दिल्ली में फिर बिगड़ी हवा की गुणवत्ता, AQI पहुंचा 400 के पार, अगले छह दिनों तक हालात रहेंगे 'गंभीर'
दिल्ली में वायु गुणवत्ता फिर से 'गंभीर' श्रेणी में पहुंच गई है, एक्यूआई 400 के पार चला गया। पूर्वानुमान 'बहुत खराब' श्रेणी का था। नोएडा में भी वायु गु ...और पढ़ें
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दिल्ली का एक्यूआई 400 पार कर 'गंभीर' श्रेणी में पहुंच गया।
राज्य ब्यूरो, नई दिल्ली। मौसम का ही नहीं, मंगलवार को वायु गुणवत्ता का पूर्वानुमान भी गलत साबित हुआ। दिल्ली का एक्यूआई 400 पार कर 'गंभीर' श्रेणी में पहुंच गया। हालांकि पूर्वानुमान इसके ''बहुत खराब'' श्रेणी में रहने का था। आलम यह रहा राष्ट्रीय राजधानी और पड़ोसी नोएडा में देश की सबसे खराब वायु गुणवत्ता दर्ज की गई।
केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के अनुसार, मंगलवार को शाम चार बजे 24 घंटे का औसत एक्यूआइ 412 रहा, जो ''गंभीर'' श्रेणी में आता है। एक दिन पहले इसी समय यह 373 था, जो 'बहुत खराब' श्रेणी में था। सीपीसीबी के समीर एप के अनुसार शहर के 40 कार्यरत निगरानी केंद्रों में से पांच केंद्रों पर एक्यूआइ का स्तर 450 से भी ऊपर रहा, जो ''गंभीर'' श्रेणी से भी अधिक है। वहीं 26 केंद्र ''गंभीर'' श्रेणी में बने रहे। शेष स्टेशनों पर वायु गुणवत्ता ''बहुत खराब'' रही।
वायु गुणवत्ता के मामले में दिल्ली का देशभर में दूसरा सबसे खराब स्थान दर्ज किया गया। पहले स्थान पर नोएडा रहा, जहां का एक्यूआइ 426 दर्ज किया गया। सीपीसीबी के आंकड़ों के अनुसार, देश भर में निगरानी किए गए 230 शहरों में से केवल ये दो शहर ही ऐसे थे जहां वायु गुणवत्ता ''गंभीर'' श्रेणी में दर्ज की गई।
आइआइटीएम पुणे के डिसीजन सपोर्ट सिस्टम (डीएसएस) के आंकड़ों से पता चला कि वाहनों से निकलने वाला धुआं कुल प्रदूषण का सबसे बड़ा कारण था, जो 14.4 प्रतिशत था। इसके बाद दिल्ली व आसपास के क्षेत्रों में उद्योग (7.2 प्रतिशत), निर्माण कार्य (2 प्रतिशत), कचरा जलाने (1.3 प्रतिशत) का स्थान रहा।
एनसीआर जिलों में, प्रदूषण का सबसे बड़ा योगदान झज्जर (12 प्रतिशत) से था, इसके बाद सोनीपत (6 प्रतिशत), रोहतक (4.3 प्रतिशत) और गाजियाबाद (2.7 प्रतिशत) का स्थान रहा।
वायु गुणवत्ता प्रारंभिक चेतावनी प्रणाली के अनुसार, दिल्ली की वायु गुणवत्ता अगले छह दिनों तक ''गंभीर'' से ''बहुत खराब'' श्रेणी में रहने की संभावना है। हालांकि पहले जारी किया गया पूर्वानुमान गलत साबित हुआ और मंगलवार को प्रदूषण ''गंभीर'' श्रेणी में पहुंच गया।
काउंसिल आन एनर्जी, एनवायरनमेंट एंड वाटर (सीईईडब्ल्यू) के कार्यक्रम प्रमुख मोहम्मद रफीउद्दीन ने बताया कि शहर में सुबह के समय घना कोहरा छाया रहता है और हवाएं काफी शांत रहती हैं, जिससे प्रदूषकों का फैलाव रुक जाता है। उन्होंने आगे कहा कि ग्रेप चार के तहत लगाए गए प्रतिबंध अभी भी लागू हैं, जिनमें पुराने वाहनों, निर्माण कार्यों और कक्षाओं पर रोक शामिल है। उन्होंने कहा कि अधिकारियों को इन उपायों को सख्ती से लागू करना चाहिए। साथ ही निवासियों को भी सलाह दी कि वे बाहर कम निकलें और मास्क पहनें, क्योंकि इतने उच्च प्रदूषण स्तर के थोड़े समय के संपर्क में आने से भी स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं हो सकती हैं, खासकर संवेदनशील व्यक्तियों के लिए।
मंगलवार को इन इलाकों की हवा रही सबसे खराब
| स्थान | AQI |
|---|---|
| नेहरू नगर | 465 |
| आनंद विहार | 458 |
| मुंडका | 457 |
| चांदनी चौक | 453 |
| ओखला | 452 |

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