बटला हाउस में ध्वस्तीकरण पर दिल्ली हाईकोर्ट ने लगाई रोक, पीड़ित विधवा को मिली राहत; DDA को नोटिस जारी
दिल्ली हाई कोर्ट ने एक विधवा को राहत देते हुए बटला हाउस इलाके में उसकी संपत्ति पर यथास्थिति बनाए रखने का आदेश दिया है। कोर्ट ने ध्वस्तीकरण की कार्रवाई पर रोक लगाते हुए डीडीए को नोटिस जारी किया है। इशरत जहां ने डीडीए के ध्वस्तीकरण नोटिस को चुनौती दी थी। डीडीए ने हलफनामा दायर करने की बात कही है। अगली सुनवाई 10 जुलाई को होगी।

जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। एक विधवा को राहत देते हुए दिल्ली हाई कोर्ट ने बटला हाउस क्षेत्र में उनकी संपत्ति पर यथास्थिति बनाए रखने का आदेश दिया है। न्यायमूर्ति हरीश वैद्यनाथन शंकर की अवकाश पीठ ने ध्वस्तीकरण की कार्रवाई पर रोक लगाते हुए कहा डीडीए को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।
मामले में आगे की सुनवाई 10 जुलाई माह में होगी। अदालत ने उक्त आदेश याचिकाकर्ता इशरत जहां की याचिका पर दिया। इशरत जहां ने जामिया नगर स्थिति उनके आवास को ध्वस्त करने संबंधी 26 मई को दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) द्वारा जारी किए गए नोटिस को चुनौती दी है।
याचिकाकर्ता ने ध्वस्तीकरण की कार्रवाई पर रोक लगाने की मांग की
याचिकाकर्ता ने ध्वस्तीकरण की कार्रवाई पर रोक लगाने के साथ-साथ अधिकारियों को उसकी संपत्ति के संबंध में कोई बलपूर्वक कार्रवाई न करने का निर्देश देने की मांग की थी। सुनवाई के दौरान डीडीए की तरफ से कहा गया कि याची की संपत्ति सहित बटला हाउस क्षेत्र में सीमांकित विभिन्न संपत्तियों के संबंध में प्रस्तावित कार्रवाई को निर्धारित करते हुए एक हलफनामा दायर किया जाएगा।
तीन सप्ताह के भीतर हलफनामा दायर किया जाएगा
डीडीए ने कहा कि विभिन्न संपत्तियों के संबंध में उप निदेशक के कार्यालय से सीमांकन रिपोर्ट मांगी जा सकती है। यह भी सूचित किया कि इन संपत्तियों के विरुद्ध सुप्रीम कोर्ट द्वारा सात मई को पारित आदेश के अनुसार सीमांकन कार्रवाई की जानी आवश्यक है। डीडीए के वकील ने कहा कि तीन सप्ताह के भीतर इस संबंध में एक हलफनामा दायर किया जाएगा। कोर्ट ने कहा कि डीडीए के जवाब पर एक सप्ताह के अंदर प्रत्युत्तर दाखिल किया जाए।
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