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    Pollution: 2024 में देश के सबसे प्रदूषित रहे ये शहर, वाराणसी रहा बेहतर; चौंका देगी पूरी रिपोर्ट

    2024 में भारत के शहरों में PM2.5 के स्तर में औसतन 27 प्रतिशत की कमी दर्ज की गई है। हालांकि बर्नीहाट (127.3 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर) और दिल्ली (107 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर) 2024 में सबसे प्रदूषित शहरों में शामिल रहे। वाराणसी ने उल्लेखनीय 76.4 प्रतिशत की कमी हासिल की। उत्तरी क्षेत्रों में दिल्ली-NCR राजस्थान हरियाणा और उत्तर प्रदेश जैसे राज्य अभी भी गंभीर प्रदूषण का सामना कर रहे हैं।

    By sanjeev Gupta Edited By: Kapil Kumar Updated: Wed, 08 Jan 2025 09:29 AM (IST)
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    76.4 प्रतिशत की कमी के साथ वाराणसी सबसे बेहतर रहा है। फाइल फोटो

    जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। राष्ट्रीय स्वच्छ वायु कार्यक्रम (एनसीएपी) की छठी वर्षगांठ पर जारी रेस्पिरर लिविंग साइंसेज की एक रिपोर्ट के अनुसार, 2019 से 2024 के बीच भारत के शहरों में पीएम 2.5 के स्तर में औसतन 27 प्रतिशत की कमी दर्ज की गई है।

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    वायु प्रदूषण के खिलाफ लड़ाई में प्रगति का देती है संकेत

    रेस्पिरर के एटलस एक्यू प्लेटफार्म के डेटा पर आधारित इस अध्ययन में पाया गया कि एनसीएपी शहरों में 24 प्रतिशत प्रदूषण की कमी आई है। यह कमी वायु प्रदूषण के खिलाफ लड़ाई में प्रगति का संकेत देती है। हालांकि, राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली (107 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर) और असम का बर्नीहाट (127.3 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर) 2024 में सबसे प्रदूषित शहरों में शामिल रहे।

    तत्काल ध्यान देने की है आवश्यकता

    इसके अलावा गुरुग्राम (96.7 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर), फरीदाबाद (87.1 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर), श्रीगंगानगर (85.5 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर) और ग्रेटर नोएडा (83.9 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर) जैसे शहरों ने भी प्रदूषण के उच्च स्तर दिखाए, जिन पर तत्काल ध्यान देने की आवश्यकता है।

    बर्नीहाट-दिल्ली जैसे हाटस्पाट पर काबू पाने के लिए लक्षित कार्रवाई 

    रेस्पिरर लिविंग साइंसेज के संस्थापक रोनक सुतारिया कहते हैं, भारत में वायु गुणवत्ता की कहानी उम्मीद और सावधानी का मिश्रण है। जहां वाराणसी ने उल्लेखनीय 76.4 प्रतिशत की कमी हासिल की, वहीं उत्तरी क्षेत्रों में दिल्ली एनसीआर, राजस्थान, हरियाणा और उत्तर प्रदेश जैसे राज्य अभी भी गंभीर प्रदूषण के दौर का सामना कर रहे हैं। बर्नीहाट और दिल्ली जैसे हाटस्पाट पर काबू पाने के लिए लक्षित कार्रवाई और स्थानीय हस्तक्षेप महत्वपूर्ण हैं।

    2024 में वायु गुणवत्ता प्रदर्शन की मुख्य बातें

    राष्ट्रीय प्रगति 

    2019 से 2024 के बीच मानीटर किए गए सभी शहरों में पीएम 2.5 के स्तर में 27 प्रतिशत की कमी।

    सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने वाले शहर

    वाराणसी (76 प्रतिशत) और मुरादाबाद (58 प्रतिशत) ने सबसे अच्छा प्रदर्शन किया। अन्य उल्लेखनीय शहरों में कलबुर्गी (-57.2 प्रतिशत), मेरठ (-57.1 प्रतिशत), कटनी (-56.3 प्रतिशत) और आगरा (-54.1 प्रतिशत) शामिल हैं, जो स्थानीय हस्तक्षेपों की सफलता को दर्शाते हैं।

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    सबसे प्रदूषित शहर

    बर्नीहाट (127.3 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर) और दिल्ली (107 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर) 2024 में भारत के सबसे प्रदूषित शहरों में रहे।

    क्षेत्रीय रुझान

    दक्षिण और पश्चिम के शहरों में निरंतर सुधार हुआ, जबकि उत्तरी शहर जैसे फरीदाबाद, गुरुग्राम, और गाजियाबाद खराब वायु गुणवत्ता के साथ संघर्ष करते रहे।

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