Delhi News: नरेश बाल्यान की जमानत याचिका पर दिल्ली पुलिस को नोटिस, 23 जनवरी को होगी अगली सुनवाई
दिल्ली हाई कोर्ट ने आम आदमी पार्टी के विधायक नरेश बाल्यान की जमानत याचिका पर दिल्ली पुलिस से जवाब मांगा है। बाल्यान ने महाराष्ट्र संगठित अपराध नियंत्रण अधिनियम (मकोका) के तहत दर्ज मामले में ट्रायल कोर्ट द्वारा जमानत देने से इनकार करने के फैसले को चुनौती दी है। इस मामले में अगली सुनवाई 23 जनवरी को होगी। आगे जानिए पूरा मामला।
जागरण संवाददाता नई दिल्ली। महाराष्ट्र संगठित अपराध नियंत्रण अधिनियम (मकोका) के तहत दर्ज मामले में गिरफ्तार आप विधायक नरेश बाल्यान की जमानत याचिका पर दिल्ली हाई कोर्ट ने जवाब मांगा है। बाल्यान ने जमानत देने से इनकार करने के ट्रायल कोर्ट के निर्णय को चुनौती दी है। इस मामले में आगे की सुनवाई 23 जनवरी को होगी।
मैं अपराधी नहीं, कम से कम अंतरिम जमानत दी जाए: नरेश बाल्यान
महाराष्ट्र संगठित अपराध नियंत्रण अधिनियम (मकोका) मामले में डेढ़ महीने से अधिक समय से तिहाड़ जेल में बंद आप नेता व उत्तम नगर विधायक नरेश बाल्यान ने नियमित जमानत की मांग को लेकर दिल्ली हाई कोर्ट का रुख किया है।
आप विधायक की तरफ से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता विकास पाहवा ने न्यायमूर्ति विकास महाजन की पीठ के समक्ष कहा कि विधानसभा चुनाव नजदीक आ रहे हैं और उनकी पत्नी चुनाव लड़ रही हैं। पाहवा ने कहा कि उनके मुवक्किल अपराधी नहीं हैं, ऐसे में कम से कम उन्हें अंतरिम जमानत दी जाए। नरेश बाल्यान ने जमानत देने से इनकार करने के ट्रायल कोर्ट के 15 जनवरी के निर्णय को चुनौती दी है।
बाल्यान के खिलाफ कोई सुबूत नहीं
नरेश बाल्यान की याचिका पर न्यायमूर्ति विकास महाजन की पीठ ने दिल्ली पुलिस को नोटिस जारी कर स्थिति रिपोर्ट पेश करने का आदेश दिया। वरिष्ठ वकील विकास पाहवा ने अदालत से इस आधार पर उन्हें जमानत पर रिहा करने का आग्रह किया कि बाल्यान के खिलाफ कोई सुबूत नहीं है। उन्होंने कहा कि प्राथमिकी में भी बाल्यान के नाम का जिक्र नहीं है और बाल्यान ने ही अपराध के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी।
सुनवाई 23 जनवरी तक के लिए स्थगित
वहीं, सुनवाई के दौरान दिल्ली पुलिस ने स्थिति रिपोर्ट दाखिल करने के लिए कुछ देने से अदालत से मांग की। इस पर पीठ ने मामले की सुनवाई 23 जनवरी तक के लिए स्थगित कर दी। नरेश बाल्यान के विरुद्ध मकोका के तहत अपराध करने का आरोप है। बाल्यान को चार दिसंबर को जबरन वसूली के मामले में जमानत मिली थी और उसी दिन पुलिस ने उन्हें मकोका में गिरफ्तार किया था। इसके बाद से वह जेल में हैं।
दिल्ली पुलिस ने बाल्यान की जमानत याचिका का यह कहते हुए ट्रायल कोर्ट में विरोध किया था कि मामले में जांच महत्वपूर्ण चरण में है और जमानत मिलने पर वह जांच प्रभावित कर सकते हैं। पुलिस ने तर्क दिया था कि दिल्ली के विभिन्न स्थानों पर सिंडिकेट सदस्यों के खिलाफ 16 प्राथमिकी हैं।
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