New Tax Regime: 7 लाख से अधिक कमाने वालों के लिए खुशखबरी, सरकार ने टैक्स में दी राहत; समझें पूरा कैलकुलेशन
Finance Bill 2023 सरकार वित्त विधेयक 2023 में संशोधन लेकर आई है जिससे उन करदाताओं को मामूली राहत मिली है जिनकी वार्षिक आय 7 लाख रुपये से थोड़ी अधिक है। इससे उन लोगों को राहत मिलेगी जिनकी आय बॉर्डर लाइन पर है।
नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। New Tax Regime: नई कर व्यवस्था का विकल्प चुनने वाले करदाताओं को राहत देते हुए सरकार द्वारा वित्त विधेयक में कुछ जरूरी संशोधन कर दिए हैं। अब 7 लाख रुपये की कर-मुक्त सीमा से 'कुछ' अधिक कमाने वाले व्यक्तियों को केवल 'अंतर आय' पर कर का भुगतान करना होगा।
शुक्रवार को लोकसभा द्वारा पारित वित्त विधेयक 2023 में नई कर व्यवस्था के तहत करदाताओं को मामूली राहत देने का प्रस्ताव किया गया है। प्रावधान की व्याख्या करते हुए, वित्त मंत्रालय ने कहा कि 1 अप्रैल से नई कर व्यवस्था के तहत, यदि किसी करदाता की वार्षिक आय 7 लाख रुपये है, तो उसे कोई टैक्स नहीं देना होगा।
अगर 7 लाख से अधिक है कमाई
अगर व्यक्ति की कमाई 7,00,100 रुपये है तो वह 25,010 रुपये का कर चुकाता है। इस प्रकार 100 रुपये की अतिरिक्त आय पर उसे केवल 10 रुपये का टैक्स देना होगा। इसका हिसाब-किताब इसी आधार पर निकाला जाएगा। मंत्रालय ने कहा कि इसमें मामूली राहत का प्रस्ताव इसलिए किया गया है, ताकि जो कर चुकाया जाए, वह 7 लाख रुपये की आय से अधिक न हो।
क्या है पूरा कैलकुलेशन
नांगिया एंडरसन एलएलपी पार्टनर संदीप झुनझुनवाला ने कहा कि वित्त विधेयक में संशोधन के जरिए ऐसे करदाताओं को बड़ी राहत दी गई है, जिनकी आय 7 लाख रुपये से अधिक है। इसका मकसद ये है कि जो लोग 'बॉर्डर आय' वाले हैं, उन्हें भुगतान किए जाने वाले आयकर से मामूली राहत प्रदान की जाए।
हालांकि सरकार ने उस आय के बारे में कोई जानकारी नहीं दी है, जो मामूली राहत के लिए पात्र होगी। कर विशेषज्ञों ने कहा कि गणना के अनुसार, 7,27,777 रुपये की आय वाले व्यक्तिगत करदाताओं को इस राहत से लाभ होगा।
एक व्यक्ति, जिसकी आय लगभग 7,27,700 रुपये तक है, वह इस मामूली राहत से लाभान्वित हो सकता है। बजट 2023-24 में नई कर व्यवस्था के तहत 7 लाख रुपये तक की वार्षिक आय वाले लोगों पर कर छूट की घोषणा की गई थी, जिसके तहत कोई कर नहीं लगाया जाएगा।
क्या है नई कर व्यवस्था
नई कर व्यवस्था के तहत, 3 लाख रुपये तक की आय पर कोई कर नहीं लगाया जाएगा। 3-6 लाख रुपये के बीच की आय पर 5 प्रतिशत कर लगेगा; 6-9 लाख रुपये पर 10 फीसदी, 9-12 लाख रुपये पर 15 फीसदी, 12-15 लाख रुपये पर 20 फीसदी और 15 लाख रुपये या इससे ज्यादा की आय पर 30 फीसदी टैक्स लगेगा। इसके अलावा, नई व्यवस्था के तहत 50,000 रुपये की मानक कटौती की अनुमति दी गई थी।