Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    जिस महल में औरंगजेब ने करवाया था अपना राज्याभिषेक, उसको लेकर ASI ने लिया बड़ा फैसला

    By Jp YadavEdited By:
    Updated: Mon, 20 Sep 2021 08:08 AM (IST)

    Sheesh Mahal News शीष महल दरअसल वही महल है जहां 31 जुलाई 1658 को औरंगजेब ने अपना राज्याभिषेक करवाया था। दो साल पहले संरक्षण कार्य शुरू होने पर हिन्दू संगठनों ने इसका विरोध किया था। अब इसके संरक्षण की योजना एएसआइ ने त्याग दी है।

    Hero Image
    जिस महल में औरंगजेब ने करवाया था अपना राज्याभिषेक, उसको लेकर ASI ने लिया बड़ा फैसला

    नई दिल्ली [वीके शुक्ला]। उत्तरी दिल्ली में शालीमार बाग स्थित ऐतिहासिक शीश महल में अब संरक्षण कार्य नहीं होगा। यहां हुए संरक्षण कार्य पर विवाद हो जाने के बाद इस बारे में भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआइ) ने फैसला लिया है। यह वही महल है जहां 31 जुलाई 1658 को औरंगजेब ने अपना राज्याभिषेक करवाया था। दो साल पहले संरक्षण कार्य शुरू होने पर हिन्दू संगठनों ने इसका विरोध किया था।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    दरअसल, यूनाइटेड हिंदू फ्रंट के अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष जयभगवान गोयल ने इस संरक्षण कार्य का विरोध करते हुए तत्कालीन संस्कृति मंत्री को पत्र लिखा था तथा एएसआइ की तत्कालीन महानिदेशक से मुलाकात की थी। उनका विरोध इस स्मारक के औरंगजेब के राजतिलक से जुड़ने के कारण था। उनका कहना था कि लाखों हिन्दुओं को बेवजह मौत के घाट उतार देने वाले औरंगजेब को एएसआइ महिमामंडित कर रहा है। उस समय एएसआइ के अधिकारियों ने काम बंद करने का आश्वासन दिया था, बाद में कोरोना के चलते यह काम बंद हो गया था जो बाद में शुरू नहीं हुआ। अब इसके संरक्षण की योजना एएसआइ ने त्याग दी है।

    शीश महल को शाहजहां ने अपनी बेगम अइज्जुन्निसा के लिए बनवाया था। कहा जाता है कि यहां उनकी बेगम और उनकी सहेलियां झूला झूलने आती थीं। इस महल के बीचोंबीच पानी की नहर हुआ करती थी। यहां एक जलाशय बना था, जो एक बड़े से कुएं से जुड़ा हुआ था। महल के इस हिस्से से पानी नीचे कुएं में तेजी से जाता था, जिससे यहां के करीब 27 छोटे-छोटे कुएं में लगे फव्वारे चलते थे। महल से थोड़ी ही दूर में बाग और झूला बांधने के लिए बड़े-बड़े पत्थर आज भी देखे जा सकते हैं। बड़े फव्वारे के दोनों ओर एक-एक कमरा है, जिसमें खूबसूरत चित्रकारी देखी जा सकती है। बेल बूटियों को लाल-हरे रंगों में खूबसूरती से गढ़ा गया है, शीश महल के ऊपर पानी के झरने के दोनों तरफ एक एक कमरा भी बना हुआ है। इसी के पास छोटे-छोटे कमरे बने हुए हैं, जिसमें कभी हाथियों के ठहरने का इंतजाम किया जाता था। कहा जाता है कि यहां एक सुरंग भी होती थी, जो लालकिले तक जाती थी। सन 1658 के आसपास इस महल को औरंगजेब देहाती गृह के रूप में प्रयोग करता था। इसी महल के अहाते में औरंगजेब ने अपना राज्याभिषेक कराया था। इस बात का उल्लेख यूरोपीय यात्री बरनियर और काट्रो ने किया है।

    comedy show banner
    comedy show banner