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    Green Bond: वित्त मंत्रालय ने ग्रीन बॉन्ड की रूपरेखा को किया तैयार, जल्द मिल सकती है मंजूरी

    By AgencyEdited By: Abhinav Shalya
    Updated: Wed, 09 Nov 2022 04:43 PM (IST)

    Green Bond वित्त वर्ष की दूसरी छिमाही में केंद्र सरकार ने उधारी के लक्ष्य के पूरा करने के लिए 16000 करोड़ रुपये के ग्रीन बॉन्ड जारी करने की बात कही थी। इससे मिलने वाले पैसे का प्रयोग कार्बन उत्सर्जन कम करने वाली परियोजनाओं में किया जाएगा।

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    FinMin finalises framework for sovereign green bonds

    नई दिल्ली, एजेंसी। वित्त मंत्रालय ने वैश्विक मानकों के अनुरूप सॉवरेन ग्रीन बॉन्ड की रूपरेखा को अंतिम रूप दे दिया है और जल्द ही इसे अब मंजूरी दी जा सकती है।

    समाचार एजेंसी पीटीआई ने सूत्रों के हवाले से बताया कि वित्त मंत्रालय की ओर से सॉवरेन ग्रीन बॉन्ड की रूपरेखा को तैयार कर लिया है और जल्द इसे मंजूर भी किया जा सकता है। सरकार की योजना इस वित्त वर्ष की दूसरी छिमाही में 16,000 करोड़ रुपये के ग्रीन बॉन्ड जारी करने की है।

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    क्यों जारी किये जा रहे हैं ग्रीन बांड?

    ये ग्रीन बॉन्ड, सरकार के द्वारा चालू वित्त वर्ष की दूसरी छमाही में ली जाने वाली उधारी का हिस्सा है। इससे मिलने वाले फंड का उपयोग सरकार की ओर से कार्बन उत्सर्जन कम करने वाली परियोजनाओं में किया जाएगा। सूत्रों ने बताया कि ग्रीन बॉन्ड रुपया डोमिनेटेड और लंबी अवधि के होंगे।

    वैश्विक स्तर पर इस तरह के बॉन्ड निवेशकों के बीच काफी लोकप्रिय होते हैं और एसेट लिंक होने के कारण सरकारों के लिए इन बॉन्ड पर फंड जुटाना भी काफी आसान हो जाता है।

    वित्त मंत्री ने बजट में किया था एलान

    चालू वित्त वर्ष का बजट पेश करते हुए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा था कि सरकार सॉवरेन ग्रीन बॉन्ड जारी करने की तैयारी में है। इस फंड का प्रयोग पब्लिक सेक्टर के कार्बन उत्सर्जन कम वाले प्रोजेक्ट्स के लिए किया जाएगा।

    सरकार की उधारी का लक्ष्य

    केंद्र सरकार ने चालू दूसरी छिमाही यानी अक्टूबर से मार्च के लिए 5.92 लाख करोड़ रुपये उधार लेने का लक्ष्य रखा है। सरकार ने वित्त वर्ष 2022-23 के बजट में बाजार से कुल 14.31 लाख करोड़ रुपये उधार लेने का लक्ष्य रखा था। हालांकि अब सरकार ने 14.21 लाख करोड़ रुपये उधार लेने का फैसला किया है, जो कि बजट अनुमान से 10,000 करोड़ रुपये कम है।

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