Mothers Day 2020: बच्चों का चेहरा देता है कोरोना से जंग लड़ने की ताकत
Mothers Day 2020 उत्तरी जिले की पुलिस उपायुक्त होने के साथ ही मैं एक मां भी हूं। ऐसे में देश के साथ ही बच्चों की जिम्मेदारी को भी निभाती हूं।
नई दिल्ली [रितु राणा]। Mothers Day 2020: आज यानी रविवार को मदर्स डे है। यह ऐसा पर्व है, जिसमें मां शब्द का जादू बोलता है। इसको लेकर मोनिका भारद्वाज (उत्तरी जिला पुलिस उपायुक्त) कहती हैं कि मां अपने बच्चों के लिए हर कदम पर एक ढाल की तरह खड़ी रहती है। मैं कोरोना वायरस के खिलाफ भी एक जंग लड़ रही हूं। ऐसे में अपने बच्चों के प्रति मेरी जिम्मेदारी ज्यादा बढ़ गई है। उत्तरी जिले की पुलिस उपायुक्त होने के साथ ही मैं एक मां भी हूं। ऐसे में देश के साथ ही बच्चों की जिम्मेदारी को भी निभाती हूं। बच्चों से दूर रहती हूं, ताकि देश की सभी मां और उनके बच्चे अपने घर में सुरक्षित रहें।
फर्ज भी और बच्चे भी
कोरोना वायरस के संक्रमण से खुद के साथ बच्चों को सुरक्षित रखती हूं। मुझे बच्चों के लिए काफी कम समय मिलता है। मेरे जुड़वा बच्चे हैं अकुल और आरव। दोनों की उम्र अभी साढ़े तीन वर्ष है, लेकिन अपने फर्ज को आगे रखते हुए मुझे उन्हें छोड़कर बाहर जाना पड़ता है। ड्यूटी के दौरान वे मुझसे मिलने की जिद करते हैं तो मैं उनसे वीडियो कॉल पर बात करती हूं। मैं हर समय यह सोचती रहती हूं कि मेरे बच्चों पर मेरी वजह से कोई संकट न आए। घर पहुंचने से पहले ही मैं फोन करके अपने आने की सूचना दे देती हूं, ताकि बच्चों को अलग कमरे में भेज दिया जाए।
हमेशा रहता है मां होने का अहसास
कोरोना वायरस संक्रमण के दौर में अपनी ड्यूटी ईमानदारी से निभा रही मोनिका भारद्वाज कहती हैं कि घर पहुंचते ही सबसे पहले खुद को सैनिटाइज करती हूं। उसके बाद ही बच्चों से मिलती हूं। कभी समय से घर पहुंच जाती हूं तो बच्चों को अपने हाथ से खाना भी खिलाती हूं। उसके बाद उनके साथ उनका पसंदीदा खेल लुका-छुपी भी खेलती हूं। बच्चों का चेहरा ही मुझे बाहर जाकर कोरोना से जंग लड़ने की ताकत देता है।
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