दिल्ली विधानसभा का 2 दिवसीय सत्र स्थगित, 13 मई से शुरू होना था बजट सत्र का दूसरा भाग
दिल्ली विधानसभा का मंगलवार यानी 13 मई से शुरू होने वाला बजट सत्र का दूसरा भाग स्थगित कर दिया गया है। निजी स्कूलों की फीस वृद्धि को लेकर लाया गया विधेयक इस सत्र में पारित किया जाना था। फिलहाल अभी विधानसभा सत्र के लिए नई तारीख का एलान नहीं किया गया है। माना जा रहा है कि जल्द ही नई तिथि की घोषणा की जाएगी।

जागरण संवाददाता, दिल्ली। दिल्ली विधानसभा का मंगलवार यानी 13 मई से शुरू होने वाला बजट सत्र का दूसरा भाग स्थगित कर दिया गया है। निजी स्कूलों की फीस वृद्धि को लेकर लाया गया विधेयक इस सत्र में पारित किया जाना था।
निजी स्कूलों की फीस वृद्धि को लेकर लाया गया विधेयक इस सत्र में पारित किया जाना था। कैबिनेट ने 29 अप्रैल को मसौदा विधेयक को मंजूरी दी थी और मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने कहा था कि इसे पारित करने के लिए विधानसभा का विशेष सत्र बुलाया जाएगा।
विधेयक में निजी स्कूलों में अवैध रूप से फीस बढ़ाने या इस मुद्दे पर छात्रों को परेशान करने वाले स्कूलों पर भारी जुर्माना लगाने और उनका पंजीकरण रद करने की सिफारिश की गई है।
दिल्ली को मिला था 1 लाख करोड़ रुपये का बजट
बता दें कि नई सरकार का पहला बजट सत्र 24 मार्च को शुरू हुआ था और वित्त विभाग की भी जिम्मेदारी संभाल रही रेखा गुप्ता ने वर्ष 2025-26 के लिए कुल 1 लाख करोड़ रुपये का बजट पेश किया था।
फिलहाल अभी विधानसभा सत्र के लिए नई तारीख का एलान नहीं किया गया है। माना जा रहा है कि जल्द ही नई तिथि की घोषणा की जाएगी।
एलजी ने रखी विधानसभा में सौर ऊर्जा संयंत्र की आधारशिला
उपराज्यपाल वीके सक्सेना ने सोमवार को दिल्ली विधानसभा परिसर में 500 किलोवाट क्षमता वाले सौर ऊर्जा संयंत्र लगाने के लिए आधारशिला रखी। इस दौरान मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता भी कार्यक्रम में शामिल हुईं।
इस परियोजना के संचालन और कार्यान्वयन से जुड़े प्रमुख पहलुओं पर विचार-विमर्श के लिए शनिवार को विधानसभा अध्यक्ष विजेंद्र गुप्ता की अध्यक्षता में बैठक हुई थी। उन्होंने विधानसभा परिसर को हरित परिसर बनाने के प्रति प्रतिबद्धता को दोहराया।
500 किलोवाट की सौर परियोजना को पूरा करने के लिए 60 दिनों की समय सीमा निर्धारित है, लेकिन इसे 45 दिनों में पूरा किया जाएगा। अभी दिल्ली विधानसभा परिसर में 200 किलोवाट क्षमता का सौर ऊर्जा संयंत्र लगा हुआ है।
अब इसकी जगह नया संयंत्र लगेगा इससे पूरा परिसर सौर ऊर्जा से संचालित होगा। इससे प्रति माह लगभग 15 लाख रुपये की बिजली की बचत होगी। कार्बन उत्सर्जन में भी भारी कमी आएगी। यह कदम दिल्ली विधानसभा को भारत की पहली पूर्णतः सौर ऊर्जा संचालित विधानसभा के रूप में स्थापित करेगा।
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