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AAP के खिलाफ चुनाव आयोग पहुंची भाजपा, कहा- मुस्लिम वोट के लिए बढ़ाया इमामों का वेतन

केंद्रीय मंत्री धर्मेद्र प्रधान भाजपा नेता संबित पात्रा विजेंद्र गुप्ता सहित अन्य नेताओं ने बुधवार को मुख्य चुनाव आयुक्त से मुलाकात करके आम आदमी पार्टी की शिकायत की।

By Edited By: Published: Wed, 01 May 2019 08:23 PM (IST)Updated: Wed, 01 May 2019 08:48 PM (IST)
AAP के खिलाफ चुनाव आयोग पहुंची भाजपा, कहा- मुस्लिम वोट के लिए बढ़ाया इमामों का वेतन
AAP के खिलाफ चुनाव आयोग पहुंची भाजपा, कहा- मुस्लिम वोट के लिए बढ़ाया इमामों का वेतन

नई दिल्ली, जेएनएन। भाजपा ने आम आदमी पार्टी (आप) की दिल्ली सरकार पर चुनावी लाभ के लिए सार्वजनिक धन का दुरुपयोग और आदर्श चुनाव आचार संहिता का उल्लंघन करने का आरोप लगाते हुए चुनाव आयोग से शिकायत की है। भाजपा का आरोप है कि लोकसभा चुनाव मे मुस्लिमों का वोट हासिल करने के लिए सरकार ने गलत तरीके से इमामों और मुअज्जिनों का वेतन बढ़ाया है।

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केंद्रीय मंत्री धर्मेद्र प्रधान, भाजपा नेता संबित पात्रा, विजेंद्र गुप्ता सहित अन्य नेताओं ने बुधवार को मुख्य चुनाव आयुक्त से मुलाकात करके आम आदमी पार्टी की शिकायत की। उन्होंने चुनाव आयोग से मुख्यमंत्री, दिल्ली के राजस्व मंत्री कैलाश गहलोत और विधायक व दिल्ली वक्फ बोर्ड के चेयरमैन अमानतुल्लाह खान के खिलाफ कार्रवाई करने और इनके चुनाव प्रचार पर प्रतिबंध लगाने की मांग की।

विजेंद्र गुप्ता ने कहा कि मुख्यमंत्री वोट के लिए दिल्ली वक्फ बोर्ड के धन का दुरुपयोग कर रहे हैं। उन्होंने दिल्ली के राजस्व मंत्री कैलाश गहलोत और वक्फ बोर्ड के चेयरमैन अमानतुल्लाह के साथ मिलकर इमामों और मुअज्जिनों को करोड़ों रुपये बांटकर चुनाव को प्रभावित करने की कोशिश कर रहे हैं। आरपो है कि दिल्ली सरकार के संबंधित अधिकारियों ने इमामों व मुअज्जिनों के वेतन बढ़ाने के मामले में आपत्ति की थी। उनकी आपत्ति को नजरअंदाज करके आठ अप्रैल को दिल्ली वक्फ बोर्ड ने एक प्रस्ताव पारित किया।

इसके अनुसार बोर्ड के चेयरमैन, एक सदस्य और मुख्य कार्यकारी अधिकारी में से किसी दो के हस्ताक्षर से बैंक खाते को चलाया जा सकता है। इस प्रस्ताव के पास होने के बाद वक्फ बोर्ड के धन पर दिल्ली सरकार का नियंत्रण खत्म हो गया है। सरकार के इस कदम पर 12 अप्रैल को मुख्य निर्वाचन अधिकारी (सीईओ) के कार्यालय से प्रधान सचिव (वित्त) को एक पत्र लिखकर तथ्यों पर आधारित रिपोर्ट मांगी थी। जवाब देने के बजाय वित्त मंत्री ने वक्फ बोर्ड के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी।

सीईओ कार्यालय से कई और पत्र सरकार को भेजे गए, लेकिन उसका जवाब नहीं दिया गया। उन्होंने कहा कि इमामों व मुअज्जिनों के नाम से उनके बढ़े हुए वेतन के चेक जारी किए गए हैं। उन्होंने बोर्ड के चेयरमैन पर आदर्श चुनाव आचार संहिता का उल्लंघन करके दिल्ली सरकार की अनुमति लिए बगैर 33 लोगों को विभिन्न पदों पर नियुक्त करने का आरोप लगाया। इनमें से 24 लोग चेयरमैन के विधान सभा क्षेत्र ओखला से संबंधित हैं।

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