दिल्ली में ट्रैफिक जाम एक गंभीर समस्या, कैसे निजात मिलेगी? एक्सपर्ट ने बताया सब कुछ
दिल्ली में ट्रैफिक जाम की समस्या बढ़ती जा रही है जिसका मुख्य कारण गलत पार्किंग है। इस साल लाखों चालान काटे गए लेकिन बहुत कम भरे गए हैं। श्रद्धानंद मार्ग करोल बाग और सदर बाजार जैसे इलाके सबसे ज्यादा प्रभावित हैं। विशेषज्ञ मल्टी-लेवल पार्किंग और सख्त जुर्माना वसूली की सलाह देते हैं। गलत पार्किंग पर ₹500 से ₹2000 तक का जुर्माना है।

मोहम्मद साकिब, नई दिल्ली। राजधानी दिल्ली में ट्रैफिक जाम की समस्या लगातार विकराल होती जा रही है। अत्यधिक ट्रैफिक जाम और गलत तरीके से पार्क किए गए वाहन इसके सबसे बड़े कारण हैं। अपनी सुविधा के लिए लोग सड़कों को पार्किंग स्थल बना लेते हैं। इससे न केवल यातायात बाधित होता है, बल्कि आम जनता घंटों जाम में फंसी रहती है।
यातायात पुलिस के आंकड़े इस भयावह स्थिति को स्पष्ट रूप से दर्शाते हैं। विभाग द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार, इस वर्ष 31 जुलाई तक, सड़कों पर जानबूझकर वाहन पार्क करके अवरोध पैदा करने वाले वाहन चालकों के कुल 4,31,919 चालान काटे गए। हैरानी की बात यह है कि इनमें से केवल 12,702 चालान ही भरे गए हैं। यह स्थिति दर्शाती है कि अधिकांश वाहन चालक यातायात नियमों की अनदेखी कर यातायात व्यवस्था को चुनौती दे रहे हैं।
सबसे गंभीर समस्याएं उन इलाकों में देखी जा रही हैं जहाँ व्यावसायिक गतिविधियाँ अधिक हैं और लगातार जाम लगा रहता है। श्रद्धानंद मार्ग, आसफ अली रोड, करोल बाग, आरके आश्रम, सदर बाजार, पहाड़गंज, खजूरी, जाफराबाद, उत्तम नगर, द्वारका, नबी करीम, झंडेवालान और पंचकुइयां रोड जैसे इलाके सबसे ज़्यादा प्रभावित हैं। इन इलाकों में सड़क किनारे बेतरतीब ढंग से खड़े वाहन न केवल यातायात में बाधा डालते हैं, बल्कि कई बार एम्बुलेंस और दमकल जैसी आपातकालीन सेवाओं की पहुँच में भी बाधा डालते हैं।
प्रमुख बाजारों में स्थिति चिंताजनक
दिल्ली के प्रमुख बाज़ारों में भी स्थिति गंभीर है। करोल बाग स्थित गफ्फार मार्केट, पहाड़गंज, सदर बाज़ार, नबी करीम, खारी बावली, चांदनी चौक स्थित लाजपत राय मार्केट, दरियागंज और झिलमिल जैसे इलाकों में लोगों को रोज़ाना घंटों जाम का सामना करना पड़ता है। खरीदारी के लिए इन इलाकों में आने वाले लोग अक्सर अपने वाहन सड़क किनारे खड़े कर देते हैं, जिससे यातायात ठप हो जाता है।
गलतियों पर जुर्माना नहीं
विशेषज्ञों का मानना है कि बढ़ते यातायात दबाव के बीच पर्याप्त पार्किंग सुविधाओं का अभाव और यातायात नियमों का पालन न करने से यह समस्या और बढ़ रही है। यातायात पुलिस का दावा है कि वे नियमित रूप से जुर्माना लगा रहे हैं और सख्ती से नियमों का पालन करवा रहे हैं, लेकिन जुर्माना न चुकाने से यह अभियान कमज़ोर पड़ रहा है।
मल्टी-लेवल पार्किंग का विस्तार जरूरी
यातायात विशेषज्ञों का सुझाव है कि अवैध पार्किंग पर लगाम लगाने के लिए स्थानीय स्तर पर मल्टी-लेवल पार्किंग जैसी सुविधाओं का विस्तार ज़रूरी है। इसके अलावा, जुर्माना वसूली प्रक्रिया को और सख्त बनाया जाना चाहिए ताकि लोग नियमों का उल्लंघन करने से पहले दो बार सोचें।
गलतियों पर ₹500 से ₹2,000 तक का जुर्माना
दिल्ली में, यातायात पुलिस गलत या अनुचित पार्किंग के लिए भारी जुर्माना लगाती है। मोटर वाहन अधिनियम के तहत, अगर कोई वाहन सड़क पर इस तरह से पार्क किया जाता है जिससे यातायात बाधित होता है, तो उस पर ₹500 से ₹2,000 तक का जुर्माना लगाया जा सकता है।
कई बार वाहन को निकटतम पुलिस स्टेशन या पार्किंग स्थल तक ले जाया जाता है और अतिरिक्त टोइंग शुल्क भी लगाया जाता है।
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