PPF Vs VPF: नौकरी पेशा कर्मचारियों के लिए सबसे बेहतर विकल्प माने जाते हैं ये निवेश विकल्प, पूरी जानकारी हासिल कर आप भी बचा सकते हैं अपना टैक्स
अगर नौकरी पेशा कर्मचारियों की बात करें तो उनके लिए PPF और VPF हमेशा से ही निवेश का सबसे बेहतर जरिया रहा है। इन दोनों में ही निवेश से आप बेहतर बचत भी क ...और पढ़ें

नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। पिछले कुछ समय से देखा जा रहा है कि फिक्स डिपॉजिट पर ब्याज की दरें काफी कम हो गई हैं। जिस कारण से लोग अब शेयर, म्यूचुअल फंड जैसे अन्य विकल्पों में निवेश करना चाह रहे हैं। वहीं अगर नौकरी पेशा कर्मचारियों की बात करें तो उनके लिए PPF और VPF हमेशा से ही निवेश का सबसे बेहतर जरिया रहा है। इन दोनों में ही निवेश से आप बेहतर बचत भी कर सकते हैं और आपको अधिक ब्याज दर का लाभ भी हासिल होता है। तो आइये PPF और VPF के बारे में विस्तार से जानते हैं।
पब्लिक प्रोविडेंट फंड (PPF)
पब्लिक प्रोविडेंट फंड हमेशा से ही नौकरी पेशा लोगों के लिए निवेश का सबसे पसंदीदा माध्यम रहा है। PPF के जरिए निवेश से ना केवल बेहतर ब्याज दर का लाभ हासिल होता है, बल्कि टैक्स पर बचत भी होती है। PPF की शुरुआत वित्त मंत्रालय के राष्ट्रीय बचत संस्थान द्वारा सन् 1968 में एक सेविंग इंस्ट्रूमेंट के रूप में की गई थी। PPF में आपको अपना अकाउंट एक्टिव रखने के लिए एक हर साल कम से कम 500 रुपये से निवेश करना होता है। इसके अलावा आप साल भर में PPF के द्वारा अधिकतम 1.5 लाख रुपये का निवेश कर सकते हैं। PPF, 15 साल की लॉक-इन अवधि के साथ आता है। फिलहाल PPF में 7.1 प्रतिशत के सालाना ब्याज दर का लाभ प्राप्त होता है। PPF में निवेश करने से आपको आयकर अधिनियम 1961 की धारा 80 सी के तहत एक वित्त वर्ष में 1.5 लाख रुपये तक की आयकर छूट का लाभ भी मिलता है। PPF के तहत मिलने वाले ब्याज पर भी किसी तरह का टैक्स नहीं लगता है।
स्वैच्छिक भविष्य निधि (VPF)
PPF में निवेश करने के अलावा आप स्वैच्छिक भविष्य निधि यानी VPF में भी निवेश कर सकते हैं। VPF योजना में केवल वे वेतनभोगी कर्मचारी, जो कि EPFO के सदस्य हैं, निवेश कर सकते हैं। कोई भी नौकरी पेशा कर्मचारी अपनी बेसिक सैलरी का 12 फीसद से अधिक का निवेश EPF नहीं कर सकता है। अगर कर्मचारी अपनी बेसिक सैलरी के 12 फीसद से अधिक का निवेश करना चाहते हैं, तो वे VPF के जरिए कर सकते हैं। VPF पर मौजूदा ब्याज दर 8.50 फीसद है, जो कि PPF पर मिलने वाले ब्याज दर से अधिक है। VPF में निवेश करने पर भी आपको धारा 80 सी के तहत आपको टैक्स में छूट का लाभ मिलता है। PPF की तरह ही VPF में भी EEE स्टेटस की सुविधा उपलब्ध है। अर्थात इसमें निवेश राशि, ब्याज राशि और मैच्योरिटी की राशि पर टैक्स नहीं देना होता है।

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