RRTS News: यात्रियों के साथ-साथ कारोबारियों के लिए भी लाभप्रद होगी रैपिड रेल, जानें कैसे होगा फायदा
RRTS News- मेट्रो सेवा की तरह रैपिड रेल की यात्री गाड़ी भी सुबह छह से रात 11 बजे तक चलेगी। इस अवधि के बाद रैपिड रेल की मालगाड़ी चलेगी। मालगाड़ी के आकार उपयोगिता और संचालन आदि को लेकर कंपनियों के साथ वार्ता चल रही है।
दिल्ली/ मेरठ [प्रदीप द्विवेदी]। दिल्ली से मेरठ तक बनाया जा रहा रैपिड रेल कारिडोर यात्रियों के साथ-साथ कारोबारियों के लिए भी लाभ देने वाला होगा। यात्रियों की सेवा बंद होने के बाद इस ट्रैक पर मालगाड़ी भी चलाने की योजना बनाई जा रही है। मालगाड़ी चलने से दिल्ली से मेरठ और एनसीआर के अन्य हिस्सों में कारोबारियों को अपना सामान भेजने में सहूलियत हो जाएगी। वो रात 11 बजे के बाद इसी ट्रैक पर चलने वाली मालगाड़ी में अपने सामान बुक कराकर उसे मेरठ तक भेज सकेंगे। इसी तरह से जिन कारोबारियों का सामान मेरठ से दिल्ली आता होगा उन्हें भी सुविधा होगी वो चंद घंटों में ही अपना सामान पहुंचा सकेंगे। अभी इन सभी को दूसरे साधनों से अपने सामान भेजने और मांगने पड़ते हैं।
देश की पांच ट्रिलियन की अर्थव्यवस्था बनाने में दिल्ली-एनसीआर का सहयोग बढ़ाने के लिए राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र परिवहन निगम (एनसीआरटीसी) नए मिशन पर जुटा है। दिल्ली-एनसीआर के शहरों के बीच व्यापार तेजी से बढ़ाने के लिए रीजनल रैपिड ट्रांजिट सिस्टम यानी रैपिड रेल कारिडोर पर मालगाड़ी चलाने की योजना तैयार की जा रही है।
इससे दिल्ली, गुरुग्राम, मेरठ व पानीपत जैसे शहरों से अब सामान तेजी से जा सकेगा। इसका लाभ ई-कामर्स, कुरियर और पार्सल सेवा कंपनियों को मिलेगा। मेट्रो सेवा की तरह रैपिड रेल की यात्री गाड़ी भी सुबह छह से रात 11 बजे तक चलेगी। इस अवधि के बाद रैपिड रेल की मालगाड़ी चलेगी। मालगाड़ी के आकार, उपयोगिता और संचालन आदि को लेकर कंपनियों के साथ वार्ता चल रही है। माल परिवहन के लिए रैपिड रेल के डिपो में वेयरहाउस बनाए जाएंगे। वर्तमान में निर्माणाधीन दिल्ली-गाजियाबाद-मेरठ कारिडोर पर जंगपुरा, दुहाई और मोदीपुरम डिपो में वेयरहाउस बनेंगे। कंपनियां अपना सामान एक से दूसरे वेयरहाउस तक पहुंचा सकेंगी।
यात्री गाड़ी में सामान की क्षमता पर हो रहा विचार
रैपिड रेल में यात्री अपने साथ सामान भी ले जा सकेंगे। यह रेल एक शहर को दूसरे शहर से जोड़ने वाली सेवा है। इसके माध्यम से लोग एयरपोर्ट तक भी जाएंगे। इस स्थिति में ज्यादा सामान ले जाने की जरूरत होगी। इसको ध्यान में रखते हुए कोई भी यात्री ज्यादा सामान ले जा सकेगा, फिर भी सामान ले जाने की एक सीमा तय की जा सकती है। इस पर अभी विचार किया जा रहा है।