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    DTC के 3000 ड्राइवर खाली बैठे, स्टीयरिंग छोड़कर टिकट चेकिंग करने में जुटे; विभाग ने जारी किया ये आदेश

    Updated: Sat, 25 Oct 2025 01:07 PM (IST)

    दिल्ली परिवहन निगम (डीटीसी) में चालकों को अब बसों में टिकट जांचने का काम सौंपा गया है, क्योंकि डीटीसी के पास पर्याप्त बसें नहीं हैं। लगभग 3000 चालक खाली हैं, जिनमें से कुछ कार्यालयों में काम कर रहे हैं। सरकार ने अन्य विभागों को डीटीसी से चालक लेने की अनुमति दी है। यूनियन ने चालकों के मेडिकल टेस्ट को नौकरी से निकालने की साजिश बताया है।

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    डीटीसी के 3000 ड्राइवर बस नहीं होने से खाली बैठे।

    वीके शुक्ला, नई दिल्ली। दिल्ली परिवहन निगम (डीटीसी) में चालक अब स्टेयरिंग छोड़ बसों में बगैर टिकट वालों की जांच कर रहे हैं। डीटीसी के पास अपनी बसें नहीं होने से 3000 चालक इस समय खाली हैं। इनमें से अब पढ़े लिखे 100 के करीब कार्यालयों में अपनी सेवाएं दे रहे हैं तो अन्य को बस चेकिंग स्टाफ में लगाया गया है।

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    वहीं सरकार के सेवा विभाग ने आदेश जारी कर कहा है कि जिन भी विभाग को चालकों की जरूरत होगी वह डीटीसी से चालक ले सकेंगे और चालकों का वेतन उनके विभाग से दिया जाएगा।

    डीटीसी में कहने के लिए इस समय 2800 बसें हैं, जिनको जनता के लिए उपलब्ध कराया जा रहा है। मगर इन बसों में से केवल 200 बसों ही ऐसी हैं जिन पर डीटीसी के अपने चालक हैं, यानी जो बसें चला रहे हैं। अन्य इलेक्ट्रिक बसें हैं जो प्राइवेट कंपनियों के माध्यम से किलोमीटर स्कीम के तहत चलाई जा रही हैं। इन पर कंपनियों के ही अपने चालाक हैं। अभी तक की व्यवस्था के अनुसार इन बसों पर केवल कंडक्टर डीटीसी का है।

    इन बसों पर अन्य सभी प्रकार की जिम्मेदारी संबंधित कंपनी की है जो बस का संचालन कर रही है। ऐसे में डीटीसी के पास करीब 3000 से अधिक चालक फ्री हो गए हैं जो अभी तक डीटीसी की बसें चलाते रहे हैं। क्योंकि उम्र पूरी कर चुकीं डीटीसी की इस साल 3000 के करीब बसें सड़कों से हट गई हैं।

    ऐसे में डीटीसी ने इन चालकों को फिलहाल बसों में टिकट जांच करने की जिम्मेदारी दी है। इसे देखते हुए दिल्ली सरकार के सेवा विभाग ने सरकार के निर्देश पर एक आदेश जारी किया है जिसमें सभी विभागों को सूचित किया गया है कि जिन भी विभाग को चालकों की आवश्यकता है। वे डीटीसी से चालक ले सकते हैं और उन्हें डीटीसी के द्वारा निर्धारित वेतन का भुगतान करेंगे।

    उधर डीटीसी कर्मचारी यूनियन का आरोप है कि एक साजिश के तहत इन चालकों का मेडिकल टेस्ट भी कराया जा रहा है जिसके पीछे उन्हें निकालने की साजिश है। यूनियन के नेताओं के अनुसार मेडिकल टेस्ट में फेल कर इन चालकों को नौकरी से निकलने की तैयारी की जा रही है।

    यूनियन के एक पदाधिकारी ने इस बात पर जोर देकर कहा कि कुछ चालक उनके पास आए हैं और उन्होंने इस बात की उनसे शिकायत की है। यूनियन ने कहा कि जब ये बसें नहीं चला रहे हैं ऐसे में डीटीसी को उनके मेडिकल चेकअप की क्या जरूरत पड़ रही है।