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    ठंड में बढ़ जाता है हार्ट अटैक व लकवे का खतरा, यहां पढ़िए- बचाव के उपाय

    ठंड में सेहत का खास ध्यान रखें क्योंकि ठंड के कारण खांसी सर्दी जुकाम गले में संक्रमण फ्लू के अलावा अस्थमा हार्ट अटैक व लकवा का भी खतरा रहता है।

    By JP YadavEdited By: Updated: Sat, 28 Dec 2019 10:02 AM (IST)
    ठंड में बढ़ जाता है हार्ट अटैक व लकवे का खतरा, यहां पढ़िए- बचाव के उपाय

    नई दिल्ली [जागरण स्पेशल]। पिछले 10 दिनों से लगातार चल रही शीतलहर से देश की राजधानी दिल्ली के साथ एनसीआर के इलाकों गाजियाबाद, नोएडा, फरीदाबाद और गुरुग्राम में पारा लगातार लुठकता जा रहा है। इसी वजह से ठिठुरन भी बढ़ती जा रही है। ठंड के प्रकोप से बहुत से लोगों को मौसमी बीमारियों ने जकड़ लिया है।

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    ठंड से बचना जरूरी, वरना आ सकते हैं गंभीर बीमारी की चपेट में

    हालात को देखते हुए डॉक्टर कहते हैं कि ठंड में सेहत का खास ध्यान रखें, क्योंकि ठंड के कारण खांसी, सर्दी जुकाम, गले में संक्रमण, फ्लू के अलावा अस्थमा, हार्ट अटैक व लकवा का भी खतरा रहता है। यह देखा गया है कि सर्दियों में हार्ट अटैक व लकवा के मामले अधिक होते हैं, इसलिए डॉक्टर इन दिनों सुबह-शाम सैर नहीं करने व घरों में ही रहने की सलाह दे रहे हैं। खास तौर पर बच्चे, बुजुर्ग, मधुमेह, ब्लड प्रेशर व हृदय की बीमारियों से पीड़ित मरीजों को अधिक सतर्क रहने की जरूरत है। डॉक्टरों के अनुसार, तापमान कम हो जाने पर धमनियां सिकुड़ने लगती हैं। इस वजह से रक्त संचार प्रभावित होता है। इस वजह से हार्ट अटैक व लकवा का खतरा रहता है।

    सर्दी से बढ़ जाता है संक्रमण का खतरा

    अपोलो अस्पताल के मेडिसिन के विशेषज्ञ डॉ. तरुण साहनी ने बताया कि बार-बार ठंड व गर्म के संपर्क में आने से त्वचा के आसपास की नसें फैलती व सिकुड़ती हैं। इस वजह से व्यक्ति को सर्दी लगती है। सर्दी लगने पर संक्रमण होने की भी आशंका रहती है। सुबह में सैर करना दिल के लिए नुकसानदायक हो सकता है।

    नाक बंद व सांस लेने में हो सकती है परेशानी

    छोटे बच्चों व बुजुर्गो की प्रतिरोधक क्षमता कमजोर होती है। इस वजह से सर्दी-जुकाम, बुखार, नाक बंद होना, सांस में परेशानी, गले में खराश, छाती में कंजेशन, सिरदर्द व थकान की समस्या हो सकती है। इसके अलावा कान में भी संक्रमण व दर्द हो सकता है।

    गले में संक्रमण व अस्थमा

    ठंडा खाने, वायरल या जीवाणुओं के संक्रमण से गले व टांसिल में संक्रमण की समस्या होती है। इस वजह से गले में सूजन, दर्द की समस्या हो सकती है। साथ ही सांस की नली व फेफड़े में संक्रमण बढ़ने का खतरा रहता है। इसलिए ब्रोंकाइटिस व अस्थमा की बीमारी हो सकती है। अस्थमा के पुराने मरीजों की समस्या बढ़ सकती है।

    प्रशांत विहार स्थित पंचकर्मा अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक व आयुर्वेद के विशेषज्ञ डॉ. आरपी परासर ने कहा कि इन दिनों ठंडी चीजों का सेवन नहीं करना चाहिए। गर्म तासीर की चीजें का सेवन सेहत के लिए बेहतर होता है। सौंठ, काली मिर्च, लौंग की तासीर गर्म होती है। इसे चाय में डालकर इस्तेमाल कर सकते हैं। इसके अलावा तिल, मूंगफली, बादाम, अखरोट व खजूर का इस्तेमाल करना चाहिए। गुड़, शहद व मैथी का भी इस्तेमाल लाभदायक है।

    सर्दी से बचाव के तरीके

    • गर्म कपड़ों का इस्तेमाल करें, कान भी ढंक कर रखें।
    • सुबह व शाम में सैर न करें।
    •  खानपान में चावल, दही, कढ़ी, केले का सेवन न करें। यह चीजें दोपहर के बाद बिल्कुल न खाएं।
    • छह से सात गिलास पानी पीयें।
    • मधुमेह, ब्लड प्रेशर व हृदय की बीमारियों से पीड़ित मरीज डॉक्टर से मिलकर दवा का डोज बढ़वा सकते हैं।
    • बंद कमरे में साधारण ब्लोअर का इस्तेमाल जानलेवा हो सकता है।