Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    Lockdown: बच्चों को पढ़ाई के साथ मिल रहा रचनात्मक कार्य करने का मौका

    By Neel RajputEdited By:
    Updated: Mon, 30 Mar 2020 02:15 PM (IST)

    लॉकडाउन होने के बाद बच्चे पूरी तरह घर में कैद हैं उनका बाहर आना-जाना बंद हो गया है तो अब वह ज्यादा समय अपनी पढ़ाई को दे रहे हैं।

    Lockdown: बच्चों को पढ़ाई के साथ मिल रहा रचनात्मक कार्य करने का मौका

    नई दिल्ली [रितु राणा]। देश में कोरोना वायरस के बढ़ते खतरे को देखते हुए 14 अप्रैल तक लॉकडाउन कर दिया गया है। जिसे लोग अवसर के रूप में ले रहे हैं क्योंकि समय गंवाने से कुछ हाथ नहीं लगता। इस लॉकडाउन में बच्चे अब घर पर ही मोबाइल से होमवर्क लेकर समय बिता रहे हैं। वहीं, कुछ बच्चों को इस दौरान पढ़ाई के साथ अपनी रचनात्मकता को बढ़ाने का मौका भी मिल रहा है।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    यूं तो माता- पिता अपने बच्चों की हर इच्छा पूरी करने की कोशिश करते हैं क्योंकि उनके लिए बच्चों की खुशी से बढ़कर कुछ नहीं होता। इसी बात का उदाहरण उत्तर पूर्वी दिल्ली के शाहदरा स्थित अहिंसा वाटिका अपार्टमेंट में रहने वाले दंपती अधिवक्ता आदित्य सिंघल व अधिवक्ता नीतू सिंघल हैं। उन्होंने अपने बच्चों की इच्छा पर इस लॉकडाउन के दौरान घर की दीवार पर उनके पसंदीदा कार्टून मोटू पतलू का सुंदर चित्र बनाया है। नीतू सिंघल ने बताया कि उन्होंने बच्चों के साथ मिलकर घर की दीवार पर मोटू पतलू की हूबहू चित्रकारी की है। वह बताती हैं कि काफी दिन से बच्चे जिद्द कर रहे थे लेकिन रोजमर्रा के कामों में व्यस्त रहने के चलते वह पेटिंग नहीं कर पा रही थी लेकिन लॉकडॉउन के चलते उन्होंने इस मौके का लाभ उठाया और बच्चों की इच्छा पूरी कर दी। ठीक इसी तरह और लोग भी लॉकडाउन का साथ दें और अपने घरों पर सुरक्षित रहकर परिवार व बच्चों के साथ कुछ रचनात्मक कार्य करें जिससे मनोरंजन के साथ वह नई चीजें भी सीखें।

    लॉकडाउन के बाद घर पर ही मोबाइल पर होमवर्क लेकर समय बिता रहे बच्चे

    लॉकडाउन होने के बाद बच्चे पूरी तरह घर में कैद हैं, उनका बाहर आना-जाना बंद हो गया है तो अब वह ज्यादा समय अपनी पढ़ाई को दे रहे हैं। समय बिताने के लिए वॉट्स्एप पर ही अपने अध्यापक से होमवर्क लेकर उसे पूरा कर रहे हैं। मयूर विहार फेज 3 के पॉकेट A-3 निवासी ममता रावत ने बताया कि उनके बेटे कृष्णा रावत और रुद्रा रावत एजीसीआर के केंद्रीय विद्यालय में पढ़ते हैं और दोनों लॉकडाउन के चलते अपनी पढ़ाई पर और अधिक समय देने लगे हैं। दोनों भाई स्कूल बंद होने के बावजूद घर पर ही बैठ कर काफी उत्साह के साथ पढ़ाई कर रहे हैं और वीडियो कॉल के जरिए अपने अध्यापकों से क्लास ले रहे हैं, जिसमें उनके क्लास टीचर भी पूरा सहयोग कर रहे हैं। ममता रावत कहती हैं कि स्कूल बंद होने के बाद बच्चों को परिवार के अन्य सदस्यों के साथ बाहर घूमने-फिरने का मौका मिल जाता था, लेकिन अब पूरी तरह लॉकडाउन होने के बाद बच्चों को पूरा दिन घर पर ही बिताना पड़ रहा है। इसलिए बच्चों को अध्यापक वट्स्एप पर होमवर्क दे रहे हैं और उसे पूरा करके बच्चे अपना समय बिता रहे हैं।