घड़ी के शौकीन हैं तो आइए दिल्ली की इस मशहूर दुकान में, 500 से 40 हजार तक की है स्टाइलिश घड़ियां
इस दुकान की सबसे बड़ी खासियत यह है कि यहां पांच सौ रुपये से लेकर 40 हजार रुपये तक की घड़ियां उपलब्ध हैं। आपको अपने लिए जिस रेंज की आवश्कता हो ले सकते ...और पढ़ें

नई दिल्ली [रितु राणा]। भले ही आज हर हाथ में मोबाइल हो.. उसमें टाइम देखने का फीचर हो, लेकिन जो बात घड़ी में है, वो मोबाइल में कहां। घड़ी ऐसी एक्सेसरीज है जो आपकी पर्सनैलिटी को और भी आकर्षक बना देती है। तभी तो घड़ी के प्रति आज भी लोगों में आकर्षण बरकरार है। चांदनी चौक में पैकार्ड वाच कंपनी की दुकान पर पहुंचते ही घड़ी के शौकीनों की भीड़ देख आपको इस बात का एहसास हो जाएगा। यहां एक से बढ़कर एक एंटीक और लेटेस्ट घड़ियों की चमक आपकी आंखों में कुछ इस तरह रच-बस जाएगी कि उसे खरीदे बिना नहीं रह पाएंगे। 79 वर्ष पुरानी इस दुकान पर हाथ और दीवार घड़ी का बेहतरीन कलेक्शन उपलब्ध है।
पैकार्ड गाड़ी से प्रभावित होकर रखा नाम
दुकान के मालिक अनवर शाहिद के मुताबिक वर्ष 1942 में उनके दादा शेख मुहम्मद शफी ने ग्रेट बिटिश वाच कंपनी नाम से यह दुकान शुरू की थी। इस नाम के पीछे का कारण बाताते हुए कहते हैं चूंकि उस समय अंग्रेजी शासन था तो दादा जी को लगा इस नाम से दुकान खूब चलेगी, इसलिए यह नाम रख दिया। लेकिन 1947 में जब देश आजाद हुआ तो उन्होंने दुकान का नाम बदलकर पैकार्ड वाच कंपनी रख दिया।
उस समय पैकार्ड नाम से कोई गाड़ी आई थी जो दादा जी को बहुत पसंद थी। इसलिए उन्होंने दुकान का नाम ही पैकार्ड रख दिया। दादा के बाद पिता शाहिद अहमद ने दुकान संभाली और अब तीसरी पीढ़ी के हाथों में दुकान की बागडोर है। जिसे वे बखूबी आगे बढ़ा रहे हैं।
500 से 40 हजार तक की घड़ियां
इस दुकान की सबसे बड़ी खासियत यह है कि यहां पांच सौ रुपये से लेकर 40 हजार रुपये तक की घड़ियां उपलब्ध हैं। आपको अपने लिए जिस रेंज की आवश्कता हो ले सकते हैं। अनवर कहते हैं पहले वे मैकेनिकल टेबल क्लाक, एचएमटी की घड़ियां भी रखते थे। इसके खरीदार भी कम नहीं थे, लेकिन बाद में यह कंपनी ही बंद हो गई। 2006 तक उन्होंने स्विस ब्रांड की घड़ियां भी बेची हैं। अब केवल भारतीय ब्रांड की घड़ियां ही रखते हैं।
50 एंटीक घड़ियां बढ़ा रही दुकान की शोभा
अगर घर में एंटीक घड़ी लगाने का शौक रखते हैं तो यहां आपको सैंडोज, फेवेर ल्यूबा व वेस्टेंड की एंटीक वाल क्लाक, अलार्म टाइम पीस क्लाक और रिस्ट वाच सहित करीब 50 एंटीक घड़ियां मिलेंगी। ये 1950 से 1980 के दशक के बीच खूब चलती थीं। अब इनकी ब्रांड कीमत कम जरूर हो गई है, लेकिन पुराने लोग आज भी इन्हें पसंद करते हैं। महज तीन से चार हजार में ये घड़ियां उपलब्ध हो जाएंगी।
ऐसे पहुंचे
चांदनी चौक मेट्रो स्टेशन से महज 300-400 मीटर की दूरी पर बल्लीमारान फुटवीयर मार्केट के ठीक सामने ही है दुकान।
खुलने का समय
सुबह 11:30 से शाम 8:30 बजे तक कभी भी जा सकते हैं। रविवार को दुकान बंद रहती है।

कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।