GRAP-4 क्या होता है? इस चरण में प्रदूषण रोकने के लिए किन चीजों पर लगाया जाता है प्रतिबंध
दिल्ली में प्रदूषण बढ़ने के कारण ग्रेप-4 लागू किया गया है। इसके तहत कई प्रतिबंध लगाए गए हैं, जिनमें आवश्यक वस्तुओं के अलावा अन्य ट्रकों का प्रवेश बंद ...और पढ़ें
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स्टेज-4 दिल्ली-एनसीआर में वायु प्रदूषण के सबसे गंभीर स्तर (एक्यूआई 450 के पार) होने पर लागू किया जाता है।
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। राजधानी दिल्ली और इसके आसपास के इलाकों में प्रदूषण चरम पर है। इस कारण ग्रेप 4 के प्रतिबंध शनिवार को लागू कर दिया गया। ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (GRAP) का स्टेज-4 दिल्ली-एनसीआर में वायु प्रदूषण के सबसे गंभीर स्तर (एक्यूआई 450 के पार) होने पर लागू किया जाता है।
यह आपातकालीन उपायों का सेट है, जो पहले के स्टेज-1, 2 और 3 के प्रतिबंधों के अलावा लागू होता है। इसका उद्देश्य प्रदूषण स्रोतों जैसे वाहन, निर्माण और उद्योगों से उत्सर्जन को तुरंत कम करना है। इसे वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग यानी CAQM लागू करता है। इसकी बैठकें होती है, जिसमें ग्रेप को लागू करने पर फैसला होता है।
GRAP-4 के तहत ट्रकों की दिल्ली में एंट्री पर सख्त रोक लगाई जाती है। केवल आवश्यक वस्तुएं ले जाने वाले या आवश्यक सेवाएं देने वाले ट्रकों को ही प्रवेश करने की अनुमति होती है। साथ ही LNG/CNG/इलेक्ट्रिक या BS-VI डीजल ट्रक ही अनुमति प्राप्त हैं। दिल्ली रजिस्टर्ड BS-IV या उससे पुराने डीजल मध्यम और भारी वाहनों पर भी प्रतिबंध है (आवश्यक सेवाओं को छोड़कर)। बाहर से आने वाले लाइट कमर्शियल वाहनों पर भी पाबंदी होती है। इसमें EV/CNG/BS-VI के वाहनों को छूट होती है।
- GRAP का फुल फॉर्म- Graded Response Action Plan (ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान)
- क्या है मतलब: प्रदूषण के स्तर के अनुसार चरणबद्ध तरीके से प्रतिक्रिया देने की योजना.
- क्या है उद्देश्य: वायु प्रदूषण को नियंत्रित और कम करना.
- कब लागू होता है: जब एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) एक निश्चित स्तर जैसे- 200, 300, 400 से ऊपर चला जाता है
- कौन लागू करता है: वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (CAQM)
विध्वंस कार्यों पर लगती है रोक
इस दौरान सभी प्रकार के निर्माण और विध्वंस कार्यों पर पूर्ण रोक लग जाती है, जिसमें हाईवे, फ्लाईओवर, पावर लाइन और पाइपलाइन जैसे लीनियर पब्लिक प्रोजेक्ट भी शामिल होता है। NCR राज्यों को सरकारी, नगर निगम और निजी ऑफिसों में 50% कर्मचारियों को वर्क फ्रॉम होम करने का निर्णय लेने का निर्देश होता है।
ऑनलाइन मोड में चलेंगी कक्षाएं
इसके अलावा, राज्य सरकारें अतिरिक्त उपाय जैसे स्कूल-कॉलेज बंद करना, क्लास 6-9 और 11 की फिजिकल क्लासेस रोककर ऑनलाइन मोड अपनाना, गैर-आवश्यक कमर्शियल गतिविधियां बंद करना और वाहनों पर ऑड-ईवन जैसे नियम लागू करने पर विचार कर सकती हैं। नागरिकों से अपील की जाती है कि मास्क पहनें, बाहर निकलना कम करें और प्रदूषण नियंत्रण में सहयोग करें।

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