Delhi Liquor Scam: सिसोदिया को क्यों नहीं मिल रही जमानत, BJP नेताओं ने बताई वजह
28 अप्रैल ईडी कोर्ट ने आबकारी घोटाले में सामने आए प्रमाण को गंभीर मानते हुए मनीष सिसोदिया को जमानत देने से मना कर दिया था। आबकारी घोटाले मामले में मनीष सिसोदिया 70 दिनों से जेल में बंद हैं।
नई दिल्ली, राज्य ब्यूरो। भाजपा ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल व अन्य आप नेताओं पर आबकारी घोटाले में अदालत के आदेश को गलत तरह से पेश कर जनता को गुमराह करने का आरोप लगाया है। प्रदेश भाजपा अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने कहा कि मुख्यमंत्री आवास की मरम्मत व साज सज्जा में भ्रष्टाचार सामने आने से मुख्यमंत्री मानसिक रूप से परेशान हैं। उन्हें यह भी डर है कि जेल में बंद मनीष सिसोदिया, सत्येंद्र जैन और विजय नायर में कोई जांच एजेंसी के आगे अपना मुंह खोलेगा तो उन्हें भी जेल जाना पड़ेगा।
यही कारण है कि लोगों का ध्यान भटकाने के लिए आबकारी घाटोले के दो आरोपितों की जमानत को लेकर अदालत के आदेश पर झूठ फैलाया जा रहा है। उन्हें सिसोदिया को जमानत नहीं मिलने का कारण भी बताना चाहिए। उन्होंने कहा कि सांसद संजय सिंह असली तथ्य को छिपा रहे हैं। जमानत के आदेश में अदालत ने आबकारी घोटाले के मुकदमें पर इसका कोई असर नहीं पड़ने और सिसोदिया को साजिश का आर्किटेक्ट कहा है।
अदालत ने माना है कि शराब विक्रेताओं का कमीशन दो से बढ़ाकर 12 प्रतिशत करने का मामला पैसे से जुड़ा हुआ है। आप नेताओं को बताना चाहिए कि शराब कारोबारियों के 144 करोड़ क्यों माफ किया गया? यदि आबकारी नीति में घोटाला नहीं था तो सीबीआइ जांच शुरू होते ही दिल्ली सरकार ने इसे वापस क्यों लिया? प्रेस वार्ता में भाजपा प्रवक्ता गौरव भाटिया ने कहा कि या तो आप नेताओं को विधिक मामलों की जानकारी नहीं है या फिर जानबूझकर भ्रम फैला रहे हैं।
छह मई को सह आरोपितों को जमानत मिलने के आधार पर आप नेता यह झूठ फैला रहे हैं कि आबकारी घोटाले का कोई साक्ष्य नहीं है। उन्हें मालूम होना चाहिए कि किसी अभियुक्त को जमानत मिलना मुकदमा का फैसला नहीं होता है। दिल्ली हाई कोर्ट को संज्ञान लेना चाहिए कि अदालत में लंबित मामले को लेकर आप नेता भ्रम फैला रहे हैं। यह अदालत की अवमानना है।
उन्होंने कहा कि सीबीआइ कोर्ट ने मुख्य आरोपित होने की बात कहकर सिसोदिया को जमानत देने से मना किया तो वह सुप्रीम कोर्ट गए थे, लेकिन वहां भी राहत नहीं मिली। 28 अप्रैल ईडी कोर्ट ने आबकारी घोटाले में सामने आए प्रमाण को गंभीर मानते हुए उन्हें जमानत देने से मना कर दिया था। केजरीवाल जिन्हें कट्टर ईमानदार का प्रमाण पत्र देते थे उनमें से एक 11 माह से और दूसरा 70 दिनों से जेल में हैं।
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