अब आम के बागों में भी होगा Operation Sindoor, आम महोत्सव में NDMC ने किया एलान
नई दिल्ली नगरपालिका परिषद (एनडीएमसी) ने ऑपरेशन सिंदूर नाम से आम की नई किस्म विकसित करने की घोषणा की है। एनडीएमसी उपाध्यक्ष कुलजीत सिंह चहल ने आम महोत्सव के उद्घाटन पर यह जानकारी दी। महोत्सव में 515 किस्मों के आम प्रदर्शित किए गए हैं। यह अनूठा संगम भारत की अनेकता में एकता का प्रतीक है जहां विभिन्न राज्यों के किसान अपने आमों का प्रदर्शन कर रहे हैं।

जागरण संवाददाता, नई दिल्ली: नई दिल्ली नगरपालिका परिषद (NDMC) ने दो दिवसीय आम महोत्सव की शुरुआत पर Operation Sindoor के नाम से Mango यानी आम की नई किस्म तैयार करवाने की घोषणा की है।
एनडीएमसी के उपाध्यक्ष कुलजीत सिंह चहल ने महोत्सव का उद्धाटन करते हुए महोत्सव में मौजूद 515 किस्म और दो सरकारी आम अनुसंधान संसम्थान, 10 आम उत्पादक किसानों के साथ 25 आम विक्रेताओं की जानकारी दी।
इस अवसर आईसीएआर-सीआईएसएच लखनऊ से जुड़े कृषि वैज्ञानिक डाॅ. एके सिंह ने कहा कि हम एक ऐसी आम की प्रजाति तैयार करेंगे, जिससे भारतीय सेना के आपरेशन सिंदूर के पराक्रम को याद रखा जा सके।
डाॅ. एके सिंह ने एनडीएमसी के उपाध्यक्ष कुलजीत सिंह चहल के आग्रह पर इस आम की प्रजाति का नाम ''ऑपरेशन सिंदूर'' रखने की सहमति दी।
चहल ने कहा कि एनडीएमसी द्वारा आयोजित यह आम महोत्सव एक ऐसा संगम है, जहां इस आम महोत्सव में 515 प्रकार के आम प्रदर्शित किए गए हैं। जिन्हें भारत के विभिन्न राज्यों में उगाया जाता है।
आम महोत्सव में शनिवार और रविवार को एंट्री फ्री
उन्होंने कहा कि इस सप्ताहांत में शनिवार और रविवार दोपहर 12 से रात्रि नौ बजे तक नागरिक निश्शुल्क प्रवेश कर सकते हैं।
एनडीएमसी ने आम महोत्सव के अपने पहले प्रयास में, किसानों को एक अनूठा मंच प्रदान किया है, जहां वे अपने आमों और उनके उत्पादों का प्रदर्शन कर सकते हैं। उन्होंने बताया कि 515 आमों के प्रदर्शन के अलावा कई अन्य देशों के आम भी यहां प्रदर्शित किए गए हैं।
आम महोत्सव में कुछ संकर किस्मों को भी प्रदर्शित किया जा रहा है, जो उत्तर भारत और दक्षिण भारत की किस्मों से मिलाकर उगाए गए हैं।
यह आम महोत्सव भारत की अनेकता में एकता का प्रतीक बनकर उभरा है। आम महोतस्व में राजावाला आम और मल्लिका आम लोगों को खासा पंसद आ रहा था।
एनडीएमसी ने यह भी घोषणा की कि आने वाले वर्षों में हमारा प्रयास रहेगा कि नई दिल्ली स्थित सभी दूतावासों से संपर्क कर उनके देशों में उगाए जाने वाले आमों की किस्मों को इस आम महोत्सव में प्रदर्शित किया जा सके।
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