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    Delhi: जबरन वसूली करने वाले गैंग का भंडाफोड़, ITBP के कमांडेंट से वसूले थे 1.8 करोड़ रुपये; 3 गिरफ्तार

    By AgencyEdited By: Shyamji Tiwari
    Updated: Tue, 07 Feb 2023 03:26 PM (IST)

    दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने मंगलवार को जबरन वसूली करने वाले गिरोह का भंडाफोड़ किया है। जालसाजों ने ITBP के कमांडेंट से लगभग 1.8 करोड़ रुपये वसूले थे। क्राइम ब्रांच की टीम ने गैंग के तीन लोगों को गिरफ्तार किया है।

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    जबरन वसूली करने वाले गैंग का भंडाफोड़, ITBP के कमांडेंट से वसूले थे 1.8 करोड़ रुपये

    नई दिल्ली, आईएएनएस। दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने मंगलवार को जालसाजों के एक गिरोह का भंडाफोड़ किया। क्राइम ब्रांच गिरोह से जुड़े तीन लोगों को गिरफ्तार किया है। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा कि कि आईटीबीपी के एक सेवानिवृत्त कमांडेंट को ब्लैकमेल करने और उसका अश्लील वीडियो ऑनलाइन अपलोड करने की धमकी देकर जालसाजों ने उससे लगभग 1.8 करोड़ रुपये वसूले।

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    आरोपियों की हुई पहचान

    आरोपियों की पहचान जिला भरतपुर (राजस्थान) निवासी जरीफ (30), नीरज (22) व अजीत सिंह (23) निवासी मथुरा (उत्तर प्रदेश) के रूप में हुई है। बता दें कि आईटीबीपी के एक सेवानिवृत्त कमांडेंट ने दक्षिण पश्चिम जिला पुलिस में शिकायत दर्ज कराई थी, जिसमें उसने बताया कि वह व्हाट्सएप पर एक महिला से मिला।

    पुलिस कमिश्नर ने कहा कि महिला ने विभिन्न सोशल मीडिया पर एक अश्लील वीडियो वायरल करने की धमकी दी थी। इसके बाद, उन्हें एक व्यक्ति का फोन आया, जिसने खुद को क्राइम ब्रांच, दिल्ली पुलिस के इंस्पेक्टर राम कुमार मल्होत्रा ​​​​के रूप में पेश किया और सोशल मीडिया पर अश्लील वीडियो को ब्लॉक करने के बहाने पैसे वसूले।

    जालसाजों ने वसूले 1.8 करोड़ रुपये

    बाद में, पीड़ित को जालसाज गिरोह द्वारा बताया गया कि जिस लड़की ने पीड़ित को फोन किया था, उसने राजस्थान में आत्महत्या कर ली थी। मामला अब जटिल हो गया है और उसके खिलाफ हत्या का मामला दर्ज किया जाएगा। आरोपी व्यक्तियों ने लगभग 1.8 करोड़ रुपये की कुल राशि की वसूली की थी। उसके बाद भी वे शिकायतकर्ता से और पैसे की मांग कर रहे थे।

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    बैंक खातों के विवरण के विश्लेषण से पता चला कि कथित व्यक्तियों ने लगभग 1.80 करोड़ रुपये की उगाही की थी। इसके अलावा, तकनीकी विश्लेषण के बाद, यह स्थापित किया गया था कि वे अलग-अलग मोबाइल फोन नंबरों से मथुरा और भरतपुर से गिरोह का संचालन करते थे।' आगे की जांच चल रही है। 

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