक प्रवाह में अवरोध पैदा करने वाले कारकों का स्वत: संज्ञान लेते हैं तो समाज अपने आप को ऐसे परिवेश में पाता है जो निश्चित तौर पर सुखद होता है। भिवानी जिले के लोहारू उपमंडल के तीन गांवों में मृत्यु भोज पर प्रतिबंध लगाया गया है। इन गांवों में शराब बेचने पर भी रोक लगा दी गई है। पंचायतों के आदेश पर अमल के लिए पांच-पांच सदस्यीय कमेटियों का भी गठन हुआ। इन पंचायतों ने जो साहस और समाज को प्रगतिशील रूप देने का जज्बा दिखाया, वह सराहनीय है। अन्य पंचायतों को भी इनका अनुसरण करना चाहिए। कई और कुरीतियों व सड़-गल चुकी परंपराओं को हटाने के लिए भी प्रयास किए जाने चाहिए। कर्ज लेकर परंपरागत औपचारिकताएं पूरी करने का क्या औचित्य? भ्रूणहत्या आज प्रदेश के माथे पर कलंक की तरह चस्पां है। बदतर लिंग अनुपात उसका दुष्परिणाम है। माना कि ग्रामीण इलाकों में अल्ट्रासाउंड केंद्र नहीं और न ही बड़े नर्सिग होम, पर भ्रूणहत्या बड़े पैमाने पर मोटी धनराशि देकर करवाई जा रही है। ग्राम पंचायतें ऐसे वैध-अवैध केंद्रों, नर्सिग होम की जानकारी स्थानीय प्रशासन को दें तो लिंग अनुपात बेहतर बनाने में निश्चित तौर पर कामयाबी मिलेगी। बालिका शिक्षा के लिए प्रदेश व केंद्र सरकार ने अनेक प्रभावशाली योजनाएं चलाई हैं परंतु ग्रामीण इलाके ही अमल में सबसे पीछे हैं। स्कूल 'ड्रॉप आउट्स' की संख्या सबसे ज्यादा गांवों की लड़कियों की है। लड़कियों को आत्मनिर्भर बनाने से ग्रामीण अभिभावक आज भी झिझकते हैं।

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    कारण स्पष्ट है कि चाहे शिक्षा हो, सांस्कृतिक, खेल गतिविधियां या नौकरी, अभिभावक अपनी बेटियों के मामले में हमेशा असुरक्षा की भावना से ग्रस्त रहते हैं। उन्हें जागरूक करने का महत्वपूर्ण दायित्व ग्राम पंचायतों को वहन करना चाहिए। ग्रामीण निकायों में महिलाओं को 33 फीसद आरक्षण तो सरकार ने दे दिया पर आज भी महिला पंच या सरपंच को घूंघट में बैठक करते देखा जा सकता है। 50 फीसद महिला पंच-सरपंचों का काम उनके पति देखते हैं क्योंकि वे संकोच के कारण बैठकों में नहीं आ पातीं। पंचायत प्रतिनिधियों का दृष्टिकोण आधुनिक बनाने में पंचायतें महती भूमिका निभा सकती हैं।

    [स्थानीय संपादकीय: हरियाणा]

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