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    गुरु तेग बहादुर के 350वें शहीदी दिवस पर दिल्ली में कीर्तन दरबार का आयोजन, सीएम भगवंत मान और अरविंद केजरीवाल ने टेका मत्था

    Updated: Sun, 26 Oct 2025 12:52 AM (IST)

    पंजाब सरकार ने श्री गुरु तेग बहादुर साहिब जी के 350वें शहीदी दिवस पर दिल्ली के गुरुद्वारा श्री रकाबगंज साहिब में भव्य कीर्तन दरबार आयोजित किया। अरविंद केजरीवाल और भगवंत मान ने गुरु साहिब के अद्वितीय बलिदान को याद किया, जिन्होंने सत्य, धर्म और मानवता की रक्षा के लिए अपना जीवन न्योछावर कर दिया। पंजाब सरकार एक महीने तक राज्य भर में कार्यक्रम आयोजित करेगी, जिसमें गुरु साहिब के चरणों से पवित्र हुए स्थानों पर समागम, कीर्तन और उनकी शिक्षाओं का प्रचार शामिल है। यह आयोजन गुरु साहिब की शहादत को नमन करने और उनकी प्रेरणा को जन-जन तक पहुंचाने के लिए है।  

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    गुरु साहब की कुर्बानी मानवता के लिए थी, उनकी प्रेरणा को पंजाब सरकार जन-जन तक पहुंचाएगी- भगवंत मान


    डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली/पंजाब। पंजाब की आम आदमी पार्टी की सरकार ने शनिवार को श्री गुरु तेग बहादुर साहिब जी के 350वें शहीदी दिवस के अवसर पर दिल्ली से गुरुद्वारा श्री रकाबगंज साहिब में भव्य कीर्तन दरबार का आयोजन किया। इस पावन कीर्तन दरबार में "आप" के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल और पंजाब से मुख्यमंत्री भगवंत मान समेत पंजाब सरकार के मंत्री समेत अन्य गणमान्य लोगों ने हिस्सा लिया। अरविंद केजरीवाल ने बड़ी श्रद्धा के साथ पूरा कीर्तन सुना। उन्होंने ट्वीट कर कहा कि श्री गुरु तेग बहादुर जी की 350वीं शहीदी शताब्दी के अवसर पर गुरुद्वारा श्री रकाबगंज साहिब में आयोजित पावन कीर्तन दरबार में सम्मिलित होकर गुरु साहिब जी के चरणों में मत्था टेक आशीर्वाद प्राप्त किया। उनका बलिदान सदियों तक हमें सत्य, धर्म और मानवता की रक्षा के लिए प्रेरित करता रहेगा।

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    इस पवन अवसर पर अरविंद केजरीवाल ने कहा कि मुझे लगता है कि पूरी मानवता के इतिहास में श्री गुरु तेग बहादुर जी की शहादत की कोई मिसाल नहीं है। जिस तरह की शहादत उन्होंने दी, उसे पूरी मानवता को प्रेरणा मिलती है कि यह जीवन हमें दूसरों के लिए न्योछावर कर देना चाहिए। उन्हें हिंद दी चादर भी कहा जाता है। उनके पास कश्मीरी पंडित आए और उन्होंने बताया कि उस वक्त के मुगल शासक किस तरह से उन कश्मीरी पंडितों के धर्म के ऊपर वार और आक्रमण कर रहे थे। उन कश्मीरी पंडितों को बचाने के लिए गुरु जी महाराज ने अपना सब कुछ न्योछावर कर दिया और उन्होंने अपना सर्वोच्च बलिदान दिया।

    अरविंद केजरीवाल ने कहा कि पंजाब सरकार श्री गुरु तेग बहादुर साहिब जी के सम्मान में, उनकी शहादत को नमन करने के लिए एक महीने तक पंजाब के अलग-अलग क्षेत्र में कई सारे कार्यक्रम कर रही है और शनिवार को दिल्ली से इसकी शुरुआत हुई है। इस मौके पर मैं दिल्ली के लोगों को, देश और दुनिया भर के लोगों को आमंत्रित करता हूं कि आप सब लोग पंजाब में होने वाले सभी कार्यक्रम में ज्यादा से ज्यादा भाग लें। गुरु जी महाराज की शहादत से हम सब लोग प्रेरणा लें, उनकी शहादत का सम्मान करें और उन्हें नमन करें।

    इस दौरान पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने कहा कि आज ऐतिहासिक गुरुद्वारा साहब रकाबगंज में गुरु तेग बहादुर जी के 350वें शहीदी पर्व के उपलक्ष्य में मुख्य समागम शुरू हुआ है। 25 अक्टूबर से शुरू होकर 25 नवंबर तक पूरे महीने पंजाब सरकार उन सभी स्थानों पर जाएगी, जहां गुरु साहब के चरण पड़े थे। इस दौरान महान कीर्तन जत्थे इलाही कीर्तन करेंगे, स्कूलों में गुरु साहब की शहादत के बारे में पढ़ाया जाएगा और सिलेबस में शामिल किया जाएगा। जिन गांवों में गुरु साहब के चरण पड़े, उन गांवों से पहले ही संपर्क किया जा चुका है और उनके विकास के लिए बजट जारी हो चुका है।

    भगवंत मान ने कहा कि दिल्ली में संगत की अनुमति से यह समागम हो रहा है, क्योंकि यहीं पर गुरु साहब को लखी शाह बंजारा ने अपने घर में शरण दी थी। फिर भाई जैता जी ने तूफानी रात में गुरु साहब का शीश लेकर आनंदपुर साहब पहुंचाया। भाई मती दास, भाई सती दास और भाई दयाला जी को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए भगवंत मान ने कहा कि गुरु तेग बहादुर जी की शहादत सिखों के लिए ही नहीं, बल्कि मानवता और मानव अधिकारों के लिए थी। ऐसी मिसाल कहीं नहीं मिलती।

