भाजपा ने मीसा के बंदियों को किया सम्मानित, वीके मल्होत्रा बोले- आपातकाल को याद कर कांप जाती है रुह
आपातकाल के दिनों को याद करते हुए वीके मल्होत्रा ने कहा कि आज भी उन बर्बरता के दिनों को यादकर रूह कांप उठती है। जेल में बंद लोगों को घर में किसी की मृत्यु हो शादी हो या फिर अन्य कोई समारोह उसमें शामिल नहीं होने की इजाजत नहीं थी।

नई दिल्ली [निहाल सिंह]। आपातकाल के दौरान आंतरिक सुरक्षा व्यवस्था अधिनियम (मीसा) के तहत जेल में डाले गए लोगों को प्रदेश भाजपा ने सम्मानित किया। इस दौरान प्रदेश भाजपा के पूर्व अध्यक्ष वीके मल्होत्रा समेत धर्मवीर शर्मा, मूलचंद चावला, ओपी बब्बर, डा.नंद किशोर गर्ग, राधे श्याम गुप्ता, विवेक शर्मा, हरबंस उप्पल को सम्मानित किया गया। आपातकाल के दिनों को याद करते हुए वीके मल्होत्रा ने कहा कि आज भी उन बर्बरता के दिनों को यादकर रूह कांप उठती है। जिन लोगों को जेल में बंद किया गया था उन्हें घर में किसी की मृत्यु हो, शादी हो या फिर अन्य कोई समारोह उसमें शामिल नहीं होने की इजाजत नहीं थी। उन्होंने कहा कि एक जेल के कमरे में जहां तीन से चार लोग सही से नहीं रह पाते वहां 15-20 लोगों को जानवरों की तरह बंद किया गया था।
प्रदेश भाजपा अध्यक्ष आदेश गुप्ता ने कहा कि कांग्रेस ने आपातकाल के दौरान भारतीय संस्कृति और लोकतंत्र को जितना नुकसान पहुंचाया है, उसकी भरपाई कठीन है। उन्होंने कहा कि 1975 का साल भारतीय राजनीति का काला अध्याय साबित हुआ। जिस बर्बरता से सत्ता लोभ में आपातकाल का विरोध करने वालो जेल में डाला गया वह पूरी तरह से लोकतंत्र का गला घोटना था। इसके जवाब में जनता ने इंदिरा गांधी और कांग्रेस का जो हश्र किया उससे आज भी वह सबक नहीं ले रही है।
प्रदेश भाजपा अध्यक्ष ने कहा कि जनसंघ ने तब भी लोकतंत्र को बचाने के लिए बलिदान दिया और आज भी भाजपा लोकतंत्र को बढ़ाने के लिए हर प्रयास कर रही है। जबकि कांग्रेस ने आपातकाल के दौरान सत्ता में प्रेस पर पाबंदी लगा दी थी।
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