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    रेखा गुप्ता सरकार के 100 दिन: BJP सरकार के इरादों से हवा साफ होने की आस, पर्यावरण मंत्री ने लिया अहम फैसला

    Updated: Thu, 29 May 2025 07:24 PM (IST)

    दिल्ली में नई सरकार आने के बाद प्रदूषण से निपटने के प्रयास तेज हो गए हैं। सरकार ने एंटी स्मॉग गन वाटर स्प्रिंकलर और सड़कों की सफाई पर जोर दिया है। यमुना में प्रदूषण की निगरानी के लिए स्टेशन स्थापित किए जा रहे हैं और कृत्रिम वर्षा के लिए आईआईटी कानपुर से करार किया गया है। सरकार का फोकस प्रदूषण नियंत्रण पर है और बेहतर परिणाम की उम्मीद है।

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    भाजपा सरकार के इरादों से हवा साफ होने की जगी आस।

    संजीव गुप्ता, नई दिल्ली। राजधानी में सरकार बदलने के बाद प्रदूषण से जंग ने भी रफ्तार पकड़ ली है। रेखा गुप्ता सरकार के स्पष्ट इरादों ने भविष्य के लिए आस जगा दी है। केवल 100 दिनों में नई सरकार ने जो निर्णय लिए, उनसे लगता है कि इस बार जाड़े के दिनों में भी राजधानी वासियों को ज्यादा परेशानी नहीं होगी।

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    पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा की अगुवाई में यह निर्णय लिया गया कि धूल नियंत्रण के लिए अब साल भर वाटर स्प्रिंकलर और एंटी स्मॉग गन तैनात रहेंगी। बेहतर परिणाम के लिए एंटी स्मॉग गन भवनों के ऊपर लगाई जाएंगी। मैकेनाइज़्ड रोड स्वीपिंग अनिवार्य कर दी गई हैं। औद्योगिक प्रदूषण कम करने के लिए नई तकनीक और वेस्ट प्रोसेसिंग सिस्टम अपनाए जा रहे हैं। हरियाली बढ़ाने के लिए बड़े स्तर पर पौधारोपण, वर्टिकल गार्डन और ग्रीन रूफटॉप को बढ़ावा दिया जा रहा है।

    एकीकृत कमांड और नियंत्रण केंद्र बनाने की तैयारी

    वायु गुणवत्ता, जल प्रदूषण, ध्वनि स्तर और अपशिष्ट प्रबंधन की वास्तविक समय निगरानी के लिए एकीकृत कमांड और नियंत्रण केंद्र बनाने की तैयारी है। पहली बार यमुना और प्रमुख नालों के किनारे 32 गुणवत्ता निगरानी स्टेशन स्थापित किए जाएंगे ताकि जल प्रदूषण की रियल टाइम निगरानी की जा सके। छह नए वायु गुणवत्ता निगरानी स्टेशन स्थापित किए जाएंगे। इनके लिए जगह भी चिन्हित हो गई है और नौ करोड़ रुपये भी स्वीकृत कर दिए गए हैं।

    सर्दियों में दिल्ली गैस चैंबर न बने, इसके निमित्त एक अहम कदम के रूप में कृत्रिम वर्षा के लिए आइआइटी कानपुर के साथ करार कर लिया गया है। जल्द ही पांच ट्रायल होने वाले हैं, संबंधित विभागों से एनओसी मिलने का इंतजार है। 321 करोड़ रुपये की राशि भी मंत्रिमंडल की बैठक में स्वीकृत हो गई है। ई वाहनों को बढ़ावा दिया जा रहा है। हालांकि सार्वजनिक परिवहन सेवा को मजबूत करने की चुनौती अब भी बरकरार है।

    निस्संदेह प्रदूषण पर सरकार का फोकस, परिणाम का इंतजार

    रेखा गुप्ता सरकार के फोकस में शुरू से ही यमुना और वायु प्रदूषण है, यह एक अच्छी बात है। पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा और सरकार लगातार समीक्षा बैठकें भी कर रही हैं, प्रदूषण की रोकथाम के लिए निर्णय भी ले रही है। योजनाओं के लिए बजट भी दिया जा रहा है। हाल ही में दिल्ली सरकार ने हीट एक्शन प्लान भी लांच किया। कहा जा सकता है कि सरकार की नीयत अच्छी है और जब ऐसा हो तो अच्छे परिणाम की आस भी की जा सकती है। कृत्रिम वर्षा की उपयोगिता पर अभी कुछ कहना जल्दबाजी होगी। सार्वजनिक परिवहन पर भी थोड़ा ध्यान दिए जाने की जरूरत है। यदि सड़कों से निजी वाहन कम होंगे तो ट्रैफिक जाम कम होगा, प्रदूषण में कमी आएगी। - डॉ अरुणाभा घोष, सीईओ, काउंसिल ऑन एनर्जी, एनवायरनमेंट एंड वाटर (सीईईडब्ल्यू)