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World Cup 2019: ऑस्ट्रेलियाई दिग्गज ने माना- जीत की प्रबल दावेदार है टीम इंडिया

World Cup 2019 ऑस्ट्रेलियाई दिग्गज जैफ थॉमसन ने स्वीकार किया है कि टीम इंडिया वर्ल्ड कप जीत की प्रबल दावेदार है।

By Vikash GaurEdited By: Published: Mon, 08 Jul 2019 06:29 PM (IST)Updated: Mon, 08 Jul 2019 06:31 PM (IST)
World Cup 2019: ऑस्ट्रेलियाई दिग्गज ने माना- जीत की प्रबल दावेदार है टीम इंडिया
World Cup 2019: ऑस्ट्रेलियाई दिग्गज ने माना- जीत की प्रबल दावेदार है टीम इंडिया

जैफ थॉमसन का कॉलम। विराट और उनकी टीम को मंगलवार को ओल्ड टै्रफर्ड में उपमहाद्वीप की तरह की पिच मिलेगी। यह बेहद सपाट पिच हो सकती है जिस पर बल्ले पर गेंद आसानी से आएगी। बाद में गेंद थोड़ी धीमी रहेगी और इससे स्पिनर गेंदबाजी का पूरा लुत्फ उठा सकते हैं। ऐसे में मेरी सलाह है कि इसी को दिमाग में रखते हुए अंतिम एकादश का चयन किया जाए।

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मैं किसी भी दिन टीम में कुलदीप की जगह जडेजा को खिलाना पसंद करूंगा। वह ना सिर्फ निचले क्रम पर बल्लेबाजी में योगदान देंगे, लेकिन क्षेत्ररक्षण में भी कई रन बचाएंगे, साथ ही शानदार 10 ओवर भी निकालेंगे। जडेजा पार्ट टाइम गेंदबाज नहीं है। वह गेंदबाजी में रन बचाते हैं और आपको मुश्किल परिस्थिति में विकेट भी निकाल कर देते हैं। वह बेशक एक विकेट लेने वाले गेंदबाज हैं। यह भी नहीं भूलना चाहिए कि वह कुछ बड़े शॉट लगा सकते हैं और यदि जरूरत पड़े तो वह कई रन जल्दी भी बना सकते हैं।

भारत को इस मैच के लिए कुलदीप की जगह जडेजा को खिलाना चाहिए। मेरी टीम राहुल, रोहित, विराट, पंत, धौनी, केदार, हार्दिक, जडेजा, भुवनेश्वर, चहल और बुमराह होगी। मुझे पता है कि कुछ लोग इस पर सवाल जरूर उठाएंगे। तो मुझे खुद को स्पष्ट करने दीजिए। इस पिच पर धीमे गेंदबाजों को खिलाना फायदेमंद होगा। ऐसे में आपको दिमाग वाले गेंदबाज की जरूरत होगी जो दिमाग से पिच से फायदा उठा सकें। तेज गेंदबाजी नहीं करें अन्यथा आपको मैदान के चारों ओर दौड़ाया जाएगा। यही वजह है कि मैंने शमी को बाहर रखते हुए भुवी को दूसरे तेज गेंदबाज के तौर पर चुना है। बुमराह, भुवी के बाद हार्दिक तीसरे तेज गेंदबाज होंगे। स्पिनरों में मैं चहल और जडेजा, साथ ही तीसरे विकल्प के तौर पर जाधव को रखूंगा।

सभी जानते हैं कि केन विलियमसन और कोलिन मुनरो के अलावा कोई भी स्पिन का अच्छा खिलाड़ी नहीं है। क्योंकि यह धीमा विकेट है तो यहां पर अतिरिक्त स्पिनर खिलाना फायदेमंद होगा। शमी के साथ दिक्कत यह है कि वह शुरुआती स्पैल में अच्छी गेंदबाजी करते हैं, लेकिन बाद में वह काफी महंगे साबित होते हैं। जबकि भुवी गेंद की गति में बदलाव, धीमी बाउंसर डालते हैं। साथ ही बल्लेबाजों को अपने जोन में खिलाने के लिए विवश करते हैं। तो इस मैच में यह देखना रोचक होगा कि भारतीय टीम किस रणनीति के साथ उतरती है और वह तेज गेंदबाजों में किसे चुनते हैं। 


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