    भगवंत मान ने बताया कि पंजाब सरकार पूरे महीने श्रीनगर, फरीदकोट, फिरोजपुर, भटिंडा और अन्य स्थानों पर, जहां गुरु साहब के चरण पड़े, समागम आयोजित करेगी। 25 नवंबर को गुरु साहब द्वारा बसाई गई गुरु की नगरी आनंदपुर साहब में भव्य समागम होगा। वहां कीर्तन होगा और बाबा बलवीर सिंह जी जैसे महान संत मौजूद रहेंगे। आनंदपुर साहब में एक भव्य संग्रहालय तैयार किया गया है, जहां गुरु साहब का शीश लेकर भाई जैता जी द्वारा की गई यात्रा और गुरु गोविंद सिंह जी को शीश भेंट करने की घटना को दर्शाया जाएगा।

    भगवंत मान ने कहा कि सिख धर्म दुनिया का सबसे नया और जीवंत धर्म है, जिसका दर्शन दूसरों को देना और सबके लिए रास्ता बनाना है। निशान साहिब की यात्रा में पैदल चलने वाले यात्री लंगर और रहने की जगह पाते हैं। सिख धर्म में कोई भेदभाव नहीं; परमात्मा ने सभी को एक समान बनाया है। उन्होंने संगत और अरविंद केजरीवाल के समागम में शामिल होने के लिए धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा कि 25 नवंबर के बाद फिर चांदनी चौक में समागम होगा, जहां गुरु साहब की शहादत हुई थी।

    भगवंत मान ने कहा कि गुरु साहब के स्थानों पर सड़कें बनाने और बुनियादी ढांचे के लिए बजट आवंटित किया गया है। 350वें शहीदी दिवस के लिए अलग से बजट रखा गया है और आनंदपुर साहब में एक टेंट सिटी बनाई जा रही है। देश के सभी मुख्यमंत्रियों को निमंत्रण भेजा गया है और सोमवार को राष्ट्रपति जी से मिलने का समय लिया गया है।

    भगवंत मान ने कहा कि पूरी दुनिया में सिख संगत ने मेहनत और परमात्मा की कृपा से नाम कमाया है। उन्होंने गुरु गोविंद सिंह जी के 10वें लेख का जिक्र करते हुए कहा कि गुरु तेग बहादुर जी का त्याग और बलिदान अद्वितीय है। भाई मती दास जी को चरखी पर चढ़ाया गया, भाई सती दास को उबाला गया, लेकिन गुरु साहब ने परमात्मा के प्रति प्रेम और मानवता के लिए बलिदान दिया। औरंगजेब की कब्र पर कोई दीया जलाने नहीं जाता, लेकिन आनंदपुर साहब में गुरु की नगरी में श्रद्धालुओं की लाइन कभी नहीं टूटती। यह अंतर है।

    भगवंत मान ने कहा कि इस पवित्र स्थान पर कीर्तन सुनकर और दर्शन करके आत्मा को सुकून और शांति मिलती है। सड़क पर बैठे कानून के साये में भी यह श्रद्धांजलि दी जा रही है। पहली बार संसद में भी गुरु साहब को श्रद्धांजलि दी गई। उनकी कुर्बानी निजी स्वार्थ के लिए नहीं, बल्कि मानवता और मनुष्यता के लिए थी। उन्होंने संगत से अपील की कि वे दिल्ली से आनंदपुर साहब जरूर जाएं, दर्शन करें और गुरु साहब के दिखाए रास्ते पर चलें। सामाजिक बुराइयों और झगड़ों को छोड़कर परमात्मा की शक्ति और सेवा में लगें।

    भगवंत मान ने कहा कि पंजाब के लोग सेवा का अवसर लेते रहेंगे और गुरु साहब की प्रेरणा को जन-जन तक पहुंचाएंगे। उन्होंने प्रार्थना की कि उनकी हाजिरी कबूल हो। उन्होंने गुरुद्वारों और गुरु साहब के स्थानों को ठीक करने का जिक्र करते हुए कहा कि सभी कमियों को दूर किया जा रहा है। सड़कों, बुनियादी ढांचे और अन्य सुविधाओं के लिए बजट आवंटित है। अंत में उन्होंने संगत से आह्वान किया कि वे गुरु साहब की शिक्षाओं को अपनाएं और उनकी शहादत को याद रखें।

    वहीं, आम आम आदमी पार्टी के दिल्ली प्रदेश संयोजक सौरव भारद्वाज ने कहा कि पंजाब सरकार द्वारा गुरु श्री तेग बहादुर साहिब जी की 150वीं शहरी दिवस के अवसर पर 1 महीने तक विभिन्न तरह के भव्य कार्यक्रम दिल्ली और पंजाब में किए जाएंगे। शनिवार को दिल्ली से इसकी शुरुआत की गई। श्री गुरु तेग बहादुर की शहादत दिल्ली में हुई। हिंदुओं, खासकर कश्मीरी पंडितों और हिंदू धर्म की रक्षा के लिए उन्होंने अपनी और अपने बच्चों की शहादत दी। गुरु तेग बहादुर समेत सभी सिख गुरुओं भाईचारे, प्यार और मोहब्बत का संदेश दिया। आम आदमी पार्टी की सरकार उन सभी सिख गुरुओं के संदेश को आगे बढ़ाएगी।