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    Delhi News: डीपीएस द्वारका के खिलाफ अभिभावकों ने किया प्रदर्शन, स्कूल पर लगाया मनमानी का आरोप

    Updated: Sun, 15 Jun 2025 07:30 AM (IST)

    दिल्ली पब्लिक स्कूल द्वारका की मनमानी के खिलाफ जंतर-मंतर पर अभिभावकों ने प्रदर्शन किया। उन्होंने स्कूल पर अमानवीय व्यवहार का आरोप लगाया और सरकार से अधिग्रहण की मांग की। अन्य स्कूलों के अभिभावकों ने भी समर्थन दिया इसे शिक्षा सम्मान और सुरक्षा के अधिकार की लड़ाई बताया। उन्होंने बाल अधिकारों के उल्लंघन पर कार्रवाई की मांग की।

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    डीपीएस द्वारका व अन्य स्कूलों के अभिभावक जंतर मंतर पर प्रदर्शन करते हुए। जागरण

    जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। दिल्ली पब्लिक स्कूल (डीपीएस), द्वारका की मनमानी और कोर्ट व शिक्षा निदेशालय के आदेशों की अवहेलना के खिलाफ शुक्रवार को 200 से अधिक अभिभावकों ने जंतर-मंतर पर प्रदर्शन किया। अभिभावकों ने इस दौरान मांग की कि दिल्ली सरकार इस स्कूल का अधिग्रहण करे और बच्चों के साथ हो रहे शोषण को तुरंत रोका जाए।

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    अभिभावकों का आरोप है कि स्कूल प्रबंधन बच्चों के साथ अमानवीय व्यवहार कर रहा है। उन्हें कक्षाओं से बाहर निकालना, अलग-थलग करना, बाउंसर लगाकर डराना, पुस्तकालय में बंद करना और शौचालय जाने से रोकना जैसी घटनाएं लगातार हो रही हैं।

    20 अन्य स्कूलों के अभिभावक भी हुए शामिल

    प्रदर्शन में दिल्ली के लगभग 20 अन्य स्कूलों के अभिभावक भी शामिल हुए जिन्होंने डीपीएस द्वारका की इस मनमानी का कड़ा विरोध किया। उनका कहना था कि यह लड़ाई केवल फीस की नहीं, बल्कि हर बच्चे के शिक्षा, सम्मान और सुरक्षा के अधिकार की है।

    प्रदर्शनकारियों ने स्कूल प्रबंधन पर बाल अधिकारों के उल्लंघन का केस दर्ज करने, आडिटिंग में गड़बड़ी करने वाले चार्टर्ड अकाउंटेंट्स के लाइसेंस रद्द करने व शिक्षा निदेशालय के अधिकारियों पर भी कार्रवाई की मांग की। अभिभावकों ने सुप्रीम कोर्ट, दिल्ली सरकार और राष्ट्रपति से अपील की है कि शिक्षा व्यवस्था को माफिया संस्कृति से मुक्त किया जाए।

    दरअसल, दिल्ली हाई कोर्ट और शिक्षा निदेशालय ने स्कूल को 31 बच्चों का दोबारा नामांकन करने व अतिरिक्त शुल्क लौटाने के निर्देश दिए थे। बावजूद इसके डीपीएस द्वारका प्रबंधन ने आदेशों को अनदेखा करते हुए इन बच्चों के नाम काट दिए और बाद में उनको वापस स्कूल में शामिल करने के लिए स्कूल की ओर से एक ईमेल भेजा गया पर बच्चों का नाम नहीं शामिल किया।

    राष्ट्रीय युवा चेतना मंच के राष्ट्रीय महासचिव व डीपीएस द्वारका के अभिभावक महेश मिश्रा ने कहा कि यह केवल फीस की लड़ाई नहीं है, यह हर बच्चे के सम्मान, शिक्षा और सुरक्षा के अधिकार की लड़ाई है।