हाई प्रोफाइल जॉब को कहा ना, इन हस्तियों ने थामा 'आप' का दामन
देश की राजनीति और उद्योग जगत दोनों में तेजी से बदलाव आ रहा है। साल 2013 के अंत और 2014 की शुरुआत में भारतीय उद्योग जगत की जानी-मानी हस्तियां अब उभरती आप आदमी पार्टी का साथ देने के लिए तैयार हो गई हैं। कुछ साथ जुड़ गए हैं और कुछ संभावित हैं।
नई दिल्ली। देश की राजनीति और उद्योग जगत दोनों में तेजी से बदलाव आ रहा है। साल 2013 के अंत और 2014 की शुरुआत में भारतीय उद्योग जगत की जानी-मानी हस्तियां अब उभरती आप आदमी पार्टी का साथ देने के लिए तैयार हो गई हैं। कुछ साथ जुड़ गए हैं और कुछ संभावित हैं। देश में नई क्रांति की लहर दौड़ाने वाली आम आदमी पार्टी में अब देश की बड़ी आईटी कंपनी इंफोसिस के बोर्ड मेंबर रहे वी बालाकृष्णन भी शामिल हो गए हैं। <स्क्कन्हृ द्यड्डठ्ठद्द=श्वहृ>वहीं, पूर्व बैंकर और रॉयल बैंक ऑफ स्कॉटलैंड की पूर्व अध्यक्ष मीरा सान्याल ने भी आप से नाता जोड़ लिया।
बालाकृष्णन ने इंफोसिस के साथ अपने 22 साल लंबे सफर को विराम दे दिया। बाला ने एक अंग्रेजी अखबार ने बातचीत के दौरान कहा कि मैंने मेंबर बनने के लिए 10 रुपये दिए। उन्होंने कहा कि 'आप' किसी भी आइआइटीयन की ओर से शुरू की गई सबसे सफल स्टार्ट-अप है। मैं देश में हो रही इस क्रांति का हिस्सा बनना चाहता हूं।
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सिर्फ बाला ही अकेले नहीं हैं। कुछ दिन पहले ही भूतपूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री के पोते आदर्श शास्त्री ने एप्पल में अपनी नौकरी छोड़कर आप की सदस्यता ली थी। 'आप' से एक के बाद एक प्रोफेशनल्स के जुड़ने के बारे में एचडीएफसी के चेयरमैन दीपक पारेख ने कहा कि यह भारतीय राजनीति में एक नए दौर की शुरुआत है। मैं बाला को जानता हूं। वह बेहद ईमानदार और सक्षम व्यक्ति हैं।
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आखिर ऐसा क्या है कि इंडियन इंडस्ट्री 'आप' के आइडिया से इतनी प्रभावित है। बढ़े पैमाने पर लोगों का मानना है कि देश पारदर्शिता और साफ राजनीति से जूझ रहा है। इंफोसिस के चेयरमैन एन आर नारायणमूर्ति ने भी एक अंग्रेजी अखबार को कहा था कि दिल्ली विधानसभा चुनाव में 'आप' की शानदार सफलता ने साबित कर दिया है कि वोटर ऐसी पार्टी को गले लगाने को तैयार हैं, जो क्लीन गवर्नेस का वादा करे।
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बायकॉन की चेयरमैन किरण मजूमदार शॉ ने भी 'आप' की तारीफ में कहा कि ये बेहद शानदार शुरुआत है। लोगों को भ्रष्टाचार मुक्त राजनीति चाहिए जोकि पारदर्शिता और जिम्मेदारियों पर आधारित हो। महिंद्रा समूह के एमडी एवं चेयरमैन आनंद महिंद्रा ने भी ट्विट कर कहा था, 'सिर्फ ईमानदारी ही श्रेष्ठ नीति नहीं, लेकिन श्रेष्ठ राजनीति जरूर है।'
गौरतलब है कि बालकृष्णन ने पिछले महीने कहा था कि वह वेंचर कैपिटलिस्ट के रूप में यंग आंत्रप्रेन्योर्स की मेंटरिंग करना पसंद करेंगे। बाला, मोहनदास पई, गिरीश परांजपे और दीपक घईसास जैसे सॉफ्टवेयर इंडस्ट्री के पुराने दिग्गजों ने हाल में एक्सफिनिटी नाम से एक फंड लॉन्च किया था। इसके जरिए इंडिया में टेक्नॉलजी स्टार्ट-अप्स में इनवेस्टमेंट किया जाना है।
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