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    Delhi Bulldozer Action: पहले बुलडोजर...अब हथौड़ा, दिल्ली में DDA ने 1200 झुग्गियां की ध्वस्त

    Updated: Tue, 17 Jun 2025 10:04 PM (IST)

    दिल्ली के अशोक विहार में डीडीए ने झुग्गियों पर फिर कार्रवाई की। 1650 में से 1200 से ज़्यादा झुग्गियां तोड़ी गईं अब 300-400 बची हैं जिन पर कोर्ट का स्टे है। डीडीए ने मैन्युअल तरीके से झुग्गियां तोड़ीं ताकि स्थगन आदेश वाली झुग्गियों को नुकसान न पहुंचे। लोगों को बिजली-पानी की दिक्कत हो रही है। 1078 लोगों को पुनर्वास योजना के तहत फ्लैट मिले हैं जबकि 567 अयोग्य पाए गए।

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    जेलर वाला बाग क्षेत्र में दूसरे दिन भी हटाई गईं झुग्गियां। फाइल फोटो

    जागरण संवाददाता, बाहरी दिल्ली।(Delhi DDA Demolishes Encroachments): अशोक विहार फेज-2 के जेलर वाला बाग क्षेत्र में डीडीए (दिल्ली विकास प्राधिकरण) की जमीन पर बनाई गईं लगभग एक हजार झुग्गियां को ध्वस्त करने के बाद मंगलवार को भी अभियान जारी रहा।

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    आज झुग्गियों पर बुलडोजर की बजाय हथौड़ों व अन्य उपकरणों की मदद से हाथ से तोड़ा गया। इसके साथ ही पिछले दो दिन के भीतर 1650 झुग्गियों में से लगभग 1200 से ज्यादा झुग्गियों को ढहाया जा चुका है।

    अब यहां 300-400 झुग्गियां बची हैं, इनमें से ज्यादा वे झुग्गियां हैं, जिन पर कोर्ट ने स्थगन आदेश दे रखा है। दो दिन चली कार्रवाई के बाद झुग्गी बस्ती का बड़ा हिस्सा कब्जा मुक्त हो गया।

    मंगलवार सुबह पुलिस व अर्ध सैनिकों की उपस्थिति में डीडीए ने झुग्गियां हटाना शुरू किया। डीडीए ने आज उन झुग्गियों को श्रमिकों की मदद से मैन्युअली तोड़ा, जो कोर्ट के स्थगन आदेश पाने वाली झुग्गियों से सटी थीं।

    कोर्ट से स्थगन आदेश प्राप्त झुग्गियों के ढांचे की सुरक्षा के मद्देनजर डीडीए ने ऐसी झुग्गियों से निर्माण को नहीं तोड़ा था। ऐसे निर्माण को आज दिनभर हथौड़े चलते रहे। इस कार्य में बड़ी संख्या में श्रमिकों को लगाया गया।

    स्थानीय लोगों ने बताया कि आज झुग्गियों पर बुलडोजर के बजाय हथौड़े चले। दूसरे दिन भी लोग मलबे के बीच से अपना सामान निकालते रहे। अभियान से जुडे़ अधिकारी ने बताया कि अभियान लगभग पूरा हो गया है।

    जो निर्माण हटाने बाकी हैं, उन्हें जल्द ही हटा दिया जाएगा, इसके बाद अगले एक-दो दिन में यहां बिखरे मलबे को समेटा जाएगा। कोर्ट के स्थगन आदेश से बची झुग्गियों में रहने वाले लोग दूसरे दिन बिजली और पानी की आपूर्ति को लेकर परेशान रहे।

    लोगों ने बताया कि बिजली और पानी के बिना रहना मुश्किल हो रहा है, प्रशासन को झुग्गियों में बिजली व पानी की व्यवस्था करनी चाहिए।

    उल्लेखनीय है कि इस क्षेत्र में करीब 1650 झुग्गियां बनी हैं, इनमें से 1078 लोगों को पुनर्वास योजना (जहां झुग्गी, वहां मकान) के तहत केंद्र सरकार ने पिछले साल स्वाभिमान अपार्टमेंट में फ्लैट आवंटित किए गए थे। यहां रह रहे 567 निवासी अपात्र पाए गए।

    डीडीए ने करीब ढाई सौ झुग्गियों पर कार्रवाई नहीं की। इन झुग्गियों के मालिकों ने कोर्ट से ध्वस्तीकरण के खिलाफ स्थगन आदेश ले रखा है। ऐसी झुग्गियों को डीडीए ने पहले ही चिन्हित कर लिया था।