क्या आप TA, DA और HRA से जुड़े आयकर पहलुओं के बारे में जानते हैं?
यात्रा भत्ता एक ऐसा भत्ता होता है जिसे अधिकांश कार्यालय अपने कर्मचारियों को देते हैं, जो कि उनकी बेसिक पे का हिस्सा होता है
नई दिल्ली (बिजनेस डेस्क)। इन दिनों हर तरफ सातवें वेतन आयोग की चर्चाएं हो रही है। सातवें वेतन आयोग के अंतर्गत सरकार ने करीब एक करोड़ से अधिक कर्मचारियों एवं पेंशनभोगियों के वेतन और भत्तों में बढ़ोतरी कर दी है। इसके अंतर्गत वर्तमान में सेवारत कर्मचारियों के वेतनमान में 16 फीसद की अधिकतम वृद्धि और पेंशनभोगियों की पेशन में 23.63 फीसद का इजाफा देखा गया है।
सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों के अंतर्गत वेतन के अलावा काफी सारे भत्तों में भी इजाफा किया गया है जैसे कि हाउस रेंट अलाउंस (एचआरए), डियरनेस अलाउंस (डीए) और ट्रैवलिंग अलाउंस (टीए)। हालांकि क्या आप जानते हैं कि इन भत्तों पर कुछ कर भी लागू होते हैं। अगर आप यह बात नहीं जानते हैं तो आपको यह खबर पढ़नी चाहिए।
डियरनेस अलाउंस: इसे सामान्य भाषा में महंगाई भत्ता कहा जाता है। पिछले वर्ष सरकार ने इसमें 2 फीसद का इजाफा किया था जिसके बाद यह 7 फीसद से बढ़कर 9 फीसद पर आ गया। यह बात मायने नहीं रखती है कि आप सरकारी कर्मचारी हैं कि प्राइवेट हर तरह का डीए जो कि आपको हासिल होता है उस पर आपको कर देना होता है। कर्मचारियों को दिया जाने वाला डीए सैलरी के साथ टैक्सेबल होता है। आपको अपने आईटीआर में सैलरी के साथ डीए पर बनने वाली टैक्स लायबिलिटी की जानकारी देनी चाहिए।
ट्रैवलिंग अलाउंस: इसे हिंदी में यात्रा भत्ता कहा जाता है। 7वें वेतन आयोग के अंतर्गत दिया जाने वाला ट्रैवलिंग अलाउंट दो तरह (A/A1) का होता है, जो कि शहरों एवं अन्य शहरों के हिसाब से अलग अलग होता है। यात्रा भत्ता एक ऐसा भत्ता होता है जिसे अधिकांश कार्यालय अपने कर्मचारियों को देते हैं, जो कि उनकी बेसिक पे का हिस्सा होता है। हालांकि कंपनी अपने कर्मचारी को कितना यात्रा भत्ता दे सकती है इसकी कोई सीमा नहीं है। हालांकि आयकर विभाग के अंतर्गत इसका कुछ हिस्सा कर छूट के दायरे में आता है। आयकर की धारा 10(14)(ii) के अंतर्गत इस पर 16,00 रुपये प्रति महीने यानी 19,200 रुपये हर साल की टैक्स छूट पा सकता है। मान लीजिए आपका ट्रैवलिंग अलाउंस 2,500 रुपये प्रति माह का है तो इसमें से सिर्फ 1600 रुपये पर ही टैक्स छूट मिलेगी, जबकि बाकी के 900 रुपये पर आपको टैक्स देना होगा।
एचआरए बेनिफिट्स: हाउस रेंट अलाउंस X, Y और Z श्रेणी के शहरों के लिए क्रमश: 24 फीसद, 16 फीसद और 8 फीसद निर्धारित है। एचआरए क्रमश: 54,00 रुपये, 36,00 रुपये और 18,00 रुपये से कम नहीं होना चाहिए। इससे पहले यह 18,000 के न्यूनतम वेतन पर क्रमश: 30 फीसद, 20 फीसद और 10 फीसद निर्धारित था। हाउस रेंट अलाउंस की पूरी राशि कर छूट के दायरे में नहीं आती है। ध्यान रहे कि एचआरए बेसिक सैलरी के 50 फीसद से ज्यादा नहीं हो सकता है। एचआरए के अंतर्गत टैक्स क्लेम तभी किया जा सकता है जब मकान का किराया बेसिक सैलरी के 10 फीसद से कम हो।