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    SIP Calculation: हर महीने 7000 रुपये 10 साल के लिए निवेश करने पर कितना बनेगा फंड, देखें कैलकुलेशन

    Updated: Mon, 06 Oct 2025 05:10 PM (IST)

    म्यूचुअल फंड में एसआईपी निवेश करने का सबसे आसान तरीका माना जाता है। एसआईपी के जरिए आप 100 रुपये से म्यूचुअल फंड में निवेश कर सकते हैं। आज हम जानेंगे कि अगर कोई म्यूचुअल फंड में एसआईपी के जरिए हर महीने 7000 रुपये निवेश कर रहा है तो उसे 10 साल बाद कितना रिटर्न मिलेगा?

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    SIP से म्यूचुअल फंड में निवेश आसान तरीका और बेहतर रिटर्न

     नई दिल्ली। एसआईपी म्यूचुअल फंड में निवेश करने का सबसे आसान तरीका है। एसआईपी के जरिए आप म्यूचुअल फंड में किस्तों में पैसा निवेश कर सकते हैं। एसआईपी कैलकुलेशन की मदद से कोई भी आसानी से ये समझ सकता है कि उनकी निवेश रकम, एक निश्चित समय सीमा पर कितना रिटर्न देगा?

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    कैलकुलेशन

    • निवेश रकम- 7000 रुपये प्रति माह
    • निवेश अवधि- 10 साल
    • रिटर्न- 12 फीसदी

    अगर कोई निवेशक 10 साल के लिए हर महीने 7000 रुपये निवेश करता है, तो उसे 12 फीसदी रिटर्न के हिसाब से 16,26,000 रुपये मिलेंगे। इन 10 सालों में आपका मूलधन 8,40,000 रुपये होगा। अब ऐसे फंड की बात कर लेते हैं जिन्होंने एक साल में सबसे ज्यादा रिटर्न दिया है।

    हालांकि किसी भी म्यूचुअल फंड में सिर्फ रिटर्न देखकर निवेश न करें।

    नाम  AUM एक्सपेंस रेश्यो रिटर्न (एक साल में)
    निप्पॉन इंडिया ताइवान इक्विटी फंड 389.0869 1.04 52.32935425
    ICICI प्रू नैस्डैक 100 इंडेक्स फंड 2378.604033 0.61 32.5446407
    आदित्य बिरला SL Intl. इक्विटी फंड 249.7501 2.07 28.52451387
    मोतीलाल ओसवाल निफ्टी इंडिया डिफेंस इंडेक्स फंड 3417.7132 0.43 25.3733625
    आदित्य बिरला SL निफ्टी इंडिया डिफेंस इंडेक्स फंड 651.029 0.31 24.82806716

    अगर आप म्यूचुअल फंड में निवेश करने जा रहे हैं, तो जोखिम का आकलन कैसे कर सकते हैं।

    कैसे करें जोखिम का पता?

    बेटा (Beta)

    अगर ये बेंचमार्क 1 से कम हो, तो आपके द्वारा चुना गया फंड कम जोखिम वाला है। वहीं अगर ये एक से ज्यादा हो तो इसे रिस्की माना जाता है।

    स्टैंडर्ड डेविएशन (Standard Deviation)

    जब हम किन्हीं दो फंड्स की तुलना करते हैं, उस समय स्टैंडर्ड डेविएशन देखा जाता है। इसका प्रतिशत जितना कम हो, फंड को उतना कम जोखिम वाला माना जाता है। मान लीजिए एक फंड का स्टैंडर्ड डेविएशन 5 फीसदी है और दूसरे का 10 फीसदी, तो पहला फंड कम जोखिम वाला होगा।

    शार्प रेश्यो (Sharpe Ratio)

    शार्प रेश्यो के जरिए आप म्यूचुअल फंड में जोखिम का आराम से पता लगा सकते हैं। अगर शार्प रेश्यो 1.00 से कम है, तो रिस्क कम होगा। अगर यहीं शार्प रेश्यो 1.00 से 1.99 के बीच है, तो रिस्क सामान्य रहेगा। ऐसे ही अगर शार्प रेश्यो 2.00 से 2.99 है, तो रिस्क काफी हाई रहेगा।

    (डिस्क्लेमर: यहां म्यूचुअल फंड पर दी गयी जानकारी निवेश की सलाह नहीं है। जागरण बिजनेस निवेश की सलाह नहीं दे रहा है। शेयर बाजार में जोखिम हो सकता है इसलिए निवेश करने से पहले किसी सर्टिफाइड इन्वेस्टमेंट एडवाइजर से परामर्श जरूर करें।)